shabd-logo

विषय- आप कैसे वचन सुनते हो ! पार्ट -5.

26 अगस्त 2023

14 बार देखा गया 14

मित्रों पिछले भागों में हमने देखा कि कैसे खुदा का वचन सुनने से और खुदा के खादिमों का आदर करने से और वह जो वचन सुनाते हैं उनको ध्यान से सुनने से परमेश्वर कैसे हमें आशीषित करता है यह हम कई उदाहरणों में देख चुके हैं!

आज हम राजा दाऊद के विषय में देखेंगे जो परमेश्वर के साथ ईमानदार था वफादार था और वह हमेशा जब भी कोई काम करता था  तो परमेश्वर के वचन को सुनकर करता था जब तक परमेश्वर उसे कोई बात ना बताएं वह कोई काम नहीं करता था इसीलिए दाऊद अपने पूरे जीवन भर आशीषित  रहा है  बीच में उससे गलतियां हुई लेकिन उस गलतियों मे भी उसने अपनी गलतियों को माना पश्चाताप किया और परमेश्वर ने उसे फिर से धर्मी ठहराया और आशीषित किया!

(2 शमूएल 12:1-15)

मित्रों परमेश्वर दाऊद से प्रीति रखता था और दाऊद भी परमेश्वर से प्रीति रखता था इसलिए परमेश्वर अपने भक्तजन पर हमेशा नजर बनाकर रखता है और जो परमेश्वर से ज्यादा प्रेम करता है शैतान भी उसके जीवन में उतना ही पीछे पड़ जाता है और इसीलिए जब शैतान ने दाऊद के द्वारा व्यभिचार करवाया तो दाऊद पाप में गिर गया और क्योंकि वह राजा था इसलिए उसे अपने पाप का बोध नहीं था लेकिन परमेश्वर की नजर दाऊद के ऊपर थी क्योंकि परमेश्वर उससे प्रेम करता था और इसलिए परमेश्वर नहीं चाहता था कि दाऊद शैतान के जाल में फंस जाए और सदा के लिए नरक में जाए इसलिए परमेश्वर अपने लोगों की सुधि लेता है इसलिए परमेश्वर ने अपने नबी नातान को दाऊद के पास भेजा जाकर उसे स्मरण दिला कि उसने आधर्म का काम किया है!

मित्रों नातान नबी एक साधारण व्यक्ति था कोई धनवान नहीं और वह खुदा का भक्त था इसलिए दाऊद उसका आदर करता था जबकि दाऊद एक राजा था और राजा को उसके पाप के विषय में कहना किसी के बस की बात नहीं थी लेकिन यहां नातान नबी जो परमेश्वर का भक्त है उसके अंदर किसी व्यक्ति विशेष का डर और भय नहीं है  डर और भय  अगर है तो केवल परमेश्वर का इसलिए परमेश्वर ने जो उसे खरी बात बताई दाऊद को कहने के लिए वाह खरी बात उसने दाऊद के भवन में भरे दरबार में जाकर दाऊद को कह सुनाई और दाऊद का मन देखिए कि दाऊद को परमेश्वर के नबी का भय था और यही बात परमेश्वर को आज भी अच्छी लगती है जो भी कलीसिया के लोग परमेश्वर के भय में और अपने पास बानो के साथ ईमानदार रहते हैं उनके भय में चलते हैं उनका आदर करते हैं परमेश्वर उनका आदर करता है और इसीलिए जब नबी ने दाऊद को उसके व्याभिचार के बारे में स्मरण दिलाया तो तुरंत उस ने भरी सभा में अपने पाप को मान लिया और पश्चाताप करने लगा और यही बात परमेश्वर को भली लगी और परमेश्वर ने उसे दोबारा फिर से उठाकर राजगद्दी पर बैठाया!

(नीतिवचन 28:13)

जो अपने अपराध छिपा रखता है, उसका कार्य सफल नहीं होता, परन्तु जो उन को मान लेता और छोड़ भी देता है, उस पर दया की जाये!

दाऊद राजा को परमेश्वर के नबी का भय था इसलिए उसने उसकी बात को ध्यान से  सुना अगर वह अपने राजा होने पर घमंड करता और उसके वचन को ध्यान से ना सुनता तो वचन कहता है कि जो अपने अपराध छुपा रखता है वह कभी सफल नहीं हो पाता परंतु जो उसे मान लेता है और छोड़ देता है उस पर दया की जाती है और दाऊद ने वचन को सुना और माना और यही वचन उसके छुटकारे का कारण बन गया और वह सफल हो गया !

लेकिन आज कितने ही हमारे भाई बहन हैं जो प्रतिदिन अपराध कर रहे हैं और मसीह का गुणगान भी कर रहे हैं लेकिन अपने अपराधों को न मानते हैं ना छोड़ते हैं और मैं और घमंड में रहते हैं कि मैं बड़ा यह तुम बड़े हम इसी में आज जीते हैं!

भूल जाते हैं कि मसीह हमारा सिर है और हम मसीह की देह हैं और देह के सारे अंग एक समान होते हैं कार्य उनका भले ही अलग-अलग हो और यदि अंग ही आपस में लड़ने लगे तो सिर कहां रहा!

आज कोई किसी के सुनना नहीं चाहता और इसीलिए हमारे जीवन में आज आशीषे  कम और श्राप ज्यादा आ रहे हैं क्योंकि हम अपने पुरानियों की सुनना नहीं चाहते!

एक्टर क्या कह रहा है क्रिकेटर क्या कह रहा है इंस्टाग्राम क्या कह रहा है टेलीग्राम क्या कह रहा है हीरोइन क्या कह रही है इनमें ज्यादा ध्यान देते हैं और ज्यादा ध्यान से सुनते हैं इसीलिए हमारा जीवन बर्बाद हो रहा है यदि हम खुदा के खादिमों के वचन को ध्यान से सुने खुदा के आवाज को ध्यान से सुने तो आज हम और हमारा घराना उद्धार पा जाए!

प्रभु आप सबको आशीष दे!

50
रचनाएँ
आखिर हमारी प्रार्थना अनसुनी क्यों है?
0.0
जी हां मित्रों आज यह बहुत बड़ा सवाल है कि आखिर हमारी प्रार्थना अनसुनी क्यों है जबकि परमेश्वर ने हमें चुना है हमने विश्वास किया है प्रभु को ग्रहण किया है और प्रभु से उसके बदले बहुत से दान वरदानों को प्राप्त भी किया है जैसा की वचन में लिखा है! (लूका 10:19) मैंने तुम्हें सांपों और बिच्छुओं को रोदंने का अधिकार दिया है और किसी वस्तु से तुम्हें कोई हानि न होगी! (यूहन्ना 1:12-13) जितनो ने उसे ग्रहण किया उसने उन्हें परमेश्वर की संतान होने का अधिकार दिया अर्थात उन्हें जो उसके नाम पर विश्वास रखते हैं वे ना तो लहू से ना शरीर की इच्छा सेना मनुष्य की इच्छा से परंतु परमेश्वर से उत्पन्न हुए हैं!
1

विषय -आखिर हमारी प्रार्थना अनसुनी क्यों है?

24 अगस्त 2023
3
0
0

जी हां मित्रों आज यह बहुत बड़ा सवाल है कि आखिर हमारी प्रार्थना अनसुनी क्यों है जबकि परमेश्वर ने हमें चुना है हमने विश्वास किया है प्रभु को ग्रहण किया है और प्रभु से उसके बदले बहुत से दान वरदानों को प्

2

विषय -आखिर हमारी प्रार्थना अनसुनी क्यों है? पार्ट --2

24 अगस्त 2023
1
0
0

जी हां मित्रों आज यह बहुत बड़ा सवाल है कि आखिर हमारी प्रार्थना अनसुनी क्यों है जबकि परमेश्वर ने हमें चुना है हमने विश्वास किया है प्रभु को ग्रहण किया है और प्रभु से उसके बदले बहुत से दान वरदानों को प्

3

अध्याय २ "*विषय - प्रभु भोज .***

24 अगस्त 2023
1
0
0

जी हां मित्रों प्रभु भोज भी एक बड़ा गंभीर विषय है जिसको आज बड़े हल्के में लोग लेते हैं और बड़े हल्के में लोग प्रभु भोज को ले भी रहे हैं लेकिन उसकी गंभीरता को उसकी चेतावनी को नहीं जानते कि प्रभु

4

* विषय - प्रभु भोज पार्ट- 2 "**

24 अगस्त 2023
2
0
0

मित्रों पिछले भाग में मैंने आपको बताया कि प्रभु भोज हमें कभी भी अनुचित रीति से नहीं लेना चाहिए प्रभु भोज कोई हलवा नहीं कि आप जब चाहे खा लो लेकिन प्रभु एक मिठाई और दवाई है तो एक मीठा जहर भी है जिसे ख

5

**विषय -प्रभु भोज पार्ट--- 3.#**

24 अगस्त 2023
1
0
0

पिछले दो भागों में मैंने आपको प्रभु भोज की गंभीरता के बारे में बताया कि कैसे हमको प्रभु भोज लेना चाहिए और किन लोगों को लेना चाहिए यह बहुत जरूरी बात है । प्रभु भोज हर एक व्यक्ति के लिए नहीं है परंतु उ

6

विषय -एक विश्वासी के जीवन की कहानी! पार्ट- 2

25 अगस्त 2023
1
1
0

मित्रों कल मैं आपको मसीह जीवन के बारे में बताया की कैसे हमको एक मसीह जीवन को नए जीवन को इस दुनिया में बिताना है और स्वर्ग जाने के कुछ परमेश्वर की आज्ञा और नियम बताएं और नए जन्म के बारे में बताया!म

7

विषय. 1 -एक विश्वासी के जीवन की कहानी!

25 अगस्त 2023
2
0
0

एक मसीह जीवन मतलब एक नया जीवन जो हमें इस दुनिया से परे एक नई दुनिया में ले जाने वाला है जिसमें हम बगैर नया जन्म लिए नहीं जा सकते हैं और एक मसीह जीवन की कहानी है जो एक फिल्म की तरह उत्पत्ति से शुरू होत

8

विषय- आप कैसे वचन सुनते हो ! Part1.

25 अगस्त 2023
1
0
0

जी हां मित्रों आज आप परमेश्वर का वचन कैसे सुनते हो क्योंकि आज वचन का सुनना हमारे मन के मुताबिक होता है यदि हमारे मन का वचन है तो हम सुनते हैं और नहीं है तो हम उसको हल्के में लेते हैं जब चर्च में कलीसि

9

विषय- आप कैसे वचन सुनते हो ! पार्ट 2..

25 अगस्त 2023
1
0
0

(प्रेरितो के काम 16:11-13)(प्रेरितो के काम 16:11-13) जी हां मित्रों पिछले भाग में मैंने आपको बताया जो लोग परमेश्वर का वचन ध्यान से सुनते हैं और संगति रखते हैं और परमेश्वर के सेवको का आदर करते हैं

10

विषय- आप कैसे वचन सुनते हो .part 3

26 अगस्त 2023
1
0
0

(प्रेरितो के काम 16:11-13) मित्रों कल मैंने आपको बताया कि हमें खुदा के खादिमों का आदर करना चाहिए क्योंकि खुदा के खादिम परमेश्वर की ओर से चुने हुए उसके सेवक होते हैं और जो कुछ वाह सिखाएं हमें बड़े ध्य

11

विषय- आप कैसे वचन सुनते हो ! पार्ट -4

26 अगस्त 2023
1
0
0

(प्रेरितो के काम 16:11-13) मित्रों कल मैंने आपको बताया कि हमें खुदा के खादिमों का आदर करना चाहिए क्योंकि खुदा के खादिम परमेश्वर की ओर से चुने हुए उसके सेवक होते हैं और जो कुछ वाह सिखाएं हमें बड़े

12

13.प्रार्थना में बड़ी शक्ति होती है .।।

27 अगस्त 2023
1
0
0

डॉ. सुश्रुत जो की एक बहुत ही प्रसिद्ध  प्लास्टिक सर्जरी और मोतियाबिंद स्पेशलिस्ट सर्जन थे , उन्हें एक बार किसी समारोह में भाग लेने के लिए किसी दूर शहर जाना था . उस समारोह में उन्हें उनकी नई मेडिकल

13

विषय- आप कैसे वचन सुनते हो ! पार्ट -5.

26 अगस्त 2023
1
0
0

मित्रों पिछले भागों में हमने देखा कि कैसे खुदा का वचन सुनने से और खुदा के खादिमों का आदर करने से और वह जो वचन सुनाते हैं उनको ध्यान से सुनने से परमेश्वर कैसे हमें आशीषित करता है यह हम कई उदाहरणों में

14

14.विषय-आत्मिक युद्ध .

29 अगस्त 2023
0
0
0

-प्रभु और उसकी शक्ति के प्रभाव में बलवंत बनो ! -प्रभु और उसकी शक्ति के प्रभाव में बलवंत बनो !-परमेश्वर के सारे हथियार बांध लो कि तुम शैतान की युक्तियों के सामने खड़े रह सको!की युक्तियों के सामने खड़े

15

विषय-आत्मिक युद्ध पार्ट... 2.

29 अगस्त 2023
1
0
0

16

विषय-आत्मिक युद्ध पार्ट...3.

29 अगस्त 2023
1
0
0

(इफिसियों 6:10-17) (प्रकाशितवाक्य 21:7 -8)  जो जय पाए वही इन वस्तुओं का वारिश होगा ! स्वर्ग और उसकी वस्तुओं के वारिस हम तभी होंगे जब हम एक जैवंत जीवन जीकर परमेश्वर के राज्य में प्रवेश करेंगे!

17

.विषय- क्या आप जल और आत्मा से जन्मे है.

30 अगस्त 2023
1
0
0

मित्रों जब हम हवा की बात करते हैं तो हमारा पूरा का पूरा भूमंडल बहुत सी गैसों और हवा के आवरण से घिरा हुआ है जिसमें लगातार ऑक्सीजन कम होती जा रही है जिसकी वजह है प्रकृति से छेड़छाड़ आज मनुष्य जाति अपने

18

विषय- अच्छी औषधि .*

30 अगस्त 2023
1
0
0

अच्छी औषधि मतलब दवाई जो आपको चंगाई देती है बीमारी से परंतु एक औषधि और है जो आपको संपूर्ण मन में छुटकारा देती है संपूर्ण प्राण में छुटकारा देती है संपूर्ण आनंद देती है और वाह औषधि है परमेश्वर का वचन!

19

20.विषय- जो मुझे हे प्रभु हे प्रभु कहते हैं.

30 अगस्त 2023
0
0
0

जब तुम मेरा कहना नहीं मानते तो क्यों मुझे हे प्रभु हे प्रभु कहते हो! जब तुम मेरा कहना नहीं मानते तो क्यों मुझे हे प्रभु हे प्रभु कहते हो!जब तुम मेरा कहना नहीं मानते तो क्यों मुझे हे प्रभु हे प्रभु

20

विषय- जो मुझे हे प्रभु हे प्रभु कहते हैं .

30 अगस्त 2023
0
0
0

जब तुम मेरा कहना नहीं मानते तो क्यों मुझे हे प्रभु हे प्रभु कहते हो! जब तुम मेरा कहना नहीं मानते तो क्यों मुझे हे प्रभु हे प्रभु कहते हो!जब तुम मेरा कहना नहीं मानते तो क्यों मुझे हे प्रभु हे प्रभु

21

21.विषय- जो मुझे हे प्रभु हे प्रभु कहते हैं .

30 अगस्त 2023
0
0
0

जब तुम मेरा कहना नहीं मानते तो क्यों मुझे हे प्रभु हे प्रभु कहते हो! जब तुम मेरा कहना नहीं मानते तो क्यों मुझे हे प्रभु हे प्रभु कहते हो!जब तुम मेरा कहना नहीं मानते तो क्यों मुझे हे प्रभु हे प्रभु

22

विषय- जो मुझे हे प्रभु हे प्रभु कहते हैं. part 2.

30 अगस्त 2023
1
0
0

जब तुम मेरा कहना नहीं मानते तो क्यों मुझे हे प्रभु हे प्रभु कहते हो! जब तुम मेरा कहना नहीं मानते तो क्यों मुझे हे प्रभु हे प्रभु कहते हो!जब तुम मेरा कहना नहीं मानते तो क्यों मुझे हे प्रभु हे प्रभु

23

विषय- कपड़े गंदे क्यों .*

30 अगस्त 2023
0
0
0

 परमेश्वर कहता है और हम आपस में बातचीत करें  वह आपको बुला रहा है पर हम कहते हैं कि हमारे पास समय नहीं है डॉक्टर के पास बिमार को समय निकालकर जाना पड़ता है तभी इलाज होता है हमको भी परमेश्वर के प

24

विषय- तिनका और लढ्ढा .*

30 अगस्त 2023
1
0
0

(मत्ती 7:1-5) भैंस ने गाय से कहा तेरी पूंछ काली है परंतु गाय ने कहा तू पूरी काली है इंसान की बहुत बड़ी आदत बन चुकी है कि दूसरे की कमी निकालना जबकि उसको अपनी कमी कभी नहीं दिखती और पूरे संसार म

25

विषय- सबसे बड़ी समस्या .

30 अगस्त 2023
1
0
0

एक भाई ने मुझसे कहा मेरी पांच समस्या इस साल में हल होना चाहिए इसके लिए प्रार्थना करो मैंने कहा मैं जरूर प्रार्थना करूंगा और आपकी यह 5 समस्या हल भी हो जाएंगे वाह भाई बहुत खुश हो गया उसके बाद मैंने

26

विषय- सुखी परिवार.*

30 अगस्त 2023
0
0
0

मुझसे अलग होकर तुम कुछ भी नहीं कर सकते ! मुझसे अलग होकर तुम कुछ भी नहीं कर सकते !मुझसे अलग होकर तुम कुछ भी नहीं कर सकते ! (यूहन्ना 15:5)  जी हां मित्रो एक परिवार तभी सुखी रह सकता है जब वह परमेश

27

विषय- उजियाला बुझ ना जाए.*

30 अगस्त 2023
0
0
0

यीशु ने कहा दिया जलाकर पैमाने के नीचे मत रखो पैमाने का अर्थ माप तोल कर बर्तन जिससे हम लेनदेन करते हैं मसीह जीवन में अगर आप ज्योति में रहना चाहते तो आज ही आप लेन-देन में पवित्र बने वरन आपका दिया बुझ

28

विषय- मन में मूरत .*

30 अगस्त 2023
0
0
0

जी हां मित्रों मूरत वाह नहीं जो मिट्टी की बनी है लेकिन मूरत वाह है जो आपके मन में बसी है मिट्टी की मूरत तो तो हम तोड़ सकते हैं हटा सकते हैं पर मन की मूरत को तोड़ना और हटाना इतना आसान नहीं क्

29

विषय- धोखा *. मैं धर्मी हूं .

30 अगस्त 2023
0
0
0

यदि कोई अपने आप को भक्त समझे और अपनी जीभ पर लगाम ना दे पर अपने हृदय को धोखा दे तो उसकी भक्ति व्यर्थ है! (याकूब 1:26) जी हां मित्रों आज ज्यादातर  विश्वासियों  में यह सबसे बड़ा धोखा है कि मैं धर्म

30

विषय -पहले आप .

3 सितम्बर 2023
0
0
0

हमारे हिंदुस्तान की रीति है पहले आप से शुरूआत की जाती है किसी भी काम को जो हम करते हैं तो पहले आप के द्वारा संबोधन से करते हैं और यह बहुत अच्छी बात है क्योंकि यह शब्द हमारी ओर से नहीं परंतु परमेश्वर

31

विषय- धोखा मुझ में पाप नहीं.

9 सितम्बर 2023
1
1
1

हे प्रिय भाइयों धोखा ना खाओ!       (याकूब 1:16) एक व्यक्ति पेढें बेचा करता था रोज दोपहर से शाम तक चिल्लाता मथुरा के पेढें ले लो मथुरा के पेढें ले लो एक व्यक्ति ने उससे पूछा अरे भैया आप सुबह शाम

32

विषय- छोटी लोमड़ियां 1.

9 सितम्बर 2023
0
0
0

जो छोटी लोमड़िया दाख की बारीयों को बिगाड़ती है उन्हें पकड़ ले! ( श्रेष्ठ गीत 2:15) मित्रों लोमड़ी पाप को बताती हैं छोटी लोमड़ी का मतलब है छोटे पाप आज हमने बड़े-बड़े पाप पकड़ लिए हैं जैसे शराब, सि

33

विषय- चमत्कार के बाद आपका जीवन .

9 सितम्बर 2023
0
0
0

वह उन नगरों को उलाहना देने लगा जिनमें उसने बहुतेरे समर्थ के काम किए थे क्योंकि उन्होंने अपना मन नहीं फिराया था ! (मत्ती 11:20) यीशु जब इस दुनिया में था बड़े बड़े चमत्कार किए मुर्दों को भी जिला

34

विषय- विश्वास या कर्म *

9 सितम्बर 2023
0
0
0

तू अपना विश्वास मुझे कर्म  बिना तो दिखा और मैं अपना विश्वास कर्म के द्वारा तुझे दिखाऊंगा!तू अपना विश्वास मुझे कर्म  बिना तो दिखा और मैं अपना विश्वास कर्म के द्वारा तुझे दिखाऊंगा! (याकूब 2:18) आज ए

35

विषय- क्या आप बांझपन के शिकार हैं *

9 सितम्बर 2023
0
0
0

जी हां मित्रों बांझपन  एक ऐसा शब्द है जिसका मतलब है पुर्नवर्ती ना होना यह किसी चीज का निर्माण ना कर पाना बांझपन  दो प्रकार का होता है एक शारीरिक और एक आत्मिक शारीरिक बांझपन को ज्यादातर स्त्रियों के

36

विषय- गंभीर बात बाद में *

9 सितम्बर 2023
0
0
0

एक राजा था उसके दोस्त को पता चला कि कोई उसका खून करने वाला है उसने उसको पत्र लिखा कि तो कोई तुझे जान से मारने  आने वाला है इसलिए सावधान रहें और अपनी जान बचा इस खत को लेकर एक आदमी राजा के पास आया खत के

37

विषय -पहले आप .

12 सितम्बर 2023
0
0
0

हमारे हिंदुस्तान की रीति है पहले आप से शुरूआत की जाती है किसी भी काम को जो हम करते हैं तो पहले आप के द्वारा संबोधन से करते हैं और यह बहुत अच्छी बात है क्योंकि यह शब्द हमारी ओर से नहीं परंतु परमेश्वर

38

विषय - सेवकाई सीजन 2.2

12 सितम्बर 2023
0
0
0

एक बहुत महत्वपूर्ण विषय है क्योंकि आज हर एक विश्वासी प्रभु की सेवा करना चाहता है परंतु वह अच्छा सेवक नहीं बनना चाहता आज लोग पास्टर तो बनना चाहते हैं लेकिन सेवक नहीं बनना चाहते और एक अच्छा सेवक ही अच

39

विषय- सेवकाई 2.2.*2

12 सितम्बर 2023
0
0
0

मित्रों एक बड़ी और समर्थी प्रभु की मिनिस्ट्री करने के लिए हमें सबसे पहले एक अच्छा चेला बनने की जरूरत है जिसके अंदर ईमानदारी पवित्रता अनुशासन और आज्ञाकारिता हो क्योंकि आप पूरी बाइबल में उठा कर देख लो

40

विषय- सेवकाई 2.2*3

12 सितम्बर 2023
0
0
0

पिछले  भागों में मैंने आपको बताया कि कैसे परमेश्वर सेवकाई के लिए लोगों को चुनता है और इस्तेमाल करता है और कैसे लोग खुद अपने मन से परमेश्वर की सेवा को चुनते हैं और अपने जीवन को बर्बाद करते हैं! पिछले

41

क्या हम आजाद हैं.??

12 सितम्बर 2023
0
0
0

आज हम 76 वां स्वतंत्रता दिवस मना रहे हैं आजादी का जश्न मना रहे हैं लेकिन क्या हम सचमुच आज हम आजाद हैं आजादी तीनं प्रकार की होती है  भौतिक शारीरिक और मानसिक हम भौतिक रूप से शारीरिक रूप से इस दुनिया म

42

विषय- सेवकाई 2.2.4

13 सितम्बर 2023
0
0
0

मित्रों पिछले भाग में मैंने आपको बताया यीशु मसीह जो परमेश्वर का एकलौता पुत्र था पुत्र होने के बावजूद भी वह स्वर्ग में एक सेवक की तरह रहता था और राजा बनने से पहले यीशु मसीह एक सेवक के रूप में परमेश्वर

43

विषय- कपटी (मक्कार)

13 सितम्बर 2023
0
0
0

 हे कपटी शास्त्री और फरीसियों तुम पर हाय तुम एक जन को अपने मत में लाने के लिए सारे जल और थल में फिरते हो और जब वह मत में आ जाता है तो उसे अपने से दूर ना नारकिय बना देते हो!  हे कपटी शास्त्री और फरी

44

विषय- मसीह में हमारा आत्मिक जीवन व चाल चलन*.

13 सितम्बर 2023
1
0
0

इस संसार की तरह ना बनो परंतु तुम्हारे मन के नए हो जाने से तुम्हारा चाल चलन बदलता जाए जिससे तुम परमेश्वर के भली और भारतीय स्थित इच्छा को मालूम करते रहो ! इस संसार की तरह ना बनो परंतु तुम्हारे मन के

45

विषय- मसीह में हमारा आत्मिक चाल चलन 2.

13 सितम्बर 2023
0
0
0

इस संसार की तरह ना बनो परंतु तुम्हारे मन के नए हो जाने से तुम्हारा चाल चलन बदलता जाए जिससे तुम परमेश्वर के भली और भारतीय स्थित इच्छा को मालूम करते रहो ! (रोमियो 12:2) जी हां मित्रों यीशु मसीह ने

46

विषय- मसीह में हमारा आत्मिक चाल चलन .3.

13 सितम्बर 2023
0
0
0

इस संसार की तरह ना बनो परंतु तुम्हारे मन के नए हो जाने से तुम्हारा चाल चलन बदलता जाए जिससे तुम परमेश्वर के भली और भली और भवती इच्छा को मालूम करते रहो ! (रोमियो 12:2) जी हां मित्रों यीशु मसीह न

47

विषय- मसीह में हमारा आत्मिक चाल चलन .4

13 सितम्बर 2023
0
0
0

इस संसार की तरह ना बनो परंतु तुम्हारे मन के नए हो जाने से तुम्हारा चाल चलन बदलता जाए जिससे तुम परमेश्वर के भली और भवती इच्छा को मालूम करते रहो ! (रोमियो 12:2) (इफिसियों 5:9-13) मित्रों अब हम जब

48

विषय- मसीह में हमारा आत्मिक चाल चलन 5 *

13 सितम्बर 2023
1
0
0

इस संसार की तरह ना बनो परंतु तुम्हारे मन के नए हो जाने से तुम्हारा चाल चलन बदलता जाए जिससे तुम परमेश्वर के भली और भवती इच्छा को मालूम करते रहो ! इस संसार की तरह ना बनो परंतु तुम्हारे मन के नए हो जा

49

विषय- सेवकाई 2.2.5

16 सितम्बर 2023
0
0
0

मित्रों सेवकाई के लिए जो सबसे महत्वपूर्ण चीज होती है वह होती है अभिषेक और पवित्र आत्मा की सामर्थ जो हमें खुदा के अभिषिक्त खादिमों की संगति करने से मिलता है उनकी सेवा टहल करने से मिलता है! मित्रों स

50

विषय- न्याय के दिन आपका प्रतिफल क्या होगा?

19 सितम्बर 2023
0
0
0

मित्रों प्रत्येक जन चाहे वह विश्वासी हो या अविश्वासी जब भी वह कोई काम करता है तो उस काम के बदले प्रतिफल की इच्छा रखता है कि हम जो कर रहे हैं उसका फल हमको क्या मिलेगा इसी तरह हर एक विश्वासी व्यक्ति ज

---

किताब पढ़िए

लेख पढ़िए