नई दिल्ली: राजस्थान के जयपुर में गुरूवार को पूर्व राजपरिवार सड़क पर उतर आया। रॉयल फैमिली ने राजमहल पैलेस होटल के गेट बंद किए जाने के खिलाफ रैली निकालकर सरकार को घेरने की कोशिश की। इस विरोध प्रदर्शन में पूर्व महारानी पद्मिनी देवी की रैली निकालकर सैकड़ों लोगों की अगुवाई की। कई लोगो आज ही गेट खुलवाना चाहते थे लेकिन खुद महारानी ने लोगों को ऐसा करने से रोक दिया और उन्होंने कहा कि सीएम ने इस मामले में कार्रवाई का भरोसा दिलाया है।
क्या है पूरा मामला
जेडीए ने 24 अगस्त को सी-स्कीम में होटल राजमहल पैलेस की 12 बीघा 3 बिस्वा जमीन को अपने कब्जे में ले लिया था। बाजार भाव के मुताबिक जमीन की कीमत करीब 500 करोड़ रु. है। जमीन पर जेडीए संपत्ति के बोर्ड लगा दिए गए। जिसके बाद राजपरिवार की सदस्य दीया कुमारी दीया कुमारी ने विरोध जताया, लेकिन कार्रवाई जारी रही। जेडीए ने विवादित स्ट्रक्चर की तोड़फोड़ के साथ ही होटल के सिविल लाइंस फाटक रोड की ओर खुलने वाले मेन गेट, सरदार पटेल रोड की तरफ के 3 गेट और परिसर में स्थित 2 बिल्डिंगों में तोड़फोड़ कर एक इमारत को सीज कर दिया।
कानून में है भरोसा
जयपुर की पूर्व राजमाता पदि्मनी देवी ने जारी बयान में कहा कि जयपुर के शाही परिवार ने कभी भी सरकार एवं जेडीए के स्वामित्व वाली किसी भी संपत्ति को अपने कब्जे में नहीं लिया है। हमें कानून पर पूरा विश्वास है और हमें यकीन है कि अंतत: जीत न्याय की ही होगी।
बता दें कि जयपुर की एक अदालत का इस मामले में फैसला आना बाकी है। न्यायालय इस मामले पर बुधवार (31 अगस्त) को सुनवाई पूरी कर चुका है।