दिगपाल ने मेरे ज़हन में एक सवाल पैदा कर दिया, क्या दिगपाल सचमुच देशभक्त था और देश भक्ति के लिए फ़ौज़ में भर्ती हुआ था? बचपन में जब उसके फ़ौज़ में भर्ती होने की बात सुनी थी तो यही समझ आया था कि गरीबी की वज़ह और अच्छी नौकरी ना मिलने की वजह से वो फ़ौज़ मे
जैसा नाम वैसा जिगर . 9 गोलियां भी कुछ नहीं बिगाड़ सकी चेतन चीता का. दो महीने से कोमा में रहे चेतन चीता मौत और जिंदगी की जंग में आखिरकार मौत को हार माननी ही पड़ी देश में ऐसे भी जवान मौजूद हैं जो देश के लिए गोली खाने को भी हमेशा तैयार हैं.
जब गहराई में डूब कर देखा तो खुद को किसी कोने में हतोत्साहित पाया क्योंकि शब्द बाण राष्ट्रीय हित को बस कुरेद रहे हैं. हाँ! यह सच है जिसके मुख पर देखा देशहित की बात और विकास की बात. कोई कह रहा है कि विकास ऐसे होगा तो कोई कहा कि वैसे होगा! फेसबुक, ट्विटर और व्हाट्सएप पर बस देश को बदलने की बङी - बङी डाय
भारत के मिसाइल मैन स्वर्गीय डॉ अब्दुल कलाम जी को उनकी पुण्यतिथि पर शत-शत नमन। भारत को रक्षा के क्षेत्र मे आत्म निर्भर बनाने एवं एक विकसित राष्ट्र का सपना देखने वाले माननीय कलाम जी को प्रथम पुण्यतिथि पर भावभीनि श्रद्धांजलि। Rest In Peace
सारे जग में हिन्द का डंका,बड़े सूरमा डोल गए, देखो तो जय हिन्द का नारा ओबामा तक बोल गए, अम्बर में लहराए तिरंगा,धरती पर पग ध्वनियाँ थीं, राष्ट्रगीत की सुर लहरी थी,दंग देखती दुनिया थी, जिस पल सब दे रहे सलामी,द्रश्य अजीब दिखाए थे, महामहिम उप राष्ट्रपती ने पीछे हाथ छुपाये थे, कूल्हो से मस्तक तक केवल कुछ