मैं नहीं मानूंगा कभी इस बात को , ये तो कभी नहीं हो सकता । मैं तो कभी मान ही नहीं सकता हूं कि तुम और शादी नहीं करना चाह रहे थे । तू तो अब चुप ही रह ... मुंह बंद कर तू अपना अब साले ... । बड़ा आया शादी से मना करने वाला । प्रशांत की ये बातें सुनकर उसके सारे दोस्त हंसने लगे थे ।
ऐसे ही हंसी मजाक में समय बीत गया और अब सगाई की मुहूर्त भी हो गई थी । पंडित जी के कहे अनुसार लड़की और लड़का दोनों को स्टेज पर बुला लिया गया और तब सगाई की रस्म शुरू हुई । इस समय प्रशांत की नजरें प्रतिक्षा पर थी , लेकिन उसकी आंखें भावहीन थी । वो बस अपलक प्रतीक्षा को देखे जा रहा था , जबकि प्रतीक्षा आज बला की खूबसूरत लग रही थी और यहाँ प्रशांत उसे थोड़े गुस्से से देख रहा था ।
इस दौरान प्रतीक्षा की नजरें दो - तीन बार उससे टकराई , प्रशांत को अपने तरफ देखता देखकर वह हर बार अपनी पलके नीचे झुका ले रही थी ।
प्रतीक्षा जब तक प्रशांत को सामने से नहीं देखी थी , तब तक वो इस शादी से उतना खुश नहीं थी , लेकिन अब जब उसने प्रशांत को सामने से देख लिया था तो वो काफी खुश नजर आ रही थी । उसने कभी ये सोची नहीं था कि उसे कैसा लड़का चाहिए , दिखने में कैसा होना चाहिए या केयर करने वाला चाहिए । उसके दिमाग में ये बात कभी आई ही नहीं थी , लेकिन हाँ ! जब भी किसी लड़के की फोटों आती थी और जब वो देखती थी तो वो उसे पसंद नहीं आता था , वो बस अपना नाक - भौ और मुंह को टेढ़ा कर लेती थी । वो ये जान चुकी थी की उसे शायद कोई भी लड़का पसंद नहीं आयेगा , इसलिए शादी का फैसला उसने अपने मम्मी - पापा पर छोड़ दिया था । उसके दिमाग में एक प्रतिबिंब जरूर था , लेकिन धुंधला सा है जिसके वजह से उसे कभी कोई लड़का पसंद ही नहीं आता था । जब भी वह किसी लड़के का फोटो देखती थी तो उसके दिमाग में वह प्रतिबिंब उभर आता है था और तब वो प्रतिबिंब को उस फोटों में हर एक एंगल से फिट करके देखती थी लेकिन उसमें कोई भी तस्वीर फिट नहीं आती और वह रिजेक्ट कर देती थी । इसी वजह से वह इस बार प्रशांत की फोटो को उसने ध्यान से नहीं देखा था और जब आज उसने प्रशांत को देखा तो वो जो धुंधला सा प्रतिबिंब उसके दिमाग में था । वो आज साफ हो गया था । इसी वजह से वो आज खुश थी । वह इस बात से अनजान थी , कि वह उसके होने वाले पति को बिल्कुल पसंद नहीं है ।
खैर दोनों तरफ से सगाई की रस्में खुशी-खुशी संपन्न की गई , फिर बड़े लोग बारी-बारी से उन दोनों को उनके उज्जवल भविष्य और हमेशा खुश रहने का आशीर्वाद दिए और सब के साथ दोनों की बहुत सी तस्वीरें ली गई ।
जब बड़े लोगों की बारी खत्म हुई तब प्रशांत और प्रतीक्षा के सारे दोस्तों ने साथ में ढेर सारा पिक्चर्स लिए । स्टेज पर थोड़ी देर तक हंसी मजाक चलता रहा । फिर खाना खाकर सब लोग धीरे - धीरे अपने घर जाने लगे । अब प्रशांत के घर वाले भी जाने के लिए प्रतीक्षा के मां - पापा से इजाजत लेते हैं और फिर वह लोग अपने घर जाने के लिए निकल जाते हैं वहां से , यह कहकर की शादी की कोई अच्छी सी मुहूर्त पंडित जी से दिखा कर हमें बता दीजिएगा , अगर आप सब को कोई परेशानी ना हो तो ... दो - तीन माह के अंदर ही शादी करना चाहते हैं हम । वैसे भी बच्चों की सगाई करके ज्यादा दिन तक रखना ठीक नहीं है । यह बात कह कर प्रशांत की मां हंसने लगी और अपनी होने वाली समधन से अपनी समर्थन के लिए कहीं — क्यों समधन जी सही कहा ना मैंने ।
तो प्रतीक्षा की मां भी मुस्कुराकर हांमी भर दी और फिर कहीं की — ठीक है , पंडित जी से बोलूंगी कि कोई नजदीक की मुहूर्त हो तो बता दीजिए । वैसे भी हम भी शादी जल्दी ही करना चाहते हैं ।
प्रशांत इन लोगों से कुछ दूरी पर खड़ा था और इन लोगों की बातें सुन रहा था । जब वह सुना की प्रतीक्षा की मां भी जल्दी ही शादी करना चाहती हैं , तो वो अपने मन में सोचने लगा — यार ! .. यह हमारी माँए क्यों हमारी शादी जल्दी कर देना चाहती हैं । प्रतीक्षा की मां भी यही बात बोल रही है । कहीं इसके साथ भी कोई जबरदस्ती तो नहीं की जा रही है । हां ... जरूर यह भी मेरी तरह शादी नहीं करना चाह रही होगी 🙄 और इसके घरवाले उसकी मर्जी के खिलाफ शादी कर रहे हैं । खैर ...😑 क्या ही कर सकते हैं हम । घरवाले तो कभी भी कुछ भी कर देंगे हमारे साथ ।
प्रशांत कुछ देर तक वहां रुका रहा । फिर जब उसे लगा कि अभी उसके मॉम - डैड यहां से हिलने वाले नहीं हैं । तो वह उनसे यह बोल कर बाहर आ जाता है कि मैं आपका कार में वेट कर रहा हूं । आप लोग बातें करिए यहाँ ।
इधर प्रतीक्षा को आज समझ नहीं आ रहा था , कि वो आज खुश है या दुखी ! क्योंकि उसका इस समय हंसने और रोने का मन कर रहा था । आज उसे कभी - कभी अंदर ही अंदर हंसी आ रही थी , तो कभी - कभी रोना भी आ रहा था ।
रात के 10 : 30 pm हो रहा था । अब तक सब लोग अपने - अपने घर चले गए थे । लड़के वाले तो 06:00 - 06: 30 pm में ही चले गए थे । लेकिन प्रतीक्षा के घर आए अतिथि देर तक रहे । जिसके कारण प्रशांत के घर वालों को अपने घर जाने में लेट हो गया ।
क्रमशः ...