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बेचारी (भाग २३)

19 अक्टूबर 2023

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अभी तक आपने पढ़ा -ऋचा और उसके पापा ,''नितिका''की आत्मा से बचने के लिए ,एक पंडित जी को अपने संग लाते हैं। पंडित जी ,पहले उन बुजुर्ग आत्माओं का निवारण करना चाहते हैं और उनकी आत्माओं को बुलाते भी हैं किन्तु नितिका आकर सम्पूर्ण योजना पर पानी फेर देती है। तब पंडित जी उस घर की कुछ विशेष जगहों को अभिमंत्रित कर सुरक्षित कर देते हैं, किन्तु कुछ स्थानों से निश्चिन्त हो जाते हैं ,कि यहां तक वो नहीं आ पायेगी।ऋचा पंडितजी से कहती है -पापा के लिए भी ,सुरक्षा कवच बना दीजिये और अपने लिए भी ,किन्तु पंडितजी उसे बताते हैं -उनके गले में ,जो रुद्राक्ष की माला है उसका एक -एक मोती अभिमंत्रित है । वो शाम को एक विशेष पूजा करने के लिए ,ऋचा के पापा से सामान मंगवाते हैं ,ऋचा भी अपने कमरे में आराम कर रही थी। जब उसके पापा बाहर से आते हैं ,पंडित जी को न पाकर ऋचा से पूछते हैं और जब उन्हें खोजते हुए ,वे बाथरूम के अंदर झांकते हैं तो उनके होश उड़ जाते हैं ,क्योंकि वो आत्मा पंडित जी को मार चुकी थी ,उसने उनकी गर्दन तोड़ दी थी। तब ऋचा और उसके पापा उस घर से भागते हैं और मंदिर में पहुंच जाते है ,वो काफी घबराये हुए थे ,तब उस मंदिर के पंडित जी से ही आश्रय मांगते हैं। अब आगे -







पंडित जी ,उन्हें अपने घर की तरफ लेकर जा रहे थे ,बोले -मेरा घर पास में ही है किन्तु वो तो चले जा रहे थे ,और एक सुनसान रास्ते पर चलने लगे। उधर तो कोई भी आ जा नहीं रहा था। तब ऋचा बोली -पंडितजी....... ये आप हमें किधर ले जा रहे है ?क्या हम सही राह पर हैं ,उन्होंने कोई जबाब नहीं दिया और चलते ही जा रहे थे। तब ऋचा ने उन्हें पकड़कर हिलाया और बोली -पंडितजी..... हम कहाँ जा रहे हैं ?उसके इस तरह चिल्लाने के कारण ,पंडितजी जैसे नींद से जगे हों ,चौंककर बोले -ये हम लोग कहाँ आ गए ?मेरा घर तो काफ़ी पीछे रह गया। 



अब ऋचा को लगा -वो अभी भी हमारे पीछे है और शायद उसने ही अपनी शक्ति से उन्हें सम्मोहित किया हो। वो लोग वापस चले दिए और शीघ्र अति शीघ्र घर पहुंचना चाह रहे थे। घर पहुंचते ही ऋचा बोली -वैसे पंडितजी हम किस राह पर जा रहे थे? 



 तब पंडितजी बोले - वो रास्ता तो श्मशान की ओर जाता था। 



ऋचा और उसके पापा की रूह काँप गयी और दोनों सोच रहे थे कि वो हमें श्मशान में क्यों ले जाना चाहती थी ?क्या हमें भी ,उन पंडित जी की तरह..... इससे आगे वो सोच नहीं पाए। 



घर पहुंचकर ,पंडितजी ने ,सबसे पहले अपने घर के चारों तरफ गंगाजल छिड़का ,अपने ऊपर भी और ऋचा और उसके पापा के ऊपर भी ,उनके खाने की व्यवस्था करके ,अपने घर के अंदर चले गए। 



उन्हें एक कमरा दे दिया था ,वैसे अब रात्रि बहुत हो चुकी थी किन्तु दोनों ने, अभी कुछ घंटे पहले जो दृश्य देखा था ,उसे सोचकर उन्हें नींद नहीं आ रही थी। 



कुछ समय पश्चात ,पंडितजी कमरे में आये और बोले -आप लोग निश्चिन्त होकर सो जाइये ,सुबह चार बजे एक पूजा होगी ,उस समय ये काली शक्तियाँ कमजोर होती हैं , आप लोग आराम करिये। 



वे दोनों लेट तो गए ,किन्तु नींद नहीं आ रही थी। तब ऋचा बोली -पापा एक बात पूछूं। 



पूछो !



क्या माँ का स्वभाव आरम्भ से ही ऐसा था ,या फिर परिस्थितिवश, वो ऐसी बन गयीं। 



उसे तो मैं समझ  ही नहीं पाया ,उसने तो मेरा ही लाभ उठाया ,तभी तो आज भुगत रही है। 



वो क्या भुगत रही हैं ,भुगत तो हम रहे हैं ,बेचारे पंडितजी ने तो कुछ भी नहीं किया ,वो तो हमें ही बचाने के प्रयत्न में थे ,बेचारे अपनी जान से हाथ धो बैठे। 



पंडित जी ने तो ,अपनी सब तरफ से सुरक्षा की थी ,तब ये'' सुरक्षा कवच ''कैसे टूटा ?



पता नहीं ,उनके साथ क्या हुआ होगा ?सोचते -सोचते न जाने ,उन्हें कब नींद आई ?



प्रातः काल ही ,उनके कानों में ,मंत्रों के जप के स्वर सुनाई पड़े ,दोनों उठकर उस आवाज की दिशा में गए ,उन्हें देखकर ,पंडित जी ने बैठने का इशारा किया। 



वो दोनों ,पंडितजी के सामने ही बैठ गए ,कुछ मंत्रोच्चारण के पश्चात ,वो ध्यान लगाकर बैठ गए।



कुछ समय पश्चात ,बोलना प्रारम्भ किया -उनकी मौत बहुत बुरे तरीके से हुई है ,वो बहुत ही शक्तिशाली है। 



तभी ऋचा के मन में एक प्रश्न उठा। उन्होंने तो सभी जगह सुरक्षित की थीं फिर वो उस बाथरूम में कैसे पहुंची होगी ? 



इससे पहले कि वो अपने प्रश्न को पूछ पाती उससे पहले ही ध्यान लगाए ,पंडितजी बोले -वो जल मार्ग से अंदर आई ,जब वो जल का उपयोग कर रहे थे ,तभी जल मार्ग से उसने वहां प्रवेश किया और उनकी गर्दन पकड़ ली। उनकी नाक और मुँह से खून बहने लगा ,तब उसने उनकी गर्दन पर वार किया ,उनके कुछ अंग उसने चबा भी डाले।



सुनकर दोनों बाप -बेटी की हालत खराब हो गई और वो मन ही मन सोच रहे थे- कि अच्छा हुआ ,हम वहां से भाग आये। 



तभी पंडितजी का स्वर फिर से वातावरण में गूंजा और बोले -वो वायु मार्ग से बाहर गयी। वो बौखलाई हुई है और क्रोधित भी क्योंकि पंडितजी ने उसकी कुछ शक्तियों को बांध दिया था इसीलिए उसने उनसे बदला लिया।



कुछ देर पंडितजी ,इसी तरह शांत बैठे रहे ,उसके पश्चात उन्होंने आँखें खोली और बोले -वो बहुत ही रौद्र रूप लिए है ,ख़तरनाक है उसकी तांत्रिक शक्तियां बढ़ती जा रही हैं और उसके रास्ते में जो भी आयेगा उसका भी वही हश्र होगा ,जो उन पंडितजी का हुआ।



अब क्या करें ,क्या चाहती है वो ?







अपनी मौत का बदला !पंडितजी ने उनकी तरफ देखते हुए कहा। 



तभी ऋचा बोली -गुरूजी !उस परिवार के दो बुजुर्ग़ हैं ,उनकी मुक्ति कैसे होगी ?वो उन्हें कैसे छोड़ेगी ?जब तक वो मुक्त नहीं होगी ,उन्हें भी इसी तरह कष्ट देती रहेगी और उनके बेटे की मुक्ति होनी भी ,अभी बाक़ी है। 



क्या मतलब ?दोनों ने चौंककर उन्हें देखा ,क्या उसने ,उसे भी मार दिया ? 



पंडितजी ने आँखें बंद की और बोले -मारने का प्रयत्न तो किया था किन्तु सफल न हो सकी। 



इसका अर्थ है ,''प्रदीप चौबे ''जिन्दा है ,ऋचा के पापा ने कहा। 



नहीं ,अब वो जिन्दा नहीं ,ये एक बड़ा रहस्य है। 

आखिर पण्डित जी, कहना क्या चाहते हैं? वो प्रदीप चौबे को मारना चाहती थी किंतु सफल नहीं हुई , किंतु अब वो जिंदा भी नहीं, पण्डित जी, ये क्या पहेली बुझा रहे हैं ?अब इसमें कौन सा नया रहस्य छिपा है ? जानना चाहते हैं तो पढ़ते रहिये - बेचारी 
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रचनाएँ
बेचारी
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ऋचा एक मध्यमवर्गीय परिवार की लड़की है और वो शहर में नौकरी करने आती है।और न जाने किन रहस्यों में उलझती चली जाती है।उसकी ज़िंदगी का,हर एक रहस्य एक नया सवाल खड़ा कर देता है।क्या वो बेचारी है? या फिर ये भी एक रहस्य है किसके कारण,वो भयभीत होती है?उसके भय का क्या कारण है? क्या अपने जीवन में आई,उन उलझनों को वो सुलझा पायेगी?इन सबका जबाब जानने के लिए पढ़िये - "बेचारी"
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बेचारी ( भाग १)

7 अक्टूबर 2023
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ऋचा उस फ्लैट में घुसती है , उसके घुसते ही ,एक अजीब ,तेज़ बदबू का झोंका ,उसके नथुनों से टकराया ,उसने तुरंत ही अपना हाथ अपनी नाक पर रख लिया। वो बोली -देवीलाल जी ये आप मुझे कहाँ ले आये ?और ये कैसा मकान द

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बेचारी ( भाग २)

8 अक्टूबर 2023
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अभी तक आपने पढ़ा -देवीलाल , सम्पत्ति लेन -देन का व्यापारी है ,उसके दफ्तर में ऋचा आ जाती है जिसे रहने के लिए एक फ्लैट चाहिए क्योंकि वो इस शहर में नई आई है ,यहां वो किसी को जानती भी नहीं और अब उसे इसी

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बेचारी ( भाग ३)

8 अक्टूबर 2023
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देवी लाल जी एक 'प्रॉपर्टी डीलर '' हैं ,ऋचा उनसे एक मकान अथवा फ्लैट के लिए सम्पर्क करती है। वो ऋचा को भी वही मकान दिखाते हैं ,जो इससे पहले भी कई लड़के लड़कियों को दिखा चुके हैं, किन्तु पता नहीं ,उस मकान

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बेचारी ( भाग ४)

9 अक्टूबर 2023
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अभी तक आपने पढ़ा -देवीलाल जी ,शास्त्रीनगर के मकान नंबर 'अट्ठावन ' में रात्रि में अपने नौकर नंदू के साथ ठहर जाते हैं किन्तु उस मकान में उनकी ,इतनी बुरी गत हो जाती है कि अस्पताल में जाने की नौबत आ जाती

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बेचारी ( भाग ५)

10 अक्टूबर 2023
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अभी तक आपने पढ़ा -सेठ देवीलाल जी ,शास्त्रीनगर के मकान नंबर अट्ठावन में दुर्घटना ग्रस्त हो जाते हैं ,वहां कोई तो है ?जो नहीं चाहता ,कि कोई आये और यहां रहे। किन्तु देवीलाल जी को किसी का फोन आता है कि इस

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बेचारी ( भाग ६)

10 अक्टूबर 2023
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अभी तक आपने पढ़ा ,ऋचा जो एक अनजाने शहर में आती है और देवीलाल जी उसे एक घर किराये पर दिखलाते हैं ,वो घर एकदम निर्जन गली के सबसे आख़िरी मकान है। उस घर में कोई भी किरायेदार आता है ,रातों रात भाग जाता है। ल

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बेचारी ( भाग ७)

11 अक्टूबर 2023
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अभी तक'' बेचारी '' में आपने पढ़ा -ऋचा किसी दूसरे शहर में ,नौकरी करने आती है और ''देवीलाल जी ''जो एक ''प्रॉपर्टी डीलर ''हैं ,उनसे ऋचा सम्पर्क करती है और वो उसे वही मकान दिलवा देते हैं , जिसमें कोई रहना

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बेचारी ( भाग ८)

11 अक्टूबर 2023
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अभी तक आपने पढ़ा - ऋचा किसी अनजान शहर में ,नौकरी करने आती है और देवीलाल जी के माध्यम से उसे एक मकान मिल भी जाता है।'' शास्त्रीनगर का वो मकान नंबर ,'' अट्ठावन ''जहाँ एक रात से भी ज्यादा कोई नहीं टिक पात

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बेचारी ( भाग ९)

12 अक्टूबर 2023
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ऋचा किराये पर मकान लेती है और वो शास्त्रीनगर के ''प्रदीप चौबे ''के ,मकान नंबर ''अट्ठावन ''में आ जाती है। वो मकान कई वर्षों से ,यूँ ही वीरान पड़ा है , उसमे कोई नहीं रहता। कभी कोई भूले से आ भी जाता ,तो र

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बेचारी ( भाग १०)

12 अक्टूबर 2023
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बेचारी में अब तक आपने पढ़ा - ऋचा उस मकान में रहने तो आ जाती है ,किन्तु नितिका की रूह ने ,उसे परेशान कर दिया वो ऋचा को छू तो नहीं पा रही किन्तु उसे डरा अवश्य दिया। घर में रहते अभी उसे तीन -चार दिन ही हु

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बेचारी ( भाग ११)

13 अक्टूबर 2023
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अभी तक आपने पढ़ा -ऋचा ,उस घर की कहानी जानने की इच्छुक है ,इसके लिए उसे दीक्षित परिवार के दम्पत्ति मिलते हैं। पहले तो वो लोग उसे,किसी भी तरह की जानकारी उसे देने के लिए तैयार नहीं होते हैं, किन्तु जब ऋचा

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बेचारी ( भाग १२)

13 अक्टूबर 2023
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अभी तक आपने पढ़ा -ऋचा , चौबेजी के बरसों पुराने घर में रहने आती है ,अभी तक तो सभी, यही समझ रहे थे कि -ऋचा अन्य किरायेदारों की तरह ही, इस घर में रहने आई है किन्तु कुछ समय पश्चात ,एहसास होता है कि वो आई न

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बेचारी ( भाग १३)

14 अक्टूबर 2023
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बेचारी में ,अभी तक आपने पढ़ा -ऋचा जो ,शास्त्रीनगर के मकान नंबर अट्ठावन में आती है ,वहां उसका एक रूह से सामना होता है। वो पहले तो ये बात ,हल्के में ले रही थी किन्तु ,जब उस आत्मा ने, उसे परेशान कर दिया ,

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बेचारी ( भाग १४)

14 अक्टूबर 2023
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बेचारी में ,आपने पढ़ा -ऋचा उस घर की परेशानियों को दूर करने के लिए , वो इस आत्मा के चक्कर को ही समाप्त कर देना चाहती है। इसके लिए वो उस घर की कहानी जानना चाहती है और इसके लिए वो दीक्षित परिवार से सहायता

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बेचारी ( भाग १५)

15 अक्टूबर 2023
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बेचारी में आपने अब तक पढ़ा -ऋचा को पता चल जाता है कि ''नितिका ''नाम की नर्स और कोई नहीं उसकी अपनी माँ है। वो इस बात से बेहद दुखी और परेशान होती है कि उसे अपनी माँ के विरुद्ध ही लड़ना होगा। वो बहुत देर त

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बेचारी ( भाग १६)

15 अक्टूबर 2023
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अभी तक आपने पढ़ा ,ऋचा को पता चल जाता है ,इस घर में जो'' नितिका ''नाम की आत्मा निवास करती है वो और कोई नहीं ,उसकी अपनी माँ ही है। पिता से पूछने पर कि माँ की मौत कैसे हुई ?जिसका वो जबाब नहीं दे पाते। अपन

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बेचारी ( भाग १७)

16 अक्टूबर 2023
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ऋचा दीक्षित परिवार से मिलने जाती है ,आज उसकी नींद भी पूरी नहीं हुई क्योंकि रात जो उसने भयानक सपना देखा ,उसके कारण वो बेहद डरी हुई थी। उसने अपने पिता को फोन पर ,कणिका के विषय में बताया जिसे सुनकर उसके

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बेचारी ( भाग १८)

16 अक्टूबर 2023
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प्रदीप चौबे '' अपने पिता का अंतिम संस्कार करके ,अपने काम पर लोेट जाता है ,अपनी माँ को अपने संग ले जाना चाहता है किन्तु माँ पहले तो उसके संग जाने से इंकार कर देती है और जब जाने के लिए तैयार होती हैं तब

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बेचारी ( भाग १९)

17 अक्टूबर 2023
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अभी तक आपने पढ़ा -ऋचा को दीक्षित परिवार ,आगे की कहानी सुनाता है ,और बताता है कि'' प्रदीप चौबे ''के माता -पिता का देहांत हो जाता है जिसकी ज़िम्मेदार ऋचा की माँ ''नितिका ''ही थी। वो बताती हैं -हमने उनके ब

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बेचारी ( भाग २०)

18 अक्टूबर 2023
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अभी तक आपने पढ़ा ,ऋचा अपने पापा से बात कर ,देवीलाल जी से उस नंबर का पता लगाने जाती है, जिस नंबर पर उन्हें फोन आता है किन्तु देवीलाल जी अनभिग्यता जाहिर करते हैं। ऋचा हैरत में पड़ जाती है ,कि जिसे देवीलाल

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बेचारी ( भाग २१)

18 अक्टूबर 2023
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बेचारी में अभी तक आपने पढ़ा -ऋचा ''प्रदीप चौबे ''का पता लगाने के लिए ,घर से निकलती है और बस में भी चढ़ती है ,और उसके घर देहरादून पहुंच जाती है ,जहाँ पर उसको पता चलता है कि'' प्रदीप चौबे '' तो अपनी माँ क

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बेचारी ( भाग २२)

19 अक्टूबर 2023
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अभी तक आपने पढ़ा ,ऋचा बस अड्डे से वापस अपने घर आती है। वहां पहुंचकर उसे पता चलता है -उसके पापा और पंडितजी आ गए हैं। पंडितजी उसके द्वारा पता लगाते हैं, कि वो आत्मा वहीं आस -पास है ,तब उन्हें पता च

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बेचारी (भाग २३)

19 अक्टूबर 2023
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अभी तक आपने पढ़ा -ऋचा और उसके पापा ,''नितिका''की आत्मा से बचने के लिए ,एक पंडित जी को अपने संग लाते हैं। पंडित जी ,पहले उन बुजुर्ग आत्माओं का निवारण करना चाहते हैं और उनकी आत्माओं को बुलाते भी हैं किन्

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बेचारी ( भाग २४)

20 अक्टूबर 2023
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अभी तक आपने पढ़ा -ऋचा और उसके पापा ,उस आत्मा से बचते हुए ,एक मंदिर में शरण लेते हैं ,तब वहाँ के पंडित जी से बताते हैं - कि उस आत्मा ने पता नहीं कैसे ,हमारे साथ आये पंडितजी को मारा ? तब पंडितजी उन्हें म

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बेचारी ( भाग २५)

20 अक्टूबर 2023
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बेचारी के इससे पूर्व भाग में आपने पढ़ा -ऋचा और उसके पिता ,नितिका नाम की आत्मा से बचते - बचाते एक मंदिर में जाकर शरण लेते हैं। मंदिर के पंडित जी उनकी सहायता का वायदा करते हैं और अपना एक आदमी ''भैरों बाब

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बेचारी ( भाग २६)

21 अक्टूबर 2023
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अभी तक आपने पढ़ा ,ऋचा और उसके पापा को पंडितजी ''भैरों बाबा ''के यहां पहुंचा देते हैं।'' भैरों बाबा ''ऋचा के मन में उठते सवालों का जबाब ,उसे एक कहानी द्वारा देते हैं। वो कहानी तीन सौ बरस पुरानी है ,कादम

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बेचारी ( भाग २७)

21 अक्टूबर 2023
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अभी तक आपने पढ़ा , भैरों बाबा ऋचा और उसके पापा को एक ,तीन सौ साल पुरानी कहानी सुनाते हैं ,जो कादम्बिनी और भुवन की है ,इससे ये तो पता चल जाता है- कि नितिका और उसका पति पिछले जन्म में भी पति -पत्नि ही थे

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बेचारी ( भाग २८)

22 अक्टूबर 2023
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अभी तक आपने पढ़ा -एक व्यक्ति जो कादम्बिनी को, एक बालिका को, जबरदस्ती खींचकर अपने झोंपड़े के अंदर ले जाती है ,देखता है ,वो व्यक्ति पहले तो गांववालों को बुलाने की सोचता है किंतु कादम्बिनी कहीं हाथ से न नि

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बेचारी ( भाग २९)

22 अक्टूबर 2023
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अभी तक आपने पढ़ा -कादम्बिनी ,अपने गांव के लोगों से नाराज है ,उन्हें सबक सिखाने के लिए ,अपने ही गांव की बच्चियों को अगवा करती है और एक तांत्रिक की सहायता से , अपनी शक्तियां बढ़ाने के लिए ,उन बच्चियों की

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बेचारी ( भाग ३०)

22 अक्टूबर 2023
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अभी तक आपने जाना ,कादम्बिनी जो भुवन की पत्नी थी ,उसकी हत्या तीन सौ बरस पहले ऋचा ने की थी ,ये बात ''भैरों बाबा ''ने उसके पापा और उसको बताई- कि आज जो नितिका और उसके पिता हैं ,वे पहले भी पति -पत्नी रह चु

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बेचारी ( भाग ३१)

24 अक्टूबर 2023
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बेचारी में ,अभी तक आपने पढ़ा -ऋचा और उसके पापा ,''भैरों बाबा ''से मिलते हैं। 'भैरोंबाबा'उन्हें उनके पूर्व जन्म की कहानी सुनाते हैं ,जिससे पता चलता है -ये इनके पूर्व जन्मों के ही कारण हो रहा है। अब वे ल

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बेचारी ( भाग ३२)

24 अक्टूबर 2023
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अभी तक अपने पढ़ा -''भैरों बाबा '' उस घर की शुद्धि के लिए हवन करते हैं ,किन्तु 'नितिका की आत्मा ''उस हवन में व्यवधान डालती है। दोनों तरफ कुछ देर तक ,अपनी -अपनी शक्तियों के बल पर युद्ध सा चलता है। अंत मे

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बेचारी ( भाग ३३)

25 अक्टूबर 2023
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अभी तक आपने पढ़ा -ऋचा और उसके पापा ,बाबा के संग हवन में ही बैठते हैं ,उससे पहले ही बाबा ,ऋचा को समझा देते हैं ,कि उसे क्या करना है ?जब बाबा उसे ,उस कार्य के लिए भेजते हैं तब उसे पता चलता है -पापा ने ही

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बेचारी ( भाग ३४)

25 अक्टूबर 2023
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अभी तक आपने पढ़ा -ऋचा की माँ ,''नितिका की आत्मा ''अपने पति के शरीर पर कब्ज़ा कर लेती है किन्तु ये बात ''भैरों बाबा ''को सही नहीं लगती ,उधर ऋचा ,उस स्थान को जलाकर नष्ट कर देती है, जिसके कारण ,''नितिका ''

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बेचारी ( भाग ३५)

26 अक्टूबर 2023
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बेचारी में अभी तक आपने पढ़ा -ऋचा के शरीर पर नितिका ,अपना अधिकार कर लेती है ,बाबा उसे अपने तंत्र से छुड़ाने का प्रयास भी करते हैं किन्तु वो फिर से ,ऋचा को अपने कब्ज़े में लेकर ,उसे लेकर किसी क़ब्रिस्तान मे

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बेचारी ( भाग ३६)

26 अक्टूबर 2023
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अभी तक आपने पढ़ा ,ऋचा की माँ की आत्मा ऋचा को अपने साथ उड़ाकर ले जाती है ,भैरों बाबा और उसके पिता उसे ढूंढकर ,उसे अस्पताल में भर्ती कर देते हैं, किन्तु उन्हें वहां भी ,उसके आने का अंदेशा लगता है। बाबा ऋ

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बेचारी ( भाग ३७)

27 अक्टूबर 2023
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अभी तक आपने पढ़ा -ऋचा को उसके पिता किसी अस्पताल में भर्ती कर देते हैं ,किन्तु' नितिका की आत्मा 'उसे ढूंढते हुए ,वहां भी पहुंच जाती है और वो ,वहां के मुर्दों को भी ,खड़ा कर देती है। सभी को अपने संम्मोहन

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बेचारी ( भाग ३८)

27 अक्टूबर 2023
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अभी तक आपने पढ़ा , नितिका की आत्मा ,ऋचा के पापा के अंदर प्रविष्ट कर जाती है ,और उन्हें लेकर ,न जाने ,कहाँ निकल जाती है ?बाबा अब ''प्रदीप चौबे ''की आत्मा को मुक्त करते है ,ताकि वो बता सके -कि 'प्रदीप चौ

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बेचारी ( भाग ३९)

28 अक्टूबर 2023
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अभी तक आपने पढ़ा ,'' भैरों बाबा '' प्रदीप चौबे'' की आत्मा को छोड़ देते हैं ,प्रदीप चौबे की आत्मा अपने परिवार से मिलने ,देहरादून जाती है और उसकी आत्मा अपनी पत्नी को ,पुकारती है -सुलेखा ,सुलेखा..... पहले

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बेचारी ( भाग ४०)

28 अक्टूबर 2023
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अभी तक आपने पढ़ा ,''प्रदीप की आत्मा ''अपनी पत्नी सुलेखा से मिलने आती है और सुलेखा से अपने प्रश्नों के जबाब चाहती है। किन्तु सुलेखा भी, सच्चाई को ,आसानी से स्वीकार नहीं ,करती है। बहुत दिनों ,बाद बच्चों

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बेचारी ( भाग ४१)

29 अक्टूबर 2023
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बेचारी में अब तक आपने पढ़ा -प्रदीप की आत्मा अपने परिवार से मिलती है ,वहां पता चलता है, कि प्रदीप को मारा तो नितिका ने था किन्तु वो बच गया था ,रही सही कसर उसकी अपनी पत्नी सुलेखा ने पूरी की क्योंकि वो रा

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बेचारी ( भाग ४२)

30 अक्टूबर 2023
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अभी तक आपने पढ़ा -भैरों बाबा ,अपनी शक्ति से पता लगाने का प्रयास करते हैं कि ऐसी वो कौन सी शक्ति है? जो हाइवे पर इतनी दुर्घटनाएँ करवा रही है ,इस सब बात का पता लगाने के लिए ,''प्रदीप की आत्मा '' सहायता क

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बेचारी ( अंतिम भाग)

30 अक्टूबर 2023
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अभी तक आपने पढ़ा -ऋचा और बाबा को पता चल जाता है ,हाइवे पर जो हाद्से हो रहे हैं ,उनका ज़िम्मेदार कौन है ? बाबा अब ऋचा को कोई निर्णय लेने के लिए कहते हैं ,किन्तु जब ऋचा को पता चलता है -इन हादसों में उसके

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