अगर पौधा लगाया है उसे पानी तो देना है
धूप मिलती रहे उसको सभी लोगों से कहना है
अगर तुम भूल जाओगे तो वो फ़िर जड़ फैलाएगा
जिधर से मिलती होगी धूप उधर ही झुकता जाएगा
जड़े जब दूर तक उस वॄक्ष की सब फैल जाएँगी
लाख कोशिश करो वो कभी वापस ना आएँगी
अगर शाखें भी उस पेड़ की तुम काट डालोगे
उसकी फैली हुई हर जड़ को कहो कैसे निकालोगे
अगर फल फूल चाहते हो तो इसको खाद भी देना
इसके हर रोम रोम का सकल आनंद फ़िर तुम लेना
अगर जंगल का पौधा है तो कुदरत है उसके साथ
मगर बागों में वो तकता है हरदम मालियों के हाथ
शिशिर मधुकर