नवाज शरीफ को भ्रष्टाचार के मामले में दोषी करार दिया गया है। उनको प्रधानमंत्री के पद से हटा दिया गया है।
हाई-प्रोफाइल पनामागेट मामले की जांच कर रही संयुक्त जांच टीम ने प्रधानमंत्री नवाज शरीफ को 15 जून को पूछताछ के लिए बुलाया है. नवाज भ्रष्टाचार के आरोपों की जांच कर रही किसी टीम के समक्ष पेश होने वाले पहले सेवारत प्रधानमंत्री होंगे. जेआईटी प्रमुख वाजिद जिया ने प्रधानमंत्री को एक पत्र लिखकर कहा है कि वह मामले से जुड़े सारे दस्तावेजों के साथ 15 जून को सुबह 11 बजे छह सदस्यीय जांच टीम के सामने पेश हों.
नवाज को यह सम्मन उस वक्त जारी किया गया जब वह शंघाई सहयोग संगठन शिखर सम्मेलन में हिस्सा लेकर कजाखस्तान से लौटे. डॉन की रिपोर्ट के मुताबिक, अभी लाहौर में मौजूद नवाज ने सोमवार सुबह इस मुद्दे पर अपने करीबी सहयोगियों से चर्चा की. अपने सहायकों से चर्चा के बाद प्रधानमंत्री ने सम्मन का सम्मान करने का फैसला किया है और वह गुरुवार को जेआईटी के सामने पेश होंगे.
लंदन में नवाज शरीफ के परिवार के स्वामित्व वाली संपत्तियों के लिए इस्तेमाल में लाए गए धन से जुड़ी बारीकियों की जांच के लिए सुप्रीम कोर्ट ने जेआईटी का गठन किया है. जेआईटी ने अनुचित कारोबारी सौदों को लेकर पिछले महीने नवाज के बेटों - हुसैन और हसन - से भी पूछताछ की थी.
बता दें कि पनामा पेपर्स मामले में पाकिस्तानी पीएम और उनके परिवार पर भ्रष्टाचार का आरोप है. सुप्रीम कोर्ट ने इस मामले की जांच की लिए संयुक्त जांच टीम का गठन किया है और नवाज शरीफ तथा उनके दोनों बेटों को इस टीम के सामने जांच के लिए हाजिर होने का निर्देश दिया है.