नई दिल्ली : खुदा के बाद दुनिया में मुलायम सिंह को अपना सबसे करीबी बताने वाले यूपी सरकार के कबीना मंत्री आज़म खान की समाजवादी पार्टी में मुश्किलें बढ़ती दिखाई दे रही हैं. दरअसल मुलायम के घर में शुरू हुई घमासान के असली हीरो आज़म खान हैं. बताया जाता है कि अमर सिंह के पार्टी में धुर विरोधी कहे जाने वाले आज़म खान ने अपनी पुरानी खुन्नस निकालने को लेकर सीएम अखिलेश के कान अमर को लेकर भरे थे. जिसके चलते ही चाचा शिवपाल और भतीजे सीएम अखिलेश के बीच पार्टी में घमासान शुरू हो गयी थी.
मुलायम की नजर में आज़म ने गिरायी अपनी इमेज
सूत्रों के मुताबिक इस पोल के खुल जाने के बाद आज़म खान अब सपा मुखिया मुलायम की नजरों में गिर गए हैं. मुलायम के करीबी लोगों के मुताबिक नेताजी आज़म खान से अधिक अमर सिंह को इसलिए मानते हैं की वह अहसान फरामोश नहीं है. भले हो सत्ता की दलाली करने वाले अमर सिंह को लोग पार्टी में नहीं पसंद करते हों, लेकिन मुलायम उ७न्हेन इसलिए आज़म से अधिक मानते हैं क्यों की जब वह पार्टी छोड़कर गए थे. तभी वह नेताजी के खिलाफ चल रही आय से अधिक संपत्ति मामले की जांच में उनकी मदद कर रहे थे. यही नहीं लगातार अदालत में चल रहे उनके मुकदमें की पैरवी में भी उन्होंने अपने कदम पीछे नहीं किये.
क्यों मानते हैं मुलायम आज़म से ज्यादा अमर को ?
जिसके चलते मुलायम सिंह आज़म से अधिक अमर सिंह को पसंद ही नहीं बल्कि भरोसा भी करते हैं. बताया जाता है कि अमर सिंह ने सपा पार्टी छोड़ने के बाद भी मुलायम सिंह से अपना नाता नहीं तोडा. और तो और वह उनसे बराबर उनका हालचाल भी लेते रहे. यही नहीं कई मौकों पर उन्होंने मुलायम के बुरे वक्त में भी अपनी दोस्ती निभाई. जानकारों की मानें तो मुलायम भी जानते हैं की आज़म से ज्यादा उनके वफादार साथी अमर सिंह हैं. खबर है कि अमर सिंह के खिलाफ उन्होंने अखिलेश के कान भरे थे, जिसको लेकर मुलायम भीतर ही भीतर उनसे खफा हैं.
अमर के विरोधियों की जुबान पर मुलायम ने कैसे डाला ताला ?
सूत्रों के मुताबिक पार्टी में अमर की बगावत करने वालों का मुहं बंद करने के लिए ही मुलायम ने अपने परम मित्र अमर सिंह को पार्टी में राष्ट्रीय महासचिव बनाकर पार्टी के भीतर घुस कर बैठे उनके दुश्मनों की जुबान पर ताला डाल दिया है. बताया जाता है कि सपा मुखिया भी जानते हैं कि कल तक उनको अपना करीबी बताने वाले आज़म खान ने जब यह देखा की पार्टी में अमर सिंह की वापसी हो रही है तो उन्होंने सीएम अखिलेश का साथ पकड़ लिया. और पार्टी में चल रही जंग में भी वह पीछे से अखिलेश को अमर के खिलाफ भड़का रहे थे. जिसके चलते मुलायम, शिवपाल और अमर सिंह की लाबी सीएम अखिलेश से अलग हो गयी है. इसी तरह सीएम अखिलेश की लाबी में मुलायम के भाई राम गोपाल और नगर विकास मंत्री आज़म खान शामिल हैं. बहरहाल मुलायम ने यह बात साफ कर दी है की पार्टी में अगर किसी ने अमर का विरोध किया तो उसे बाहर का रास्ता दिखाने में कोई कसर नहीं बाकी रखी जाएगी.