लखनऊ: मुख्यमंत्री बनने के बाद पहली बार अपनी कर्मभूमि जाने का असर क्या होने वाला है,स्वंम योगी भी नहीं जानते।लाल बहादुर शास्त्री भवन में पहले ही दिन अपने कमरे के दर्शन करने के बाद मुख्यमंत्री योगी आदित्य नाथ ने भवन के सभी तलो पर स्थापित कार्यालयो एवं अनुभागों का औचक निरीक्षण कर लिया। निरीक्षण में शासन स्तर के अनुभागों,शौचलायो और पीने के पानी का स्थान अत्यन्त गन्दा था। जिलो के कार्यलयों में भी ऐसी अव्यवस्था नहीं होती है i
मुख्यमंन्त्री ने इस पर कड़ी आपत्ति और दुःख जताते हुऐ तत्काल इस दिशा में कार्यवाही के निर्देश दिए थे।इसी दिन कार्यालयो में गुटका और पान मसाला खाना भी निषिद्ध कर दिया गया था।मुख्यमंन्त्री के आदेशों का इतना प्रबल प्रभाव होगा यह किसी ने भी नहीं सोचा था। दो दिन गोरखपुर प्रवास का लाभ उठाकर शनिवार को बंद रहने वाले सचिवालय के अधिकांश महत्वपूर्ण विभागों को शनिवार को खोलने के निर्देश दे दिये गये।
हमेशा की तरह कार्यालय शासकीय कार्यो के निस्तारण हेतु न खोलकर विगत वर्षों की पत्रावलियों को नष्ट करने के लिये खुले थे।इतनी अधिक तादात में पुरानी पत्रावलियों को नष्ट किया गया है कि पुरानी सरकार के घोटालों का कोई अभि लेख मिलना भी संभव नहीं होगा। अखिलेश तथा उनके मंत्रियो के चहेते आफिसर भी अपने आकाओं को बचाने की कोशिश करते दिखाई दिये।एक जाती विशेष के लोगो ने तो इस कार्य में बढ़ चढ़ कर हिस्सा लिया।
आवास,नगर विकास,चिकित्सा,उद्योग और गृह विभाग आदि जैसे अति संवेदनशील विभागों में तो 70-75 प्रतिशत तक अनुभाग में मौजूद पत्रवालियो को नष्ट करा दिया गया।गृह विभाग जहाँ पत्रवालियो की अधिकता के कारण कर्मचारियो का बैठना भी दूभर था,आज बिल्कुल खाली खाली दिखाई दे रहा है।पुलिस अधिकारियों की नियुक्ति, स्थानांतरण, विशेष प्रोन्नति, पुरुस्कार, अभियोजन, गन हाउस तथा महानुभावो को सुरक्षा प्रदान किये जाने सम्बन्धी ऐसे प्रकरण की फाइलें जो राजनैतिक दबाव में होती थी,कदाचित नष्ट हो गई।
शनिवार रात्रि देर तक चले इस काम के बाद आज सुबह 9 बजे से इन अनुभागों में फैली रद्दी को उठवाने का काम युद्ध स्तर पर किया जा रहा है। बोरो में एकत्र की जा रही रद्दी, ट्रको में भर भर कर जल्दी जल्दी सचिवालय के भवनों से बाहर निकलवाई जा रही है।इस कार्य में सचिवालय प्रशासन विभाग के अधिकारी आज भी अपने कार्यालय में बैठकर कार्य पर निगरानी रखे हुये है।
पीने के पानी और शौचालयों की सफाई की और कोई विशेष ध्यान नहीं दिया गया है।इतना जरूर है की स्वार्थ सिद्ध करने वाले अधिकारियो के कारण कल सुबह सचिवालय हल्का हल्का अवश्य लगेगा और कर्मचारियो को शुद्ध वातावरण का अहसास होगा। निश्चित रूप से इस अच्छे कार्य के लिऐ मुख्य मंत्री के रूप में योगी आदित्य नाथ की ही सराहना की जायेगी।