1🚩अपने साथ और लोगो को भी जोड़ो।2🚩संगठन बढ़ाते चलो।3🚩गली मुहल्ले मे 10-12 लोगो का समुह बनवाओ।4🚩उन्हे प्रेरित करो कि वो अपने एरिए पर नजर रखे, लोगो को जगाए कट्टर हिन्दूबनाने के लिए5🚩खुदको शारीरिक और मानसिक रुप से मजबुत करने के लिए शाखा या अखाड़ा जरुर जाए।6🚩 चर्चा और मेल मिलाप के लिए छोटे छोटे स्तर प
वक्त - वक्त की बात हैवक्त क्या है !!! घडी, पल, दिनों का लेखा -जोखा हैवक्त !कभी सोने सा सुनहरा , तो कभी कोयले सा काला है वक्त,कभी अच्छा तो कभी बुरा है वक्त !कभी अर्श पर तो कभी फर्श पर लाता हैवक्त.!कभी खुशिया तो कभी गम मेंरुलाता है वक्त . वक्त क्या है !!! .........दोस्त है नसीबवालों क़ा, तो व
हाल ही में सर्वोच्चन्यायालय में कोहिनूर हीरे से संबंधित एक मामले में जवाब देते हुए भारत सरकार ने यहपक्ष रखा है कि कोहिनूर हीरा यूके सरकार से वापस नहीं माँगा जा सकता क्योंकि ऐसाकरने पर दूसरे देश भी भारत के संग्रालयों में पड़ी बहुमूल्य वस्तुओं पर दावा करसकते हैं(हालांकि चहुतर्फा आलोचना के पश्चात सरकार
"प्रायः बुज़ुर्ग हर बात पर विश्वास कर लेते हैं, प्रौढ़ हर बात पर शक़ करते हैं जबकि युवाओं को हर बात मालूम होती है !"-ऑस्कर वाइल्ड
रहने दो न दोहराओ वही बात पुरानी, अब लगती है मुझे झूठी परियों की कहानी हर पेट के जंगल में यहाँ भूख जले हैहोठों पे जहाँ प्यास है आँखों में है पानी हफ़्तों जहाँ चूल्हा नहीं जलता ये वो घर है आती नहीं बिस्तर पे जहाँ नींद सुहानी ज़िंदा हैं वही मौत स
विद्या मित्रं प्रवासेषु ,भार्या मित्रं गृहेषु च |व्याधितस्यौषधं मित्रं , धर्मो मित्रं मृतस्य च ||अर्थात् :ज्ञान यात्रा में ,पत्नी घर में, औषध रोगी का तथा धर्म मृतक का ( सबसे बड़ा ) मित्र होता है |
जन गण मन अधिनायक जय हे,(हे भारत के जन गण और मन के नायक (जिनके हम अधीन हैं))भारत-भाग्य-विधाता(आप भारत के भाग्य के विधाता हैं)पंजाब, सिंध, गुजरात, मराठा,(वह भारत जो पंजाब, सिंध , गुजरात, महाराष्ट्र)द्वाविड़, उत्कल, बंग(तमिलनाडु , उड़ीसा, और बंगाल जैसे प्रदेश से बना है)विन्ध्य, हिमाचल, यमुना-गंगा,(जहाँ
सेक्स (Sex) का कोई शाब्दिक तात्पर्य नहीं है, दूसरा हर कोई (Everybody) इसे करना चाहता है. सेक्स (Sex) का आशय (Aim) सिर्फ जननेद्रियों (Genitals) से पूर्णतः संबंधित (Related) नहीं है. सेक्स (Sex) का आशय (Aim) उस महत्वपूर्ण (Essential) उद्यम से है जिस पर ईमानदारी (Scrupulosity) से मूल्य लगाया जाय तो यह
सम्मोहन को अंग्रेजी में हिप्नोटिज्म कहते हैं। इस प्राचीन विद्या का एक ओर जहां दुरुपयोग हुआ और हो रहा है, वहीं इस विद्या के माध्यम से लोगों का भला भी किया जा रहा है। भला करने वालों का अपना स्वार्थ भी उसमें शामिल है। सम्मोहन के बारे में हर कोई जानना चाहता है, लेकिन सही जानकारी के अभाव में वह इसे समझ
दो छोटे लड़के घर से कुछ दूर खेल रहे थे। खेलने में वे इतने मस्त थे कि उन्हें पता ही नहीं चला कि वे भागते-भागते कब एक सुनसान जगह पहुँच गए। उस जगह एक पुराना कुंवा था , और उनमे से एक लड़का गलती से उस कुवें में जा गिरा। “बचाओ-बचाओ”, वो चीखने लगा। दूसरा लड़का एकदम से डर गया और मदद के लिए चिल्लाने लगा , पर उस
-हिन्दी भाषा 'इंडो यूरोपियन' परिवार से संबंध रखती है। - इस भाषा के उद्गम का महाद्वीप 'एशिया' व देश 'भारत' है। - भारत देश में हिन्दी भाषा को अधिकृत रुप से उपयोग किया जाता है। - 366,000,000 लोगों के लिए यह भाषा 'मातृभाषा' है वहीं इस भाषा को कुल 487,000,000 लोग उपयोग करते हैं। - हिन्दी की वर्णमाला में
प्लीज पोस्ट को जरूर पढ़ीयेगा चाहे लाईक करे ya ना करे-: ............................................................................ अपने देश में इतने अनैतिक और यौन अपराध क्यों हो रहे है?? ....जब किसी व्यक्ति से पूछा जाता है कि अपने बच्चे को क्या बनाओगे?? तो जवाब मिलता है-ः डॉक्टर,इंजिनियर,मैनेजर,पुल
एक बार सुकारात सुबह के समय दर्पण देख रहे थे ऐसा वह लगभग रोज करते थे ऐसा देखकर उनका एक शिश्य पीछे से मुसकरा रहा था कि सुकारात इतने बदसूरत है फिर भी दर्पण देख रहे है सुकारात ने उसे मुसकराते देखा तो पूँछा क्या बात है उसने कहा कुछ नही तब सुकारात ने कहा मै दर्पण इस लिए देखता हूँ कि और कितने अच्छे का
इस दुनिया मैँ दोलत कमाना बहुत आसान है लेकिन किसी के दिल में घर बनाना बहुत मुशकिल है मुझे जाय्दा तर्जुवा तो नही जिदगी का किन्तु अपनी उम्र के इन 19 वषों इतना तो समझ आया कि जितनी मोहब्बत अपनी मोहब्बत से की उसकी अगर आधी भी मोहब्बत मैँ अपने माँ बाप से करता तो शायद मुझे जन्नत नसीन होती पर अब शायद उन लावा
! एक लङकी थी रात को आँफिस से वापस लोट रही थी तो देर भी हो गई थी पहली बार ऐसा हुआ ओर काम भी ज्यादा था तो टाइम का पता ही नही चला वो सीधे बस स्टेशन पहुँची वहाँ एक लङका खङा था वो लङकी उसे देखकर डर गई की कही उल्टा सीधा ना हो जाए तभी वो लङका पास आया ओर कहा बहन तू मौका नही जिम्मेदारी हे मेरी ओर जब तक तुझ
ये सच है कि कलाकार स्वतंत्रता की ज़मीन परही काम करता है उसके विचारों कि स्वतंत्रता ही उसकी वोजादुई तूलिका होती है जिसके माध्यम से वो अनेकानेक रचनाओं में रंग भरता है. कलाकार स्वतंत्र नहीं होगा तोकिसी भी नयी रचना की सम्भावना भी नहीं रहेगी. विचारों कि जितनी स्वतंत्रता होती है, कल्पना कि उड़ान भी उतनी ही
सफलता के 20 मँत्र " 1.खुद की कमाई से कम खर्च हो ऐसी जिन्दगी बनाओ..! 2. दिन मेँ कम से कम 3 लोगो की प्रशंसा करो..! खुद की भुल स्वीकारने मेँ कभी भी संकोच मत करो..! 4. किसी के सपनो पर हँसो मत..! 5. आपके पीछे खडे व्यक्ति को भी कभी कभी आगे जाने का मौका दो..! 6. रोज हो सके तो सुरज को उगता हुए देखे..! 7. ख
१४ फरवरी अधिकांशतया वसंत ऋतू के आरम्भ का समय है .वसंत वह ऋतू जब प्रकृति नव स्वरुप ग्रहण करती है ,पेड़ पौधों पर नव कोपल विकसित होती हैं ,विद्या की देवी माँ सरस्वती का जन्मदिन भी धरती वासी वसंत पंचमी को ही मनाते हैं .इस दिन विद्यार्थियों के लिए विद्या प्राप्ति के क्षेत्र में पदार्पण शुभ माना जाता है.य