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शिक्षा मानवीयता का आधार~

11 नवम्बर 2022

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शिक्षा मानवीय विकास का आधार है । वास्तव में यह उस हस्तांतरित ज्ञान के रूप में है जिससे आगे की पीढियां जीवन को सार्थक रूप में जीने की कला से साक्षात करती हैं । शिक्षा परिचित कराती है नवीन पीढ़ियों को उस ज्ञान से जो मानवीय सभ्यताओं ने अपने अब तक कि यात्रा में अर्जित किया है । शिक्षा अपने व्यवहारिक रूप में मानव को उस कौशल से सुसज्जित करती है जिसके द्वारा वो अर्थोपार्जन कर अपनी जीवन रूपी गाड़ी में ईंधन संग्रहित करता है , तो अपने आदर्श रूप में वो मानव को उसके अस्तित्व से साक्षात्कार करवाती है ।



वैदिक काल मे जब लेखन कला अस्तित्व में नही थी तो शिक्षा का माध्यम वाणी मात्र थी जिसके द्वारा अर्जित ज्ञान को गुरु अपने शिष्य को कंठस्थ करवाते थे । दूसरी तीसरी सदी में लेखन कला के उद्भव के पश्चात इन शिक्षाओं का संकलन पांडुलिपि के रूप में संकलित हुआ । जिसने आने वाली सभ्यताओं को न केवल आलोकित किया बल्कि वर्तमान की 21 वी सदी ने विकास के जिस चरम उत्कर्ष को स्पर्श किया है उसमें शिक्षा का यह समृद्ध हस्तांतरण एक महती भूमिका के रूप में है ।



शिक्षा की जरूरत माली के उस देखरेख की भांति ही है जिसके द्वारा वो उपवन के हर लता गुल्म को परिष्करण देकर एक सुंदर , सुसज्जित , सभ्य स्वरूप में परिवर्तित कर देता है , इस उपवन की महक से न केवल उपवनवासी सराबोर होते हैं बल्कि ये आस पास के लोगों के लिए भी आकर्षण की एक पुष्ट वजह बनती हैं । शिक्षा इसी उपवन रूपी समाज का निर्माण करती है । साथ ही यह व्यक्ति के आंतरिक शक्तियों से उसका साक्षात करवाती है और अंततः उसे उपवन के रूप में एक समाज , एक राष्ट्र एक देश के सर्वांगीण विकास का सिपाही बनाती है ~
Pragya pandey

Pragya pandey

उत्कृष्ट रचना

12 नवम्बर 2022

Vijay

Vijay

Very nice 👌👍

11 नवम्बर 2022

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रचनाएँ
स्वयं से स्वयं तक~
5.0
स्वयं से की गयी बातचीत और ईमानदार साक्षत्कारों के कुछ चुनिंदा अंश इस पुस्तक में संग्रहित हैं ।
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एक जंगल~

7 अक्टूबर 2022
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एक जंगल उसके जेहन में अक्सर घूमता है । बियावान , भयानक, दुर्दम्य जंगल । सिंह , भालू, अजगर , हाथियों से भरा जंगल । बड़े बड़े वृक्ष ,इतने बड़े और घने कि सूरज की रोशनी तक जमीन से ना मिल पाये ।घास इतनी विशाल

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सुकून~

9 अक्टूबर 2022
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वहां कौन है तेरा मुसाफिर जाएगा कहाँ, दम ले ले घड़ी भर ये छैया पायेगा कहा ।इस नग़मे में नायक को जीवन के सफर में दौड़ते हुए सुकून की छांव की इत्तला दी जा रही है ।जी हां सुकून !! जो पसर जाए तो मानो हर

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अनदेखी अनजाना~

10 अक्टूबर 2022
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उसे इंतेज़ार रहता है उस इक हसीन लम्हे का । वो लम्हा जो शायद जिंदगी के मायनों से मिला दे , जिंदगी का मतलब बता दें या फिर जिंदगी के उन गुत्थियों को सुलझा दे जिनसे मुंह मोड़ लिया है उसने । अपनी ही दुनिया म

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व्यसन !

25 अक्टूबर 2022
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व्यसन (बुरी लत)पृथ्वी पर जीवन के आविर्भाव के वैज्ञानिक और आध्यत्मिक दोनों ही दृष्टिकोण हैं । इसमें एक बात तो तय है कि एक जीव मात्र से जीवन के निर्माण तक का सफर मनुष्यता की सबसे महान उपलब्धियों में से

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डिजिटल मुद्रा~

2 नवम्बर 2022
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डिजिटल मुद्रा~भारतीय इतिहास में मुद्राओं की एक विशिष्ट भूमिका रही है । प्राचीन कालीन शासकों की उपाधि और राजनीतिक विस्तार के साथ साथ मुद्राएं आर्थिक और धार्मिक-सांस्कृतिक स्थिति की गवाही देती आयी हैं ।

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समान सिविल संहिता~

6 नवम्बर 2022
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आज़ादी की क़वायद के दौर में और उसके बाद की सर्वप्रमुख उपलब्धियों में से एक भारतीय संविधान का निर्माण करना और उसका लागू होना रहा है । संविधान का 'चौथा भाग' नीति निर्देशक सिद्धान्तों के रूप में राज्

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निजीकरण का विचार~

8 नवम्बर 2022
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निजीकरण~एक घटित हुई सच्ची कहानी स्मरण हो आती है गांव के उस सबसे बड़े परिवार की जिसकी धनाढ्यता बहुत विख्यात थी । फिर ऐसा हुआ कि संसाधनों की अतिशयता ने उस बड़े संयुक्त परिवार के लोगों को निठल्ला बना

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शिक्षा मानवीयता का आधार~

11 नवम्बर 2022
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शिक्षा मानवीय विकास का आधार है । वास्तव में यह उस हस्तांतरित ज्ञान के रूप में है जिससे आगे की पीढियां जीवन को सार्थक रूप में जीने की कला से साक्षात करती हैं । शिक्षा परिचित कराती है नवीन पीढ़ियों को उस

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सरकार और न्यायापालिका

30 नवम्बर 2022
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सरकार और न्यायपालिका ~किसी भी परिवेश ,समाज के संचालन के लिए व्यवस्था एक अनिवार्य तत्व है । व्यवस्था के इस निर्वहन की जिम्मेवारी शाश्वत रूप से राज्य की ही रही है । वर्तमान समय में संवैधानिक व्यवस्था के

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विश्व एड्स टीका दिवस~

18 मई 2023
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ईश्वर ने जीवन का अनमोल उपहार मानव जाति को दिया है । जीवन एक प्रवाह है , इसकी गत्यात्मकता में ही इसकी सुंदरता का वास है । भारतीय मनीषियों ने भी जीवन के स्वरूप को समझने के क्रम में अगाध चिंतन किया है ।

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