बॉक्सिंग बहुत ही पुराना गेम माना जाता है। 16वी और 18वीं सदी तक बॉक्सिंग ग्रेट ब्रिटेन में पैसों के लिए खेले जाने वाले खेल के रूप में काफी प्रसिद्ध था। हालांकि19वीं सदी से इंग्लैंड और अमेरिका में इसे फिर से व्यवस्थित तरीके से शुरू किया गया और भारत में विजेंदर सिंह,मैरी कॉम, एल। सरिता देवी, डिंको सिंह जैसे प्रसिद्ध खिलाड़ियों ने बॉक्सिंग यानी मुक्केबाजी में देश का नाम रोशन किया।
बॉक्सिंग क्या है?
बॉक्सिंग में दो लोग बॉक्सिंग रिंग के अंदर प्रोटेक्टिव ग्लव्स पहनकर एक-दूसरे पर नियमों के अनुसार पंच करते हैं। इसके लिए 1-3 मिनट के कुछ राउंड तय किए जाते हैं। बॉक्सिंग मैच के दौरान रिंग में बॉक्सरों के अलावा एक रेफरी भी होता है। इसमें रिजल्ट मुकाबले के अंत में जजों के दिए स्कोर के आधार पर होता है। इसके अलावा, नियम तोड़ने के कारण दूसरे बॉक्सर के डिस्क्वॉलिफाई होने या लड़ने की हालत में ना होने या उसके द्वारा टॉवल फेंककर मुकाबले से हटने पर भी बॉक्सिंग में जीत-हार का फैसला हो जाता है। ओलिंपिक्स में मुकाबले के अंत तक दोनों बॉक्सरों के पॉइंट बराबर रहने पर जज तकनीक के आधार पर विनर घोषित करते हैं। प्रफेशनल बॉक्सिंग में अगर मुकाबले के अंत तक दोनों बॉक्सर्स के पॉइंट बराबर हों तो मुकाबला ड्रॉ माना जाता है।