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आम फलो का राजा

19 नवम्बर 2021

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पेड़ो की बात चल रही हो और गर्मी के दिनों में आम का जिक्र न हो ऐसा मुमकिन ही नहीं।आम के वैसे तो बहुत प्रचलित नाम है,लंगड़ा,आम्रपाली,हिमसागर, दशहरी, अल्फांसो,तोतापरी....जितने प्रान्त उतनी किस्मे उतने नाम।पर आपके अपने बगीचे के आम का कुछ अनोखा ही नाम होगा ,बड़े बूढ़े उसे उसी नाम से पुकारते होंगे,जैसे हमारे बचपन में बम्बईया नाम था सबसे बड़े आम के पेड़ का जिस पे झूला पड़ता था और सारी पलटन दोपहर भर उसी पे मिलती थी,एक पेड़ फुश्लोनोइया था अब इन विचित्र नामो का उद्भव कँहा से हुआ ये तो पता नहीं पर ऐसे अनेक नामो के पेड़ जुड़े है,आम के बगीचे सें।आम के बहुत से व्यंजन है ,बहुत से पेय और तरह तरह के अचार बनाये जाते है।आम के पेड़ की लकड़ी का उपयोग हवन पूजन में होता है,पत्तियों से वंदनवार बनाया जाता है।आम से अमावट बनाती थी नानी जिसपे छोटे छोटे हाथ बन जाते थे दोपहर में और उतना अमावट पेट में चला जाता था छोटे भाइयो के ।

Dinesh Dubey

Dinesh Dubey

बहुत अच्छा

20 नवम्बर 2021

20 नवम्बर 2021

19 नवम्बर 2021

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रचनाएँ
भारत के पेड़ और उनसे हमारा लागवा
3.0
ये पुस्तक भारतीय भूखंड में पाए जाने वाले पेड़ो के बारे में है और उनसे जुड़ाव से जुड़े कुछ संस्मरण भी सलंग्न है।इस दौर में जब हम अपने वन और वन्य जीवों को खोते जा रहे है।लेखक को लगता है कि पेड़ो के साथ लगाव लगा कर हम उन्हें बचा सकते है और अपनी वन्य सम्पदा को अपनी आनेवाली पीढ़ी को सौप पाएंगे

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