एपीसोड 20 - अरुण का आलोक संग काम करना
पिछड़े एपिसोड में हमने देखा था की आएशा और जीवन दोनों अब एक दूसरे के दोस्त बन गए है, क्योंकि दोनो की बीच की कड़ी है उनसे जुड़ा अतीत, जीवन के माफी मांगते ही आएशा उसे माफ कर देती है, दोनो ने अगले दिन मंदिर में मिलने का सोचा।
क्या इस फूलती फलती आयशा और जीवन के बीच के दोस्ती मैं क्या कोई आ जाएगा बीच में, देखते है आगे। जब हम आगे देखते है की अरुण का सबसे प्यारा दोस्त, बचपन के दोस्त ने आलोक की वजह से सुसाइड कर लिया था, इसी का बदला लेने के लिए अरुण ने आलोक का ऑफिस ज्वाइन किया था, क्या कुछ ऐसा होगा जो अरुण अपना बदला लेना छोड़ देगा, जैसा मैने कहा था की सब अब उसके ही हाथ में था आलोक के बिजनेस की पावर ऑफ अटॉर्नी अरुण के हाथ में होती है।
अरुण जिसके सर पर पागलपन सवाल था की कुछ भी ही जैसे उससे उसका अजीज दोस्त छीन लिया गया वैसे ही आलोक से उसकी अजीज चीज छीन लेंगे, जैसे की आलोक ज्यादा से ज्यादा पैसे कमाना चाहता था उसे ही अरुण ने अपने हाथो में लिया था।
ताजुब की बात ये थी की आलोक को कभी उसपर शक नहीं हूवा, एक एक करके उसने सारा पुराना स्टाफ बदल दिया, और अपने काम के लोगो को अपॉइंट किया था, ताकि वहा जो भी गतिविधि हो उसका पता आलोक को ना चल पाए।
इतना ही नही किसी आज्ञाकारी बच्चे की तरह उसने आलोक को कैसे आदर्श मानते है, ये भी जाता दिया, हालाकि मोहन से उसकी किसी बात मैं अनबन थी, वो उसके प्लान का हिस्सा नहीं था पर उनके साथ की अनबन उसके लिए प्लस प्वाइंट साबित हो गया था।
अब आपको भी ये बात जानने को आतुर होंगे ना आखिर कैसे मिला था आलोक को अरुण और जब भी वो जानता था की उसके पापा भी बिज़नेसमैन होने के साथ साथ एक कंपटीटर भी है, फिर भी क्यू अरुण को काम पर रखा था।
एक दिन किसी बिजनेस मीटिंग में आलोक गया था, वहा पर अरुण शर्मा जी का रिप्रेसेंटेटर बनकर आया था वो जिस तरह से बात कर रहा था अपने कंपनी को रिप्रेजेंट कर रहा था उसे सुनकर आलोक इंप्रेस हो गए थे। क्या उसका अपने काम में बेहतर होना यही एक वजह थी उसे काम पर रखने की, नही बल्कि उसके इस तरह से काम करने से उसके पापा का ही नुकसान हो रहा था, चाहता तो थोड़ी सी बेईमानी से अपने पापा का फायदा करा सकता था, पर उसने ऐसा नहीं किया, और उसके पापा भी बड़े खुद्दार थे अपने दम पर जीतते थे कोई भी बेईमानी उन्हे गवारा ना थी।
फिर इतना अच्छा होनहार लड़का फिर कैसे आलोक के ऑफिस में आया अपना ऑफिस छोड़कर, क्योंकि किसी कारण शर्माजी को अपना सारा बिजनेस समेटकर वहा से जाना पड़ा दूसरे देश, तो अरुण कोंखुद नौकरी की तलाश थी, अपने पापा के लिए वो काम नहीं करना चाहता था।
एक बार घर से काम पर आते समय आलोक के कार का एक्सीडेंट हो गया था, तो अरुण वही से गुजर रहा था, आलोक तो बेहोश हो गए, पर उससे पहले उन्होंने अरुण को देखा था अपनी मदद करते । जबकि वो भी अपने जरूरी काम से जा रहा था
उस दिन उसका जरूरी इंटरव्यू था, आलोक को हॉस्पिटल में के जाने के कारण वो नौकरी उसके हाथ से निकल चुकी थी, जब आलोक को इस बात का पता चला था उसने उसे अपने यहां पर काम पर रख दिया था।
तभी से अरुण बड़े ही ईमानदारी से काम कर रहा था, बहुत निचे से काम करते करते वो आज यहां तक पहुंचा था, आज सारा ऑफिस ही उसे हाथो के नीचे काम करता था। जब से अरुण आलोक के ऑफिस में आया था तभी से उनकी सिर्फ तरक्की ही हो रही थी।
आज उनके जाने कितने बिजनेस थे अरुण जी ज्यादातर बिज़नेस को संभल रहा था, और आलोक को उस पर पूरा एतबार था। क्या कीमत चुकानी पढ़ेगी अरुण पर की एतबार की आलोक को, और क्या आएशा आलोक को अरुण के जालसाजी से बचा पाएगी।
जैसे मैने पिछड़े एपिसोड में बताया था की अरुण के पापा को मोहन को हार्ट अटैक आया था, जिसका वजह अरुण था अब अरुण ने ऐसा क्या किया था की उसके पापा को हार्ट अटैक आया था, और उसी हार्ट अटैक के चलते क्या मोड़ लेगी बेचारी आएशा की जिंदगी। वही आएशा जिनकी अरुण के पापा मम्मी के साथ बड़े अच्छी बॉन्डिंग हो गई थी और अरुण को भी दोस्त जी मानती थी, क्या लगता है आपको आएशा के अतीत से कही ना कही अरुण भी जुड़ा होगा, या आएशा के जिंदगी में अरुण का होना महज एक इतफाक होगा।
आएशा इस रात चैन की नींद सोई जिस दिन जीवन ने उससे माफी मांगी थी, दूसरे दिन उनका मिलना तय था, पर क्या वो मिल पाएंगे या फिर कोई और बीच में आ जाएगा देखते है हम आगे क्या होता है हमारी कहानी में।
आकाश तब तक अपने सारे आम निपटाकर घर आया था, तो आएशा ने आकाश को सब कुछ बता दिया, आकाश भी अब उसके साथ जीवन से मिलने जाने के लिए तैयार हो गया , क्योंकि दूसरे दिन आकाश को काम ज्यादा ना था और उसे जरा देर से काम पर जाना था तो वो उसके साथ जाकर सब देख लेना चाहता था, फिर अपनी बहन जैसे आएशा को अकेले कैसे छोड़ दे, जिसे मिलने वो जा रही थी क्या वो यकीन के काबिल है या नहीं ये तो उसे ही देखना था।
आखिर उसकी भरोसे तो आएशा को आलोक ने यानी की आएशा के पापा ने यहां भेजा और अब तक वो उसका साथ निभा रहा था। खाना खाकर वो दोनो उस दिन जल्दी सो गए, आकाश का काम ही ऐसा था की वो चाहकर भी कितना भी परेशान हो अपनी परेशानी वो किसके नही कह सकता था।
पर आएशा को सच में नही समझ आ रहा था की आखिर जीवन कल उसे मिलकर कौन सी जरूरी बात करना चाहता है।आखिर क्या नया उसे समझानेवाला है जो वो अब तक नहीं जानती थी।
इधर रह रहकर मोहन जी की तबियत खराब हो रही थी, क्योंकि वे जान चुके थे की अरुण ना सिर्फ आलोक को धोखा दे रहा है बल्कि झूठ बोलकर उनकी सारी जायजद अपने नाम करवा ली थी, और इस बात का आलोक को कोई इल्म भी ना था, और उधर उसने आएशा पर नजर रखने के लिए भाड़े से गुंडे रखे थे, जो इस बात का ध्यान रखे की आएशा क्या कर रही है।
उसके साथ साथ इस बात का भी इंतमिनान करे की आएशा कभी इंडिया से लौटकर वापस ही ना आ पाए, ताकि उसको कभी आयशा के साथ शादी ना करनी पड़े और जो इंगेजमेंट भी की थी वो भी उसका एक नाटक था, आलोक का यकीन जितने के लिए।
वैसे शादी तो आएशा भी नहीं करना चाहती थी, इसी शर्त पर आयशा अरुण के साथ इंगेजमेंट करने के लिए तैयार हो गई थी, की इंगेजमेंट करने के बाद अरुण उसके अपने डैड को इंडिया जाने के लिए मनाएंगे, तभी तो जैसा कहा था वैसे ही अरुण के मनाने पर ही आएशा के डैड ने आएशा को इंडिया भेजा था।
जब ये बात अरुण के डैड को पता चली थी तब वो अरुण से काफी गुस्सा हो गए थे, आएशा को इतना चाहते जो थे, की अपने बेटे के इस बात से वो बहुत नाराज थे, एक हफ्ते से ज्यादा वक्त हो गया था की दोनो ने आपस में बात नहीं की थी।
आएशा के वजह से दोनो जितना पास आए थे उतना ही अरुण खुद ही अपने वजह से दूर गया था, निशा ने उसे पहले ही समझाने की कोशिश की थी पर अरुण तब भी नही माना था।
पर निशा ये नही जानती थी की अरुण ने आलोक की जयजाद अपने नाम की थी , उसको तो अरुण ने इतना ही बताया था की वो सिर्फ आएशा को आलोक से जुदा कर देगा, जब वो तड़पेगा, तब उसका बदला पूरा होगा।
पर ना तो निशा और ना तो मोहन जानता ताज की आखिर अरुण क्यू कर रहा है ये सब, उसकी मां निशा ने पूछा भी था पर उसने कुछ नहीं बताया था। पर निशा अब मोहन के अरुण के साथ बात ना करने से बहुत परेशान थी।
निशा बहुत कोशिश कर रही थी की अरुण अपना इरादा बदल दे, पर अरुण कहा ही माननेवाला था, आखिर उसने आलोक के उसपर यकीन ना करने की वजह से उसके दोस्त अब इस दुनिया में ही नही था।
बहुत कुछ वो अपने अंदर छिपाये हुवा था, जब भी वो आलोक को देखता था उसे ये सब याद आ जाता था।
आएशा से उसकी कोई दुश्मनी ना थी तब भी सिर्फ आलोक से बदला लेने के लिए आएशा का इस्तमाल कर रहा था।
क्या होगा जब ये सच आलोक और आएशा के सामने आएगा, जिस पर यकीन किया था क्या उस अरुण को आएशा कभी माफ कर पाएगी जो कुछ अरुण ने धोखा करके आलोक से छीन लिया है, कई आलोक वापस पाएगा या अपना सब कुछ खो देगा। मोहन क्या मना पाएगा अरुण को आएशा के साथ शादी करने के लिए, जानने के लिए पढ़ते रहिए मेरी कहानी।
" दो चेहरे प्यार या धोखा। "