नई दिल्लीः यूपी चुनाव में दमदार प्रदर्शन के लिए कांग्रेस ने आरक्षण कार्ड खेल ा है। इस दांव के दम पर पार्टी ने यूपी की सत्ता में आने का ख्वाब संजो लिया है। अब देखना है कि कांग्रेस का यह ख्वाब पूरा होता है यह मुंगेरीलाल के हसीन सपने जैसा रहता है।
क्या है आरक्षण का दांव
कांग्रेस ने यूपी विधानसभा चुनाव के मद्देनर जो आरक्षण कार्ड चला है। उसके मुताबिक यदि पार्टी सत्ता में आती है तो अति पिछड़ा वर्ग की उन जातियों को आरक्षण का लाभ मिलेगा, जो अब तक सूची में स्थान न मिलने से वंचित हैं। पिछड़ी जातियों को 27 प्रतिशत आरक्षण है। इसी में अति पिछड़े वर्ग की वंचित जातियों को भी पार्टी शामिल करेगी।
राहुल ने बैठक में लिया फैसला
यूपी कांग्रेस प्रभारी गुलाम नबी आजाद ने कहा कि इस मुद्दे को पार्टी चुनावी घोषणापत्र में भी शामिल करने जा रही है। पार्टी उपाध्यक्ष राहुल गांधी के साथ संबंधित जातियों के प्रतिनिधियों की बैठक हुई। जिसके बाद पार्टी ने फैसला लिया कि वंचितों को भी उनका हक दिलाया जाएगा। आजाद ने कहा कि हरियाणा, प. बंगाल, महाराष्ट्र, आंध्र प्रदेश और कर्नाटक आदि 10 राज्यों में अति पिछड़ों के आरक्षण की व्यवस्था है। उन्होंने कहा कि यूपीए सरकार ने 2013-14 में ही इस बाबत राष्ट्रीय स्तर पर पहल करनी शुरू कर दी। सुप्रीम कोर्ट भी इसे मंजूर कर चुका है। मगर इसके बाद कांग्रेस के सत्ता में हटने के बाद रिपोर्ट पर कार्रवाई नहीं हो सकी।