shabd-logo

जिस अनामिका के पास बैठने को कॉलेज के सभी स्टूडेंट्स तरसते थे आज वही अनामिका अछूत हो गई थी | पानी का एक गिलास पकड़ाने भी उसके पास कोई नहीं जाता था |

hindi articles, stories and books related to Jis anaamikaa ke paas baitthne ko koNlej ke sbhii sttuuddeNtts trste the aaj vhii anaamikaa achuut ho gii thii | paanii kaa ek gilaas pkdd'aane bhii uske paas koii nhiiN jaataa thaa |


featured image

बरसात का मौसम था | शाम से ही हल्की-हल्की बारिश होते - होते रात में कडकडाती बिजली के साथ किसी तूफानी घटना की ओर इशारा करने लगी । पत्नी तो मेरी बाहों में बंधते ही मेरे प्यार को रो

संबंधित टैग्स

किताब पढ़िए

लेख पढ़िए