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शायरी

hindi articles, stories and books related to shayari


उसका मासूम चेहरा देख जिसको उसका हर दर्द कम हो जाताआंखे कहती मुझसे मासूम कोई नही कर शरारत चुपके से वो छिप जाताउसके रहते ना कोई उसको कोई छू पाता घर से जाने पर जब तक वो वापस ना आ जाए वो वहीदरवाजे पर पहरे

कितनी प्यारी सी मुस्कान वाली में लाडली है लियाना घर में घुसते ही अपना जो प्यार ये दिखती लाड ही अलग ये करजाती जैसे जन्मों का रिश्ता हो कोई इस से मिल के अपना प्यार जताती जिसके लिए शब्द ही काम है इतनी प्

अफसानाअफसाना बनाकर मेरे ख्यालो कावो हर रात महफ़िल सजाते रहे    दोस्तो के बीच  ऊँचाई दिखाने के लिये    हमारे ख्यालों को गिराते रहें ।कहते हर जज्बात थे उनसे हमजिनका वो अफसाना बना

रिश्ते पक्के हुआ करते थे कच्चे आशियानों में! अब ये टूट जाते हैं संगमरमर लगे मकानों में! दौलत तो यहाँ से वहाँ एक रोज उड़ जाएगी उड़ती है  रेत जैसे  भयंकर  तूफानों में! ये चमकते बदन राख के ढेर से ज्याद

मरुस्थल सी तपती कोई वीरान धरा हूँ मैं!     कभी रफ़्ता रफ़्ता चलती शरद हवा हूँ मैं! कल्पनाओं की तरह बनता बिगड़ता हूँ ऱोज             अब तुम्हें क्या बताऊँ की क्या हूँ मैं! तुमने तो सोचा था कि अधूरा ही रह

इस खत के जरिये तुम्हें एक फरमान कहते है हाँ हम प्यार इश्क़ को बेईमान कहते है यु तो कोई हमारी जान न ले सका और जो जान ले गया उसी को हम जान कहते है जिंदगी अपनी खुली किताब कर दी थी खता ये हुई कि मुहब्बत

जिंदगी में किताब ही तो होता है।📚सबसे खूबसूरत तोहफा, 📚जिसे हम हमेशा सहेज कर रखते हैं।📚 बार बार पढ़ने के लिए।📚📚📚पुस्तक दिवस की हार्दिक शुभकामनायें 📚📚

जीवन में रंग भी भरे कुछ अजनबी से कुछ अनदेखे सेहोती कहा पहचान छू जाने सेजब रूह ही रूह को जानती हो सफर आसान न था हर कदमनया तूफान से भरा थाना कोई कस्ती न कोई साहिल ही खड़ा था फिर किसन

ये बैचनी ये तलब ये आशिकी कभी उतर न सकेगा मेरे सर से इसलिए मैं वादा करता हूं मैं तुम्हें भूल जाऊंगा ये दोस्ती ये मोहब्बत ये प्यार सब छलावा है एक उमर से मैं वादा करता हु   मैं तुमसे जुदा हो जाऊ

माना कि खूबसूरत होता है गुलाब चमन में यारों.बहार - ए - गुलशन में वही खुदा तो नहीं होता!बहुत देखा है, ज़माने के सितारों का कमाल !सुबह होते ही जिनका कोई वजूद ना रहा।

मेरा यार बदला हे टूटकर उसने मेरा प्यार भुला दिया हैउसकी खुशियों में से उसकी मासूमियत ख़ोज लाया हूं,,,,उसने मुझे दिल से निकाल दिया मेरे दिल से उसे कौन निकाले,,उसकी खुशियों की उसे बधाई देने में उसके लिए

कितना सुंदर दिख रहा है आकाश,कहीं लाल है तो कहीं पीला....कहीं पर काला उजला,कहीं पर मटमेला नीला.... अपने अंदर समाये चांद की चांदनी को,सूर्य के ताप और गर्मी को....अनंत ऊंचाइयों को,बादलों की नरमी को.

मैं हूं एक पवन का झोंका,अपनी मस्ती की धुन में खोया...मुसाफिर हूं मैं मस्त मौला,घूमता रहता हूं डाल डाल पर...फूलों की पत्तियों को छु कर,गली मोहल्लों में द्वार-द्वार...धूल,तिनके,उष्मा,आर्द्रता,शीतलता,समा

ये ख़्वाहिशों के क़ाफ़िले भी कमाल होते हैं,,

           

कब तक पिए मधु ए लब ए साकिए हयात
घबराए है दिल तेरी दरियादिली देख क

उसने रखके मेरे दिल पर हाथ 
पूछा क्या है तेरे अरमान 
मैने भी कह दि

हर बार थकन को रूह से बाहर निकलना पड़ता हैं,
खुद को खुद से ही संभलना पड़ता हैं।
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कच्चे रास्ते थोड़ी बूंदों से बिगड़ जाते हैं।

घने बादल पवन आने से बिखर जाते हैं।

दिल

अजीब लोग है इन पर तो रहम आता है ।जो कांटे बो कर जमीन से गुलाब मा

ना छेड़ो संगीत की तान,
ए मदमस्त हवाओं,
जो बैठा है दिल में मेरे,
कह

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