बीते कल का अफसोस और आने वाले कल की चिंता दो ऐसे चोर है
14 मार्च 2022
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बीते कल का अफसोस और आने वाले कल की चिंता दो ऐसे चोर है जो हमारे आज की खूबसूरती चुरा लेते हैं । चिंता करोगे तो भटक जाओगे चिंतन करोगे तो भटके हुए को रास्ता दिखाओगे
"दौलत" सिर्फ रहन सहन का स्तर बदल सकती है । "बुद्धि" "नियत" और "तक़दीर" नही वृक्ष कभी इस बात पर व्यथित नहीं होता कि उसने कितने पुष्प खो दिए, वह सदैव नए फूलों के सृजन में व्यस्त रहता है ।
जीवन में कितना कुछ खो गया, इस पीड़ा को भूल कर, क्या नया कर सकते है । इसी में जीवन की सार्थकता है ।केवल रक्त सम्बंध से ही कोई अपना नही होता