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मेरे पहले शिक्षक।

4 सितम्बर 2024

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मेरे जीवन मेरे पहले शिक्षक का बहुत खास स्थान है। क्यूंकि मेरे पहले शिक्षक मेरी मां है।   उन्होंने मुझे शब्द दिए, बोलने का ज्ञान दिया। सबसे बड़ी बात जीवन दान दिया। पापा फॉरेस्ट विभाग में कार्यरत थे। इसलिए अक्सर वो बाहर रहते थे। मम्मी हम चारो भाई बहनों के साथ अकेले रहा करती थी।   मम्मी ने उस समय हमे निडर होकर जीने की शिक्षा दी। मम्मी की शिक्षा दीक्षा आठवी तक कि रही।

पर हमारी पढ़ाई को लेकर वो बहुत सजग थी। पढ़ लिखकर समाज में सम्मान के साथ जीने की शिक्षा दी।

कुछ बड़े हुए तो पैसे बहुत खर्च करने लगा था। वो पैसों का महत्व समझती थी। बुरे समय के लिए पैसों की बचत की शिक्षा दी।  कॉलेज गए तो नए लोगों से मिलना और दोस्ती बढ़ गई। बहुत सारा समय मैं घर से बाहर रहा करता था। उस समय मम्मी ने समय के महत्व की शिक्षा दी। जीवन में मैं बिलकुल नास्तिक हो गया था, भगवान के प्रति आस्था और विश्वास शिक्षा भी मम्मी से ही मिली है।

कैलाश धुर्वे की अन्य किताबें

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रचनाएँ
कैलाश धुर्वे की डायरी
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ये कहानी मनोज और आशा की है जिसमे प्यार भी निभाना है और दोस्ती भी
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मन का सब्र

24 जुलाई 2024
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सब्र याने धीरज जो आज के समय में होना तो सबके पास  चाहिए पर रखता कोई नहीं है   हर किसी के अंदर जल्दी सब कुछ पा लेने की ईछा है.  हमारा प्रयास कितना भी अच्छा हो  पर  उससे आगे हमारा प्रारब्ध झंडा लिए खड़

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मनोज और आशा 3

25 जुलाई 2024
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मनोज की इस जिद्द के आगे मैं मजबूर हो गया और मैं आशा के पास गया जहाँ वो अपनी फ्रेंड के साथ  बैठकर स्मार्ट लड़को के बारे में चर्चा कर रही थी  उनके कपडे ,रहन सहन का तरीका  उनके स्टाइल की  चर्चा कर रही थ

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पुरुष तू

29 जुलाई 2024
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समाज का पुरुष प्रधान तू  सब कहते शक्तिमान  तू . मुझे  कोई  संज्ञा न दो  , बीटा भाई और पिता हूँ . बस अपनों के लिए जीता हूँ . सारे काम कर मैं सोता हूँ. कोई जिज्ञासा लेकर उठता हूँ . अपने जीवन की व्

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बचपन की यादे

30 जुलाई 2024
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बचपन  की यादो का भी क्या कहना है . स्कूल न जाने के लिए हम भी बड़े बहाने करते थे . पेट पर अपनी हाथ रखकर जोर से दर्द होने का बहाना किया करता था . पर मम्मी हमें पकड़   लिया करती थी .  और हमे स्कूल जाना प

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प्रेमचंद

31 जुलाई 2024
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साहित्य की दुनिया का एक ऐसा नाम, जो किसी परिचय का मोहताज नहीं है हम बात कर रहे हैं  कहानीकार  ,उपन्यास कर मुंशी  प्रेमचंद की     इनका वास्तिवक नाम धनपत राय था .इन्होने  अपने जीवन काल में 300 से भी अ

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ससुराल

1 अगस्त 2024
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प्रीती आज सुबह से ही बड़ी  परेशान थी । उसने घर का सारा काम तो कर लिया था , फिर भी वह घडी की  ओर देखे  जा रही थी । उसका पति सोमेश एक नंबर का शराबी था । प्रीती न उसे कई बार  समझाने का प्रयास किया पर वो 

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बांग्ला देश

6 अगस्त 2024
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aअभी रविवार को हुए उपद्रवी प्रदशन मे बंगला देस की  तख्ता पलट कर रख दिया है। हजारों छात्रों ने सारी हदों को पार करते हुए राजधानी ढाका में अपना नियंत्रण स्थापित कर लिया है। इसी कारण हालात को खराब होते द

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बांग्ला देश

6 अगस्त 2024
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aअभी रविवार को हुए उपद्रवी प्रदशन मे बंगला देस की  तख्ता पलट कर रख दिया है। हजारों छात्रों ने सारी हदों को पार करते हुए राजधानी ढाका में अपना नियंत्रण स्थापित कर लिया है। इसी कारण हालात को खराब होते द

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विनेश फोगाट

7 अगस्त 2024
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ओलम्पिक में अपना पदक पक्का कर विनेश फोगाट ने इतिहास रच दिया है। फोगाट ओलम्पिक के फाइनल में पहुंचने वाली पहली भारतीय महिला रेसलर बन गई हैं। उन्होंने इस मुकाम तक पहुंचने के लिए बहुत मेहनत की हे। देखा ज

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बादलों में

2 सितम्बर 2024
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बादलों तुम कहां चले गए।मुझको रुलाके चले गए।नील गगन भी खाली है।तुमसे पेड़ो की हरियाली है।तुम्हे खोजने कहां मैं जाऊं।तुमसे दिल की बात बताऊं।मेरे सनम के लिए बारिश कर दो।पुरी छोटी सी ख्वाहिश कर दो।

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मेरे पहले शिक्षक।

4 सितम्बर 2024
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मेरे जीवन मेरे पहले शिक्षक का बहुत खास स्थान है। क्यूंकि मेरे पहले शिक्षक मेरी मां है।   उन्होंने मुझे शब्द दिए, बोलने का ज्ञान दिया। सबसे बड़ी बात जीवन दान दिया। पापा फॉरेस्ट विभाग में कार्यरत थे। इस

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तीज व्रत

4 सितम्बर 2024
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 हमारे देश में तीज व्रत का विशेष महत्व है शादी सुदा महिला अपने पति को लंबी उम्र के लिए व्रत रखती है। यह व्रत पूरे 24 घंटे का निर्जला होता है। कुंवारी लड़कियां अच्छे पति की कामना के लिए व्रत रखती है। 

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छोड़ो उनकी यादों को

6 सितम्बर 2024
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चुप सी है उदासी आज। अक्सर बात करने वाली, तुम नही तो ये भी नही हे। चाहो मुझसे बात कर लो। कोई अच्छा सावल कर लो। मैं तुम्हे अपना मन ही नहीं अपनी प्रेरणा भी मानता हु। यूं तो बस तुम्हे जनता हुं। उनक

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नही पता पर कितना याद बहुत आयेगी।

10 सितम्बर 2024
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तेरे जाने के बाद तेरी याद बहुत आयेगी। नही पता पर कितना  याद बहुत  आयेगी। पुरानी यादों को भूल जाना। नई ज़िदगी फिर से आयेगी। नन्हे थे तुम मेहमान हमारे। नील गगन के चांद सितारे। मेरी नमी लिए इन आंखो

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कुछ लोग तुम्हे अच्छा कहते हैं कुछ लोग मुझे।

13 सितम्बर 2024
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तुम मिले तो पता चला ज़िंदगी खूबसूरत है। मेरे घर से तुम्हारे घर का फासला बस चार कदम का है। हर कदम पर अलग बाते हैं। हर बात एक कहानी सुनाती है। हर एक कहानी के किरदार अलग अलग है। हर किर

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