नई दिल्ली : समाजवादी पार्टी में चाचा शिवपाल और सीएम अखिलेश के बीच चली लंबी घमासान के बाद अब ये बात साफ हो गयी है कि सपा में वही होगा जो मुख्यमंत्री अखिलेश यादव चाहेंगे. अखिलेश के मजबूत होते ही शिवपाल समर्थकों में हड़कंप मचना शुरू हो गया है.
अखिलेश खेमे में थी नाराजगी
शिवपाल समर्थकों में किस कदर हड़कंप मचा हुआ है. इसका अंदाजा इसी से लगाया जा सकता है कि शिवपाल के कट्टर समर्थक व इटावा में समाजवादी पार्टी की जिला ईकाई के अध्यक्ष अशोक यादव ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया है. गौरतलब है कि पिछले दिनों शिवपाल यादव और अखिलेश यादव के बीच जब विवाद हुआ था और शिवपाल सिंह यादव को मंत्रालय से हटाया गया था. उस वक्त अशोक यादव की अगुवाई में इटावा में शिवपाल यादव के समर्थन में धरना प्रदर्शन आयोजित किया गया था. साथ ही आगरा कानपुर हाईवे को कई घंटों के लिए बंद करा दिया गया था. इसे लेकर अशोक यादव के खिलाफ अखिलेश खेमे में नाराजगी थी.
पद से दिया अशोक ने इस्तीफा
समाजवादी पार्टी कार्यालय पर आज दोपहर पत्रकारों से वार्ता के दौरान अशोक यादव ने एक खत जारी करके अपने पद से इस्तीफा दे दिया. पार्टी हाईकमान को भेजे अपने खत में उन्होंने कहा है कि उनकी ओर से गठित किए गए संगठन को यथावत रखा जाए. पार्टी सूत्रों के मुताबिक अशोक यादव सपा अध्यक्ष होने के बावजूद भी सीएम अखिलेश यादव के इटावा दौरे के दौरान लगातार गायब रहा करते थे.
शिवपाल पसंद करते थे अशोक यादव को
इसे लेकर सवाल उठने भी शुरू हो गए थे. 21 नंबवर को आगरा - लखनऊ एक्सप्रेस वे के शुभारंभ के मौके पर उन्नाव में आयोजित कार्यक्रम में अशोक यादव अपने समर्थकों के साथ वहां गए थे. बताया जाता है कि सीएम अखिलेश यादव, प्रो रामगोपाल यादव समेत मुलायम परिवार के तमाम सदस्य अशोक यादव से खासे खफा थे और सिर्फ शिवपाल सिंह यादव ही अशोक यादव को पसंद करते थे.
अखिलेश समर्थकों की वापसी तय
उधर सपा सुप्रीमो ने अखिलेश के नवरत्नों जिनमें तीन एमएलसी आनंद भदौरिया, सुनील सिंह साजन, संजय लाठर व मुलायम सिंह यूथ ब्रिगेड के राष्ट्रीय अध्यक्ष गौरव दुबे, प्रदेश अध्यक्ष मोहम्मद एबाद, युवजन सभा के प्रदेश अध्यक्ष ब्रजेश यादव, समाजवादी छात्र सभा के प्रदेश अध्यक्ष दिग्विजय सिंह देव शामिल हैं, को अपने आवास पर बुलाया था और उनसे मुलाकात कर पार्टी के लिए काम करने को कहा था।
बर्खास्त नेताओं ने सौंपा माफीनामा
सूत्रों के मुताबिक रामगोपाल यादव की सपा में वापसी के बाद अब अखिलेश की युवा ब्रिगेड की भी वापसी हो सकती है. इन युवा नेताओं पर सीनियर नेताओं के खिलाफ नारेबाजी का आरोप था. सूत्रों के मुताबिक बर्खास्त नेताओं ने मुलायम सिंह के आवास पर जाकर उन्हें माफीनामा सौंपा है.