नई दिल्लीः कश्मीर के बारामूला में 46 राष्ट्रीय राइफल्स के कैंप पर हुए आत्मघाती हमले में कमांडोज ने बहादुरी का परिचय दिया। 90 मिनट में दो आतंकियों को ठोंक दिया। वहीं एक कमरे में छिपे बाकी आतंकियों के खिलाफ मोर्चा लेना शुरू किया। बीएसएफ का सर्च ऑपरेशन भी जारी है। दोनों तरफ से हुई गोलाबारी में सेना और बीएसएफ के कुल पांच जवान घायल हैं। बाद में एक बीएसएफ जवान शहीद हो गया। उड़ी हमले के करीब 14 दिन बाद आतंकियों ने यह हमला किया।
कब हुई घटना
बारामूला में रात करीब साढ़े दस बजे आतंकियों ने हमला किया। यह हमला उस राष्ट्रीय राइफल्स के कैंप पर हुआ, जिसका काम कश्मीर में काउंटर टेरर ऑपरेशंस का है। झेलम नदी के पास मौजूद इस कैंप पर रात में करीब चार आतंकियों ने ग्रेनेड फेंके। इसके बाद जवानों ने मोर्चा संभाला और गोलीबारी हुई।
कमांडों ने घेरकर की कार्रवाई
कैंप पर हमला होते ही सेना की कमांडो यूनिट बुलाई गई। इसके बाद बीएसएफ और पुलिस के स्पेशल ऑपरेशन ग्रुप के कमांडो ने मिलकर आतंकियों से मोर्चा लेना शुरू किया। इस दस्ते ने चारों ओर से घेरकर दो आतंकियों को मारा। बाकी दो आतंकियों के एक कमरे में छुपकर गोलीबारी किए जाने की बात सामने आ रही। फिलहाल सेना और पैरामिलिट्री फोर्स बाकी बचे दो आतंकियों को पकड़ने या मार गिराने के लिए लगी हुई है।