बोलो राम राम रामबोलो श्याम श्याम श्यामसीता राम राम रामराधे श्याम श्याम श्याम।बोलो..........कौशल्यानंदन राम राम रामदेवकीनंदन श्याम श्याम श्याम।बोलो..........दशरथ पुत्रं राम राम रामवसुदेव सुतं श्याम श्य
डम डम डमरू वाले,
मेरे श़म्भो भोले भाले,
हे! विश्वनाथ. कैलाशी,
भक्तों के त
भरद्वाज गौत्रीय ब्राह्मणों की कुलदेवी चामुण्डा माता की आरती की नवीन रचना ॐ जय चामुण्डा माता, मैया जय चामुण्डा माता ।कुलदेवी कुलपालनी ,कुल रक्षक दाता ।।ॐ जय चामुण्डा....कांगड़ देवास लौद्रवा, कोलासर राजे ।श
वन निकले सजन, मेरा सूना अंगन, छोड़ चले गए हमारे सजना| मुझे लगी लगन, मेरा सूना अंगन, न आये मिलने को हमारे सजना|| जब याद सजन की आये, मेरा अंग- अंग दहलाये|ना खबर पिया आये, मिलाने को जिया घबराये||1|| भटके वन-वन, करें कठिन तपन, मोह माया को तजि गए हमारे सजना|जब हमको बताके जात
विधा-- भजन मात्रा भार--14"""""""""""""""""""💥💥वृहद की चाह 💥💥 """"""""*****"""""""जब यह अणु वह पंकिल मन, वृहद मन को चाहता है । तब जाकर कण-कण में वो, साधक को दिख पाता है । *मंजिल की चाहत में तो, हरदम ही उलझन आती । दृढ़ निश्च
सबसे पहले हम ये जाने की कीर्तन का सही अर्थ क्या है.Kirtan का सही अर्थ मैंने अभी कुछ दिन पहले सुप्रसिद्ध भागवत वाचक Goswami Shri Pundrik Ji Maharaj से जाना उनोहने जो बताया में आज आप लोगो से शेयर करती हूँ.Goswami Shri Pundrik Ji Maharaj के अनुसार हम जब किसी एक विशेष भगव
“भजन गीत” नजरिया में आ के घेरा गईल माधों ई कइसन बंसुरिया बजा गईल माधों...... देखली सुरतिया संवरिया कन्हाई अंगुली घूमा के मुरलिया बजाई कदम की छइयाँ हेरा गईल माधों लाज लाजवंती के बता गईल माधों......ई कइसन बंसुरिया बजा गईल माधों राधा की गोरी गोरी भोरी कलाई रूप मनिहारिनी को चुड़ियाँ पिन्