नई दिल्ली : बेटे अखिलेश से तकरार के बीच मुलायम सिंह ने चुनाव आयोग से साइकिल चुनाव चिन्ह उन्हें सौंपने की अर्जी दी है. शनिवार को अखिलेश गुट भी आयोग को वो शपथपत्र सौंपेगा, जिसमें 229 में से 212 विधायकों के मुख्यमंत्री के पक्ष में होने की बात कही गई है .
सपा की मुसीबतें बढ़ी
यूपी में चुनाव से ठीक पहले सत्तारूढ समाजवादी पार्टी के गले पड़ी मुसीबत अभी कम नहीं हुई है. मुलायम और अखिलेश के बीच तनातनी घटी नहीं है. शुक्रवार को आजम खान ने मुलायम से तो शिवपाल ने अखिलेश से मुलाकात की. लेकिन बात फिर भी नहीं बनी.
मुलायम ने ठोंका है साइकिल पर अपना दावा
मुलायम ने तो अब चुनाव आयोग को चिट्ठी भेजकर साइकिल चुनाव चिन्ह पर अपना दावा ठोक दिया है . चिट्ठी में कहा है कि रामगोपाल द्वारा बुलाया गया अधिवेशन असंवैधानिक था, क्योंकि उस समय वह पार्टी के महासचिव नहीं थे और राष्ट्रीय अधिवेशन सिर्फ राष्ट्रीय अध्यक्ष ही बुला सकता है.
229 में से 212 विधायकों ने अखिलेश के पक्ष में किये हैं हस्ताक्षर
उधर अखिलेश की हिमायत कर रहे उनके चाचा रामगोपाल यादव ने दावा किया है कि एसपी के कुल 229 में से 212 विधायकों ने मुख्यमंत्री के पक्ष में शपथपत्रों पर हस्ताक्षर किये हैं. जबकि 68 विधान परिषद सदस्यों में से 56 ने और 24 संसद सदस्यों में से 15 अखिलेश के हक में हलफनामों पर दस्तखत किये हैं.
नरेश ने अमर को बताया खलनायक
ये सभी शपथपत्र आज चुनाव आयोग को दिये जाएंगे. साथ ही, पांच हजार डेलीगेट्स के शपथपत्र भी आयोग को सौंपे जाएंगे. एक तरफ अखिलेश और कांग्रेस के बीच नजदीकियां बढ़ रही हैं, दूसरी तरफ मुलायम और अखिलेश के बीच दूरियां बढ़ रही हैं. अमर सिंह ने दार्शनिक अंदाज में अखिलेश को नसीहत दी तो नरेश अग्रवाल ने अमर सिंह को खलनायक कह दिया.
अमर बोले- मुझ पर लगाए गए आरोप बेबुनियादी
इस रस्साकशी के बीच एक बार फिर अमर सिंह इस मसले पर खुल कर सामने आए हैं. उन्होंने कहा है कि जिनके घर पर मुख्यमंत्री पले-बढ़े हैं, उन्हीं चाचा (शिवपाल सिंह यादव) के आज वे विरोधी हो गए हैं. उन्होंने यह भी कहा कि मुझ पर बेबुनियाद आरोप लगाए जा रहे हैं. इसके साथ ही राज्यसभा सांसद सिंह ने कहा कि अखिलेश के विकास के लिए मैंने जो किया है वह सभी के सामने है.