लड़की देखन आय रहे, लड़का वाले लोग,
दादी के पकवानों का, लगा रहे सब भोग.
सबसे पहले केरी के, शरबत की तरावट,
पनीर टिक्का चटपटा, दूर करे थकावट.
फिर आया मशरूम संग, मटर भरा समोसा
थोड़ी देर में दादी ने, परसा मद्रासी डोसा.
पेट भरा पर जीभ तो, मांगे थोड़ा और,
डिनर में व्यंजनों का, फिर चला इक दौर.
भरवां भिंडी संग लगी, मिस्सी रोटी नान,
नरगिस कोफ्ता करी, अलग बढ़ाये शान.
कश्मीरी पुलाव और, मेवा फल कस्टर्ड
आलू टिकिया संग थी, सॉस चिली मस्टर्ड.
स्वीट डिश के रूप में, गुलाब जामुन औ बरफी,
रसगुल्लों के बीच दिखी, अखरोट अशरफी.
मक्खनियाँ लस्सी में केसर कूल पिशोरी,
विदा समय दादी ने दे दी पान गिलोरी.
लड़के वाले गदगद, चटपट कर दी शादी,
पर दहेज में मांग ले गये, लड़की की दादी.