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मेरी कलम से.....

Meenakshi Suryavanshi

116 अध्याय
1 लोगों ने खरीदा
67 पाठक

किताब एक ऐसा उपहार है जिसे आप बार-बार खोल सकते हैं। सबसे अच्छी किताबें वे हैं जो आपको वो बताएं जो आप पहले से जानते हों। ऐसा ही कुछ मै अपनी किताब में लिख रही हूं। 

meri kalam se

0.0(6)


💓💓💓💕💕💕Bahutttttttt hi shandaar Likha aapne behtreen collection 😍 👌👌👌👌👏👏👏👏💕💕💕💕💕💓💓💓💓💓💓


Very nice👏👏


कविता अच्छी लिखती है आप


बहुत ही सुन्दरता के साथ आपने हर भाव को अपनी रचनाओं में स्थान दिया है,अच्छा काव्य संकलन है आपका ।

पुस्तक के भाग

1

हमसफर

15 नवम्बर 2021
14
9
11

<div align="left"><p dir="ltr">जिनसे न मिलकर भी <br> उनके होने का हो एहसास <br> उम्र गुजारी किशोरी <

2

तुमसे प्यार

16 नवम्बर 2021
7
4
6

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>काश की ख्वाब मेरा </b></i><br> <i><b>हकीकत बन कर सामने आ जाए</b

3

दोस्ती

16 नवम्बर 2021
7
5
6

<div align="left"><p dir="ltr"><b><i>दोस्ती में कोई उम्र नहीं होता है। </i></b><br> <b><i>दोस्ती एक

4

शून्य

16 नवम्बर 2021
4
3
4

<div align="left"><p dir="ltr"><b><i>जिंदगी जद्दोजहद में गुजर रही है </i></b><br> <b><i>पर निष्कर्ष

5

अल्फाज

16 नवम्बर 2021
3
3
4

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>एक अल्फाज लिए </b></i><br> <i><b>लफ्ज़ में ढल जायेगे</b></i><br

6

जुर्म

16 नवम्बर 2021
3
3
3

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>जुर्म की कलम से क्या लिखूं </b></i><br> <i><b>किसने किया और </b

7

चांद

16 नवम्बर 2021
4
2
3

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>हम तो यहां रहते हैं परदेस में</b></i><br> <i><b>हमारे देश में न

8

सपना

17 नवम्बर 2021
3
3
3

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>देखा एक अजीब सा सपना</b></i><br> <i><b>रातों की नींदों में सोकर

9

गुजारिश

17 नवम्बर 2021
17
15
9

<div align="left"><p dir="ltr">जाने क्या हुआ आज तुम्हें <br> क्यों इतनी मोहब्बत जताये जाते हो <br><b

10

आभासी दुनिया

17 नवम्बर 2021
4
5
2

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>घरों में बंद रहकर </b></i><br> <i><b>कुछ लोग खुश तो </b></i><br

11

मोहब्बत

17 नवम्बर 2021
5
4
3

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>मोहब्बत की हर बात पर</b></i><br> <i><b>आँसू बहा क्यों तेरा</b><

12

किलकारी

17 नवम्बर 2021
4
4
3

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>जिस से खिल उठे घर आंगन </b></i><br> <i><b>वह है बच्चों की किलका

13

अजन्मी बिटिया

17 नवम्बर 2021
4
5
4

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>गर्भ में डरी सी सहमी हुई </b></i><br> <i><b>सांसे लेती हुई</b><

14

छल

17 नवम्बर 2021
3
4
2

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>मुझे पाने के लिए </b></i><br> <i><b>उसे दिल चाहिये था </b></i><

15

तेरी गलियों

17 नवम्बर 2021
5
4
3

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>हम तुम पर करते थे </b></i><br> <i><b>बड़ा अभिमान </b></i><br> <

16

प्रेम

18 नवम्बर 2021
1
2
1

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>अगर प्रेम को निभाओगे तो </b></i><br> <i><b>पूरी जिंदगी कम लगती

17

माँ

18 नवम्बर 2021
5
5
4

<div><span style="font-size: 16px;">बच्चों के हर एक गुनाह को </span></div><div><span style="fon

18

जिंदगी

18 नवम्बर 2021
3
3
2

<div><span style="font-size: 16px;">कहीं जिंदगी डूब रही है , </span></div><div><span style="fon

19

ये जिंदगी

18 नवम्बर 2021
4
4
3

<div><br></div><div><span style="font-size: 16px;">हमनें हँसकर भी देख लिया, हमनें रोकर भी देख लिया..

20

माफी 

18 नवम्बर 2021
4
4
3

<div><span style="font-size: 16px;">पश्चाताप</span></div><div><span style="font-size: 16px;"><br></s

21

अपना आत्मसम्मान 

18 नवम्बर 2021
2
3
2

<div><span style="font-size: 1em;">बेटियों को पढ़ा - लिखा कर काबिल बनाया हैं , </span><br></div

22

बेटियां

18 नवम्बर 2021
6
7
6

<div align="left"><p dir="ltr">रोशन है बेटियों से घर आँगन,<br> बेटियों से दुनिया लगती मधुवन I </p> <

23

नारी

18 नवम्बर 2021
4
3
4

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>नारी से नर होता हैं </b></i><br> <i><b>नर से नारी नहीं होती हैं

24

श्याम

18 नवम्बर 2021
4
6
4

<p dir="ltr"><b><i>साँझ हुई लौट आए </i></b><br> <b><i>श्याम रूपी ग्वालें </i></b><br> <b><i>दिनभर गा

25

ज़िंदगी

19 नवम्बर 2021
2
3
2

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>ज़िंदगी फिर से जवाँ </b></i><br> <i><b>फिर से हसीं हो जाए </b><

26

झिलमिलाती सी शाम

19 नवम्बर 2021
4
5
4

<div><span style="font-size: 16px;">पूरा दिन बीत गया </span></div><div><span style="font-size:

27

दो पल

19 नवम्बर 2021
3
3
2

<div align="left"><p dir="ltr">यह तो तय है इस शरीर को छोड़ जाना है एक दिन,<br> जन्म लिया तो मर

28

याद

19 नवम्बर 2021
3
4
3

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>कई बार</b></i><br> <i><b>तुम्हारी याद की </b></i><br> <i><b>दुन

29

तू और मैं

19 नवम्बर 2021
2
3
2

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>बुरा तू भी नहीं</b></i><br> <i><b>मैं भी नहीं</b></i><br> <i><b

30

खुशियों का ठिकाना

19 नवम्बर 2021
4
5
3

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>बेच रहे है ग़म को </b></i><br> <i><b>ढूँढते खुशियों का ठिकाना </

31

बिंदिया

19 नवम्बर 2021
4
5
4

<div align="left"><p dir="ltr"><b><i>वह क्यों रुठी सी है</i></b><br> <b><i>परेशान थी</i></b><br> <b>

32

अंतर्राष्ट्रीय पुरुष दिवस

19 नवम्बर 2021
4
5
2

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>शक्ति का पर्याय है वो </b></i><br> <i><b>और सृष्टि का रचनाकार <

33

मंजिल

19 नवम्बर 2021
4
5
4

<p dir="ltr"><b><i>अब ना रोको कोई की जाम आने दो</i></b></p><p dir="ltr"> <b><i>मेरी महफ़िल मे भी शाम

34

बेटियाँ

19 नवम्बर 2021
5
6
5

<div><span style="font-size: 16px;"> कभी अपने आप में शून्य नजर आती है , बेटियाँ </span></d

35

गुनहगार 

19 नवम्बर 2021
3
4
3

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>मैं</b></i><i><b> इंसान हूं </b></i><br> <i><b>इंसानियत को नहीं

36

बारिश की बूंदों

19 नवम्बर 2021
3
4
3

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>काश बारिश की बूंदों </b></i><br> <i><b>से सारा जहां हो </b></i>

37

जीवन

20 नवम्बर 2021
3
4
3

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>न साथ बचा न शब्द </b></i><br> <i><b>अजीब सा आलम छाया है </b></i

38

बहरूपिया

20 नवम्बर 2021
3
4
3

<div align="left"><p dir="ltr">लाई थी एक गिलास <br> निर्मल पानी पीने को <br> स्वच्छ शीतल जल रखा उसमे

39

नारी

20 नवम्बर 2021
4
4
3

<div align="left"><p dir="ltr">मैं वह नारी हूं <br> जो पायल सिंदूर और <br> बिछिया को बेड़ी नहीं <br>

40

खोजी

21 नवम्बर 2021
2
2
1

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>जो ढूंढ ले </b></i><br> <i><b>खुद से खुद को </b></i><br> <i><b>

41

बुरा ख्वाब

21 नवम्बर 2021
2
3
2

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>रातें काली न साथ उनका </b></i><br> <i><b>दूजे ये बुरे सपने आते

42

मां का घर

21 नवम्बर 2021
4
5
4

<div align="left"><p dir="ltr">कितने साल बीत गए<br> मां के घर से विदा हुए <br> बरसों बीत गए <br> नया

43

ख्वाब

21 नवम्बर 2021
4
4
3

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>आज दिखा एक बुरा ख्वाब था </b></i><br> <i><b>ना जाने यह कैसा गुन

44

हालात

21 नवम्बर 2021
5
5
3

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>मैंने आज अपने दिल से कहा</b></i><br> <i><b>यहां कौन परेशान नहीं

45

एक ख्वाब

21 नवम्बर 2021
4
5
4

<div align="left"><p dir="ltr">देखा था एक ख्वाब हमने भी <br> उसके साथ जीने मरने का<br> चुपके चुपके प

46

बचपन

22 नवम्बर 2021
3
4
3

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>वह बचपन की गुड़िया </b></i><br> <i><b>जवानी की कहानी </b></i><b

47

कंप्यूटर सा प्यार

22 नवम्बर 2021
3
4
3

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>गम को output करो</b></i><br> <i><b>मुस्कान को input करो</b></i>

48

चारपाई

22 नवम्बर 2021
3
4
3

<div align="left"><p dir="ltr"><b><i>बने बंगले ना रहा आंगन </i></b><br> <b><i>और आंगन की चारपाई </i>

49

रिश्ता

22 नवम्बर 2021
4
5
4

<div align="left"><p dir="ltr">न रूठिए अब अपनों से<br> न गुस्सा करिए अपनों से<br> करती मौत तांडव जमी

50

दोस्ती

22 नवम्बर 2021
3
4
3

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>एक विश्वास है दोस्ती</b></i><br> <i><b>जो प्रेम के धागे से जुड़

51

खुशियों का ठिकाना

23 नवम्बर 2021
4
4
4

<div align="left"><p dir="ltr"><b><i>बेच रहे है ग़म को </i></b><br> <b><i>ढूँढते खुशियों का ठिकाना </

52

खुशी की चासनी

23 नवम्बर 2021
4
5
4

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>कुरकुरे से दिखते भी हो ठीक</b></i><br> <i><b>लेकिन थोड़ी कम है

53

प्रियतम

23 नवम्बर 2021
3
4
3

<div align="left"><div align="left"><p dir="ltr"><b><i>हे प्रियतम प्यारी </i></b><br> <b><i>जब से लग

54

प्रेम

23 नवम्बर 2021
2
3
1

<div align="left"><p dir="ltr">तुम्हारे एहसासों से प्रेम किया है मैंने <br> तुम्हारे हर एक सांसों से

55

किताब

23 नवम्बर 2021
1
2
1

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b><u>किताबों में ज्ञान का भंडार है</u></b></i><br> <i><b><u>तभी त

56

ख़्वाब सा

23 नवम्बर 2021
2
3
2

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>मुझ में तू तू ही तू बसा</b></i><br> <i><b>नैनों में जैसे ख़्वाब

57

तुमसे मिलना

23 नवम्बर 2021
3
4
3

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>तुमसे मिलना </b></i><br> <i><b>बातें करना </b></i><br> <i><b>बड

58

ख़्वाहिश

23 नवम्बर 2021
3
4
2

<div><span style="font-size: 16px;">सूरज की पहली </span>किरण की </div><div>शुरुआत हो तुम&n

59

राज

23 नवम्बर 2021
4
5
3

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>कहीं धूप सी लगती है और </b></i><br> <i><b>कहीं छाया सा लगता है।

60

क्या लिखूं ?             

23 नवम्बर 2021
6
7
6

<div align="left"><p dir="ltr"><b><i>मैं तुझको लिखूं</i></b><br> <b><i>या तेरी पहेलियाँ लिखूं </i></

61

गाँव

24 नवम्बर 2021
4
3
2

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>तुम्हारे गाँव पर जब सूरज उगने लगे </b></i><br> <i><b>धूप बिखरती

62

सफर

24 नवम्बर 2021
4
4
4

<div align="left"><p dir="ltr">सफर सी हुई है जिंदगी <br> हर दौर चौराहे सा लगता है <br> किसे कहे हम अ

63

जीवन

24 नवम्बर 2021
4
4
3

<div><span style="font-size: 16px;">जीवन नए सपनों को सजाता है हमेशा , </span></div><div><span s

64

आत्मनिर्भर

25 नवम्बर 2021
3
4
3

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>खुद को तू अब सक्षम कर ले</b></i><br> <i><b>अब बन तू आत्मनिर्भर<

65

प्यारे चांद

25 नवम्बर 2021
5
5
6

<div align="left"><p dir="ltr">ए मेरे प्यारे चांद क्या वाकई <br> मिला तुझे भी कोई श्राप <br> आखिर क्

66

आत्मसम्मान

25 नवम्बर 2021
7
7
6

<div><span style="font-size: 16px;"> हाँ ! अब मैं बदलने लगी हूं</span></div><div><span style="f

67

मन का बंधन

26 नवम्बर 2021
2
2
2

<div align="left"><p dir="ltr"><b><i>मन से मन का बंधन </i></b><br> <b><i>मिल ज़ाती हैं दो रुहें</i><

68

ईश्वर

26 नवम्बर 2021
3
4
2

<div><span style="font-size: 16px;">भव सागर के अन्धड़ में </span></div><div><span style="font-s

69

जिंदगी

26 नवम्बर 2021
3
2
3

<div><span style="font-size: 16px;">जिंदगी के कारवां में</span></div><div><span style="font-size: 16

70

मेरा मन

26 नवम्बर 2021
4
4
2

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>न जाने दिल मे कितने </b></i><br> <i><b>सपने छुपाये बैठी हूं </b

71

जाने क्यूँ

26 नवम्बर 2021
3
4
3

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>जब भी यह दिल उदास होता है</b></i><br> <i><b>जाने क्यूँ तू आस -

72

हैसियत

26 नवम्बर 2021
4
5
4

<div align="left"><p dir="ltr">जो कभी खैरियत पूछते थे<br> आज हैसियत पूछते हैं मेरी<br> गैरों से शिकव

73

बसंत

27 नवम्बर 2021
3
4
3

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>हैं तेरी यादें बड़ी हसीन </b></i><br> <i><b>आंखों से गई नींद </b

74

मोबाइल की दुनिया

27 नवम्बर 2021
3
4
3

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>दिखने में लागे छोटी सी मुनिया</b></i><br> <i><b>आभासी ये मोबाइल

75

मोहब्बत

27 नवम्बर 2021
2
3
2

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>अपने ही शहर में कैसे </b></i><br> <i><b>अनजाने से हो गए</b></i>

76

तकदीर

27 नवम्बर 2021
2
3
2

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>बड़े गौर से पढ़ती हूं</b></i><br> <i><b>तेरी आँखे तेरी तस्वीर म

77

प्रभु

27 नवम्बर 2021
2
3
2

<div><span style="font-size: 16px;">मिलता है सच्चा सुख </span></div><div><span style="font-size

78

गुरु

27 नवम्बर 2021
2
3
2

<div><span style="font-size: 16px;">यदि जन्मूं फिर इस भूतल पर!</span></div><div><span style="font-si

79

नए सवेरे

28 नवम्बर 2021
2
3
2

<div align="left"><p dir="ltr">वंदन हो अभिनन्दन हो <br> इस नए सवेरे में<br> मेहनत करके <br> अपने ख्व

80

सुंदरता

28 नवम्बर 2021
4
5
3

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>सुंदरता तूने मचा रखा है </b></i><br> <i><b>दुनिया में हाहाकार&n

81

ऐ जिंदगी

28 नवम्बर 2021
1
2
0

<div align="left"><p dir="ltr"><b><i>ऐ जिंदगी तेरे दिए</i></b><br> <b><i> हर दर्द को</i></b></p><p d

82

महफिल

28 नवम्बर 2021
3
3
2

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>हम तो तेरे महफिल में </b></i><br> <i><b>यूँ ही चले आये थे</b></

83

जिंदगी

28 नवम्बर 2021
2
3
2

<div align="left"><p dir="ltr"><b><i>कोई बेबस ... </i></b><br> <b><i>कोई बेताब ... </i></b><br> <b><

84

नारी

28 नवम्बर 2021
3
5
2

<div align="left"><p dir="ltr">मैं वह नारी हूं <br> जो पायल सिंदूर और <br> बिछिया को बेड़ी नहीं <br>

85

जमानत

28 नवम्बर 2021
5
5
2

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>किन सांसो का मै ऐतवार करू </b></i><br> <i><b>जो अंत में मेरा सा

86

ए जिंदगी 

28 नवम्बर 2021
2
3
2

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>जिंदगी के कोरे कागज़ पर </b></i><br> <i><b>मैंने एक सपना लिख दि

87

वह रसोई 

29 नवम्बर 2021
3
4
3

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>वह रसोई की खिड़की और </b></i><br> <i><b>खिड़की से निकलता धुआँ&n

88

पिता

29 नवम्बर 2021
5
5
4

<div align="left"><p dir="ltr">पिता संघर्षो के तुफानों में <br> होसलों की दीवार हैं<br> पिता जिम्मेद

89

जीवनसाथी

30 नवम्बर 2021
4
4
3

<div align="left"><p dir="ltr">पिता का आंगन छोड़ आई थी जिनके साथ,<br> किसी अजनबी ने थामा था मेरा हाथ

90

प्रेम पंथ 

30 नवम्बर 2021
2
2
2

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>यह प्रेम पंथ ऐसा ही है </b></i><br> <i><b>जिसमें सब कोई चल न सक

91

दादी

1 दिसम्बर 2021
5
4
3

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>वो माटी के खिलौने </b></i><br> <i><b>लकड़ी के घोड़े और काठी&nbs

92

जीवन की अल्फाबेट

2 दिसम्बर 2021
5
4
6

<div align="left"><p dir="ltr"><b><i>A-अच्छे कर्म करो 🥀🥀</i></b></p> <p dir="ltr"><b><i>B- बुरा मत

93

मोबाइल का जीवन

2 दिसम्बर 2021
4
5
3

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>फेसबुक पर जीवन </b></i><br> <i><b>फेसबुक के फेस पर चलता है</b><

94

मेहनत

3 दिसम्बर 2021
5
5
5

<div align="left"><p dir="ltr"><b><i>मेहनत करना मेरा कर्म था</i></b><br> <b><i> &nb

95

मोहब्बत

3 दिसम्बर 2021
3
4
3

<div align="left"><p dir="ltr"><b><i>तुम्हें हरदम याद करना भी </i></b><br> <b><i>एक एहसास है</i></b>

96

आने वाला कल

4 दिसम्बर 2021
3
4
2

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>आज की शाम ढल गई</b></i><br> <i><b>जाने कल का सूरज क्या होगा </b

97

इंद्रधनुषी स्वरूप

5 दिसम्बर 2021
3
3
3

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>जल की बूंदे तपिश पाकर </b></i><br> <i><b>सात रंगों में बिखरे </

98

जानने लगी

6 दिसम्बर 2021
2
3
2

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>जब मैं ममता को नहीं जानती थी</b></i><br> <i><b>तब भूख को जानती

99

प्रेम

6 दिसम्बर 2021
5
4
3

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>प्रेम क्या होता है.........</b></i><br> <i><b>यह किसी उम्र का&n

100

ख्वाहिश

7 दिसम्बर 2021
3
4
3

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>न साथ बचा न शब्द </b></i><br> <i><b>अजीब सा आलम छाया है </b></i

101

शिकायत

9 दिसम्बर 2021
3
3
2

<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>ऐ</b></i> <i><b>ज़िन्दगी मुझे </b></i><br> <i><b>कोई शिकायत नहीं

102

सकारात्मक सोच

11 दिसम्बर 2021
2
3
2

<div align="left"><p dir="ltr"><b><i>जब भी बुरा हो जीवन में </i></b><br> <b><i>तब भी खुश रहना </i></

103

मजबूत औरत

11 दिसम्बर 2021
13
9
5

<div align="left"><p dir="ltr">खुद को तू मजबूत कर ले<br> यह लोग कभी ना सुधर पाएंगे<br> बलात्कार के ऐ

104

रंग

11 दिसम्बर 2021
3
3
2

<div align="left"><p dir="ltr">एक कहानी याद आई थी <br> फिर सोचा किसे जाऊं सुनाने <br> एक कोरा कागज ल

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याद

12 दिसम्बर 2021
3
2
2

<p dir="ltr"><b><i>तुम रखना मुझको साथ </i></b><br> <b><i>जब खुशी से ज्यादा </i></b><br> <b><i>

106

सफर

12 दिसम्बर 2021
3
4
3

<div align="left"><p dir="ltr">सफर सी हुई है जिंदगी <br> हर दौर चौराहे सा लगता है <br> किसे कहे हम अ

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खिलौना

12 दिसम्बर 2021
5
6
4

<div align="left"><p dir="ltr">मैं कोई खिलौना नहीं <br> मैं एक लड़की हूं<br> किसी पिता के आंखों का त

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बंद दरवाजे

12 दिसम्बर 2021
6
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4

<div align="left"><p dir="ltr">कभी देखी है बंद दरवाजे <br> के पीछे की औरत<br> चार दीवारियों में कैद

109

गुमनाम रिश्ते

13 दिसम्बर 2021
4
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4

<div align="left"><p dir="ltr">जाने कहां वो रिश्ते गुमनाम हुए<br> क्या वाकई फरिश्ते भी बदनाम हुए <br

110

पंछी

13 दिसम्बर 2021
4
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<div align="left"><p dir="ltr">मैं उड़रहा था <br> अपने दो छोटे - छोटे <br> पंखों के सहारे <br> नीले

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कुर्सी

14 दिसम्बर 2021
5
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<div align="left"><p dir="ltr"><i><b>बाँट दिया मन्दिर मस्जिद </b></i><br> <i><b>बाँट दिया भगवान को <

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पर्यावरण दिवस 

5 जून 2022
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1

नीड़ बिहड़ जंगल नदी और झरने ठंडी हवाओ संग कोयल के स्वर के क्या कहने पक्षी स्वर का सरगम तो कहीं हिरण लगाए छलांग सबको है यहाँ आजादी सबके अपने अपने गान कितनी सुंदर स्वच्छ धरा थी हमने किया कैसे इस्तेम

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यह कैसा इश्क?

10 जून 2022
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गलती हुई सबसे बड़ी जो इश्क तुम्हारा पहचान ना सकी इतना ज्यादा इश्क तुम्हारा कैसे मैं पहचान न सकी...... 💔💔💔💔💔💔💔💔💔💔💔💔💔💔💔💔 इजहार तुम्हारा इनकार मेरा इसमें फूंक दिया मेरा चेहरा तेजाब

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हसीना 

28 जुलाई 2022
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एक हसीना थी... हमने यूं नजर उठाई तो तो उनसे नजर मिल गई फिर जो वो मुस्कुराई तो दिल में उतर गई मुड़ के जो हमने देखा तो उनसे मोहब्बत हो गई और उनको बार बार देखा तो आदत वो बन गई उनकी मुस्कराहट आशिक़ी बन गई

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मुसाफिर

28 जुलाई 2022
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मेरी आंखों का बहुत सुंदर मुसाफिर है वो आसमां भी झुके जिसके सजदे में वह ताज है वो उफ्फ्फ्फ़ क्या फुर्सत से तराशा गया है उनको सभी उन्हें देखकर कहते है क्या लाजवाब है वो खुदा ने भी कितनी फुर्सत से

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अवसाद

8 अक्टूबर 2022
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क्षणभंगुर वो स्वप्न मेरा कुछ ऐसे विषाद में बदला, वो ख़ुशी का हर एक पल सहसा अवसाद में बदला..... सोचा था कलम के माध्यम से, मैं अपना प्रेम लिखुँ छंदो में शब्दों को पिरोकर तुमसे अपना प्यार लिखुँ..

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