टैक्स अधिकारियों ने दिल्ली सरकार के मंत्री सत्येंद जैन की कंपनियों के शोयर व 100 बीघा से अधिक जमीन को कथित तौर पर जब्त किया है. बताया जा रहा है यह कार्रवाई बेनामी संपत्ति के खिलाफ बनाए गए कानून के मुताबिक की है. ऐसा माना जा रहा है कि इस मामले के बाद एक बार फिर केंद्र और दिल्ली की 'आप' सरकार के बीच संबंध तल्ख हो सकते हैं.
सूत्रों के मुताबिक जब्त की गई जमीन की कीमत 17 करोड़ जबकि शेयरों की कीमत 16 करोड़ रुपये बताई जा रही है. हालांकि इनकी मार्केट वैल्यू कहीं अधिक बताई जा रही है. इस संबंध में 27 फरवरी को 4 संबंधित कंपनियों को नोटिस जारी किया गया है. जिसमें इंडो मेटलिमपेक्स, अकिंचन डिवेलपर, प्रयास इन्फोसोल्यूशन और मंगलायतन प्रॉजेक्ट को जारी किए गए नोटिसों में अधिकारियों ने बेनामी संपत्ति ट्रांजैक्शन ऐक्ट के तहत सत्येंद्र जैन पर कंपनियों से कैश पेमेंट के लिए गलत एंट्रियों के जरिए शेयर हासिल करने का दोषी ठहराया है.
केवल इंडो मेटलिमपेक्स से संबंधित 69 बीघा खेती की जमीन जब्त की गई है. जैन को दिल्ली सरकार में काफी ताकतवर मंत्री माना जाता है. वह पीडब्ल्यूडी, ट्रांसपोर्ट और हेल्थ सहित कई अहम मंत्रालय संभाल रहे हैं.
आयकर विभाग कथित तौर पर जिवेंद्र मिश्रा, अभिषेक चोखानी और राजेंद्र बंसल से जैन के संबंधों की जांच कर रहा है जो पहले से कोलकाता में टैक्स चोरी के आरोपी हैं. यह सभी लोग कोलकाता में एंट्री ऑपरेटर हैं जो कैश के बदले बड़ी कंपनियों के शेयर बेचते हैं जो कथित तौर पर सिर्फ कागजों पर होती हैं और इनके जरिए काफी कालेधन का हेर-फेर किया जाता है. बता दें कि दिल्ली की अरविंद केजरीवाल सरकार पहले ही नरेंद्र मोदी सरकार पर दिल्ली पुलिस व अन्य केंद्रीय ऐजेंसियों के जरिए अपने मंत्री और विधायकों पर झूठे मामले दर्ज करने का आरोप लगाती रही है.