10 अप्रैल 2022
रविवार
समय-10:46(रात)
मेरी प्यारी सखी,
इस गर्मी में हाल-चाल कैसे हैं तुम्हारे?
सबसे पहले तुम्हें रामनवमी की बहुत-बहुत शुभकामनाएं। आज का दिन बहुत खास है। आज ही के दिन रामचंद्र ने इस पृथ्वी पर जन्म ग्रहण किया था।
आज तो सुबह से ही घर धोबी घाट बना हुआ है। पूरे सप्ताह के कपड़े एक साथ धोती हूं तो अब जाकर फ्री हो पाई हूॅं।
सूखने के बाद उनकी तह भी तो बनानी है उसके बाद रात का खाना।
इस बार तो रविवार के चक्कर में रामनवमी की छुट्टी भी बर्बाद हो गई।
सखी तुम्हें पता है, जब हम छोटे थे उस समय नया कैलेंडर आते ही साल भर की सारी छुट्टियां देख लिया करते थे। कोई भी छुट्टी अगर शनिवार को या सोमवार को होती तो हमारी खुशी का ठिकाना ही नहीं रहता। वहीं रविवार को अगर छुट्टी का कोई दिन होता तो बहुत दुःखी हो जाते हैं और कहते गई एक छुट्टी खड्डे में।
कई बार बच्चों को कुछ कहो तो तुरंत जवाब मिल जाता है अभी नहीं बाद में। तब अचानक हम हमारे बचपन में चले जाते हैं जहां हमें ना बोलने की हिम्मत ना होती थी और आज के बच्चे तो...
पता है 10वीं और 12वीं की बोर्ड की परीक्षाएं शुरू हो गई हैं। पिछली बार तो कोरोनावायरस को कारण 10th और 12th की परीक्षाएं ही नहीं करवाई गई। उन्हें आठवीं और नौवीं के आधार पर ही अंक प्रदान कर दिए गए। इस बार भी बच्चें यही कह रहे थे कि काश वैसा ही हो जैसा पिछली बार हुआ था। कोरोनावायरस से बच्चों में पढ़ाई के प्रति वितृष्णा जागृत हो चुकी है।
अभी वार्ता को यहीं विराम देते हैं।
कल फिर मिलना हो, इसी आशा के साथ...
शुभ रात्रि
पापिया