22 फरवरी 2016
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पर्यटन-प्रशासन एवं प्रबंधन में यूजीसी-नेट उत्तीर्ण, एम.बी.ए. इन टूरिज्म-मैनेजमेंट(सीएसजेएम-कानपुर विश्वविद्यालय), मास्टर्स इन मास-कम्युनिकेशन(लखनऊ विश्वविद्यालय), दैनिक जागरण-यात्रा विभाग में बतौर लेखक (१ जून २००८ से १७ सितम्बर २०१५ तक ) ७ वर्ष, ३ माह एवं १७ दिन का कार्य-अनुभव, नई दिल्ली के प्रकाशकों द्वारा कुछ पुस्तकों का प्रकाशन जैसे - मैनेजिंग एंड सेल्स प्रमोशन इन टूरिज्म (अंग्रेज़ी), शक्तिपीठ (हिंदी) और फिल्म-पटकथा लेखन पर आधारित मौलिक गीतों युक्त हिंदी में लिखी पुस्तक- “देवी विमला”...एक साधारण भारतीय महिला की असाधारण कहानी, प्रख्यात गीतकार श्री प्रसून जोशी द्वारा एक प्रतियोगिता में चयनित सर्वश्रेष्ठ गीतों में से एक गीत शामिल, जागरण जोश के कवर पेज पर आल-एडिशन फोटो...D
<p>प्रधानमंत्री अपनी और सरकार दोनों की नाकामी छुपानेके लिए इस तरह के बयांनदे रहे हैं और जनता को बरगला रहे है एक सैंनिक के सर के बदले सौ सर भ्रटाचारियों को जेल विदेश में जमा कला धन कांग्रेस के मंत्रियों के खिलाफ सबूत आदि बाते जनता भूल जाय इसलये ये सब कर रहे है मंहगाई के साथ पहले अपने मंत्रियो पर भी लगाम लगानी होगी बाकी ये पब्लिक है सब जानती है </p>
23 फरवरी 2016
<p>सफ़ेद छूट <span style="color: rgb(153, 153, 153); font-size: 15px; line-height: 19.5px;">अपनी नाकामी छुपाने का एक तरीका! हवा बजी से देश का विकास नही होता.</span></p><span style="color: rgb(153, 153, 153); font-size: 15px; line-height: 19.5px;"><br></span><span style="color: rgb(153, 153, 153); font-size: 15px; line-height: 19.5px;"><br></span><span style="color: rgb(153, 153, 153); font-size: 15px; line-height: 19.5px;"><br></span>
22 फरवरी 2016
<p>मैं प्रधान मंत्री के बक्तब्य से सहमत नहीं हूँ।ये केवल अपनी नाकामी छुपाने का एक तरीका है।बार -बार चाय बेचने वाले का जिक्र कर आप कहना क्या चाहते हैं।जिसके पास इतनी बहुमत हो वो भी रोना रोये ,अचरज की बात है।क्रूड ऑयल इतना सस्ता है कि आपके पास धन की कोई कमी नहीं है।मेरा मानना है क़ि आपको आपके ही आदमी काम नहीं करने देते हैं।शहादत पे शहादत सैनिकों की हो रही है लेकिन कोई कार्यवाई नहीं । अरे यही सब भाषण दे कर आप सत्ता में आये हैं।क्यों नहीं पाकिस्तान पर कार्यवाई हो रही है।अगर यही हाल रहा तो 2019 आपके लिए मुश्किल ला सकती है।</p>ये मेरी निजी राय है।
22 फरवरी 2016