
नई दिल्ली : उत्तराखण्ड सरकार का कहना है कि खनन पर नैनीताल हाईकोर्ट की रोक के बाद निर्माण कार्यों पर तो असर पड़ सकता है। मुख्यमंत्री का कहना है कि इस पूरे मामले का परीक्षण कर जल्दी ही आगे की कार्रवाई की जाएगी। उधर खनन सचिव का कहना है कि इससे सरकार को करीब 350 करोड़ की चपत लगेगी। उन्होंने कहा कि खनन पर 4 महीने की रोक से फौरी तौर पर कमोबेश 150 करोड के राजस्व का नुकसान होगा
नैनीताल हाईकोर्ट ने 4 महीने के लिए हर तरह के खनन पर रोक लगाने का फैसला किया था। साथ ही एक उच्चाधिकार प्राप्त कमेटी का गठन किया था। ये कमेटी खनन से पर्यावरण और प्राकृतिक संपदा को हो रहे नुकसान का अध्ययन कर हाईकोर्ट को अपनी रिपोर्ट सौंपेगी। मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत का कहना है कि सरकार कोर्ट के आदेश का परीक्षण करा रही है।
पिछले दो वित्त वर्षों के राजस्व पर तुलनात्मक नजर
आबकारी 1486.65--- 1735.39 करोड़
स्टांप शुल्क 714.05 --- 870.67 करोड़
व्यापार एवं बिक्री कर 5464.83 --- 6105.43 करोड़
भूराजस्व 39.25--- 27.88 करोड़
वाहन कर 393.70--- 470.87 करोड़
खनन 223.7--- 272.65 करोड़