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छोड़ो उनकी यादों को

6 सितम्बर 2024

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चुप सी है उदासी आज।

अक्सर बात करने वाली,

तुम नही तो ये भी नही हे।

चाहो मुझसे बात कर लो।

कोई अच्छा सावल कर लो।

मैं तुम्हे अपना मन ही नहीं अपनी प्रेरणा भी मानता हु।

यूं तो बस तुम्हे जनता हुं।

उनका चिंतन आधा आधा बांट लेते हैं,।

छोड़ो उनकी यादों को,

जीवन प्रेम से गुजर लेते हैं।




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मीनू द्विवेदी वैदेही

क्या बात है,बहुत सुंदर 👌👌 आप मेरी कहानी पर अपने लाइक जरूर दें 🙏🙏🙏

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रचनाएँ
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