मेरी बीएड की प्रवेश परीक्षा थी। मेरा सेंटर जी आई सी में पड़ा था। वहाँ में पेपर देने के लिए एक बड़े से हॉल में बैठा था। मेरी बेंच पर दूसरी साईड एक लड़की बैठी थी। पेपर देने के बाद उससे मेरी बात हुई थी। उसने बताया कि एक साल पहले उसकी शादी हुई है और वह एक प्राइवेट स्कूल में शिक्षक है। हॉल में बिल्कुल शान्ति थी और सब आराम से अपनी परीक्षा दे रहे थे। उस लड़की ने एक कागज की बॉल मेरे पैर के पास फेंक दी। इतने सारे फर्रे देखकर मुझे समझ नहीं आया कि मैं क्या करूँ। हमारा हॉल दूसरी मंजिल पर था और मैं खिड़की के पास बैठा था। मैंने वो कागज की बड़ी सी बॉल उठाकर खिड़की से बाहर नीचे फेंक दी। 15-20 मिनट बाद उस हॉल में 6-7 शिक्षक आये। उनके हाथ में वही बॉल थी। उन्होंने हॉल में आकर कहना शुरू किया कि आप लोग कुछ दिनों में शिक्षक बनने जा रहे हैं। शिक्षक बनकर आप बच्चों को क्या सिखायेंगे और बॉल को दिखाते हुए बोले कि यही नकल कराना। नकल करने तक तो ठीक था पर आप किसी में से किसी ने यह बॉल नीचे फेंकी जो सीधे हमारे प्रिंसीपल के सिर पर आकर गिरी है।