नई दिल्ली : मुंबई के एक चाय वाले ने दावा किया है कि कांग्रेस ने उसको पिछले कई महीनों से कार्यालय में भेजी जाने वाली चाय का भुगतान नहीं किया है. जिसके चलते कांग्रेस पर उसका 2 लाख रुपये का बकाया हो गया है. लंबे समय से चाय का भुगतान न किये जाने पर चाय वाले ने कांग्रेस कार्यालय को चाय देने से मना कर दिया है.
मुंबई में मशहूर है इंदर की चाय
मुंबई रीजनल कांग्रेस कमेटी (MRCC) के हेडक्वाटर के निकट चाय बेचने वाले इस दुकानदार का नाम है इंदर जोशी. इंदर का आरोप है कि उसका दो लाख रूपया चाय की उधारी में कांग्रेस कार्यालय में फंसा हुआ है. पार्टी के लोगों के साथ-साथ समर्थक भी उसकी ही चाय पीना पसंद करते हैं. इंदर गुजरात के हैं. वह पिछले कई सालों पहले मुंबई में आकर बस गए थे. मुंबई में अपनी चाय और गुजराती स्नैक्स के लिए इंदर चाय वाले काफी मशहूर हैं.
पहले दो पैसे फिर ले जाओ चाय
टाइम्स ऑफ इंडिया की खबर के मुताबिक इंदर का आरोप है कि मेरा परिवार काफी सालों से यह दुकान चला रहा है. कांग्रेस ने काफी वक्त से हमारा भुगतान नहीं किया है. इस वजह से अब हम उन्हें उधार में चाय नहीं देते. मुझे पता है कि वह (कांग्रेस) आखिरकार पैसा दे देगी. लेकिन अब किसी का भी ऑर्डर आता है तो मैं साफ कह देता हूं कि 'आज नकद कल उधार' यानि कि पैसा चाहिए दो और चाय लो.
संजय निरुपम ने कबूल की चाय वाले की उधारी
MRCC के अध्यक्ष संजय निरुपम ने भी माना कि पार्टी को उस चाय वाले के पैसे देने हैं. उन्होंने कहा, ‘मुझे पिछले हफ्ते ही इस बारे में पता लगा. यह हमारे प्रशासन की ढिलाई का नतीजा है. हमें उस चायवाले को लगभग चार लाख रुपए देने थे. आधे पैसे दिए जा चुके हैं और आधे दिए जाने बाकी हैं.’ उन्होंने आगे कहा, ‘वह काफी अच्छी चाय बनाते हैं, उनके सारे पैसे दिए जाने चाहिए. हम लोगों ने तकरीबन चार महीने से उनको पैसे नहीं दिए हैं. हम लोग जल्द ही सारा पैसा दे देंगे. मुझे उनकी चाय काफी पसंद है. हम लोग कई बार चाय पीने बाहर जाते हैं. लेकिन अब लोगों ने चाय पीना ज्यादा कर दिया है.’
कांग्रेस के पास चाय वाले को देने के लिए पैसे नहीं
खबर के मुताबिक, MRCC के ऑफिस में एक चाय की मशीन है, लेकिन लोगों को वह चाय पसंद नहीं आती. एक दूसरे कांग्रेस के नेता ने नाम ना छापने की शर्त पर कहा, ‘हमारी पार्टी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का मजाक उड़ाती है कि वह चाय बेचते थे, लेकिन देखिए हमारे पास एक चायवाले का बिल देने के भी पैसे नहीं है.’ कुछ दिन पहले सुनने में आया था कि महाराष्ट्र की कांग्रेस पैसे की कमी से जूझ रही है. अगले साल होने वाले BMC चुनाव के लिए बीजेपी और शिवसेना ने प्रति केंडिडेट एक करोड़ रुपए खर्च करने की बात कही है, वहीं कांग्रेस ने अपना बजट पचास लाख रुपए रखा है.