आप और हम
जीवन की विडंबना सच हम जानते हैं।
आप और हम फिर भी अनजान रहते हैं।
हां अहम और वहम की जिंदगी जीते हैं।
आप और हम शायद अंतर्मन न जानते हैं।
आओ पढ़े
सादर हम नीरज अग्रवाल उत्तर प्रदेश के शहर मुरादाबाद से है
लिखता हूं सच और हकीकत बस आप सभी मित्रों से सहयोग चाहता हूं शब्दों के साथ हम और हमारे जीवन शब्द है। 🚩🙏