शम्मी आज स्कूल से रोते रोते घर पहुंची । मां ने पूछा ,"क्यों रो रही हो बेटा ? किसी ने मारा है क्या?" बेचारी शम्मी को मां का आंचल मिला तो बहुत ज़ोर से रोने लगी ।एक हाथ पीछे कमर मे छुपा रखा था । मा
भाईयों और बहनों ।जैसा कि आजादी की 75वीं वर्षगांठ आ रही है तो मै चाहता हूं भारत के हर घर मे तिरंगा लहराना चाहिए।"भारत के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी का भाषण टीवी पर आ रहा था ।चमेली और उसका पति दिहाड़ी म
गांव की सुन्दर बालिका प्यारा-सा नाम सारिका, ये कविता उसकी कहानी हैजो मुझे आपको सुनानी है,कहानी का पहला चरण है सूरज और उमा का आँगन है,एक कमरे में प्रसव-पीड़ा से उमा आज बेचैन सी है,आँ
मुद्दतों बाद भैया और दिव्या संग मुस्कुरा रही थी,अरसों बाद आज सुरीली आज मायके जा रही थी | सुरीली की सवारी गांव के बहुत पास आ गई थी,पर आज सुरीली गांव पहचान ना पा रही थी | जंगलों और पर्वतों&nbs
आतंक केवल आतंकवादी से नही होता।शगुन ने आतंक प्रत्यक्ष देखा है।वह आतंक के साये मे जी है।शगुन अपने माँ बाप की इकलौती संतान थी।मुँह से बाद मे निकालती थी चीज पहले हाजिर हो जाती थी।लाड प्यार से पली-बढ़ी थी
आज ही सुमी को मां का फोन आया गांव से कुन्ती चाची की तबीयत बहुत खराब है।सुमी के पति ने उसे फटाफट ट्रेन मे तत्काल की टिकट करा कर बैठा दिया और ये कहा कि अगर टीटी कुछ कहे तो कुछ पैसे देकर अपना पीछा छुड़ा
नैना और अमन एक ही ओफिस में काम करते थे। दोनो में अच्छी मित्रता थी । समझ की बात हैं जब एक ही जगह साथ में कामकरते हैं तो दिन भर का ज़्यादातर वक़्त साथ ही गुजारते हैं। घर की बहुत सी बातें एक दूसरे से करत
बात बहुत पुरानी है पर जेहन मे उसकी याद ऐसे है जैसे कल ही की बात हो।"सुंदर लाल अपने साथी विष्णु को पार्क की हरी घास मे बैठ कर बतियाते हुए कह रहे थे।"तुम्हें पता है आजकल दोस्ती बस नाम की रह गयी है ।दोस्
ए वतन ,ए वतन हमको तेरी कसम ,तेरी राहों मे जां तक लुटा जाए गें।ए वतन ,ऐ वतन।"रामरती ईंटों के भट्ठे पर बैठी ईंट बना रही थी । नन्हा चीकू मां के साथ बैठकर गारा मिट्टी से तरह तरह के खिलौने बना रहा था
।। जय श्री राम ।। आज का दौर इंटरनेट का दौर है हम सब को ये बात पता है ... आज में आप से लोगो के गरीबी के नजरिए से जोड़ी सच्ची घटना पर बात करना चाहता हूं। एक ias
हैलो... दोस्तों ! आप सब कैसे हैं । मुझे मालूम है सब ख़ैरियत से हैं । तो चलिए... इसी ख़ैरियत में हम आप सभी को एक लवस्टोरी सुना देते हैं । क्या आप सभी तैयार हैं ? अगर हां...तो मुझे कमेंट बॉक्स में अपन
पूरी हवेली में चहल-पहल हो रही थी। हवेली को काफी बेहतरीन तरीके से सजाया जा रहा था। मियां हसीन शादी करने जा रहे थे। 80 साल के मियां हसीन की यह 9वीं शादी थी। अभी दो साल पहले ही मियां हंसीन अब्बू बने थे।
एक बार एक विघालय में अध्यापक अपने विधार्थियो को एक कहानी सुना रहे थे...। प्यारे बच्चों आज मैं तुम्हें एक ऐसी कहानी सुना रहा हूँ... जो आज के जीवन की सच्चाई को बयां करता हैं...। एक समय की बात
हाल गर्दिश के सितारों सा हैदिल उलझें हुए तारों सा हैइक तरफ सांस बोझिल है मिरी दूसरी तरफ बेफिक्र आवारों सा हैउनकी हवाओं का रुख ना करवो शहर इश्क़ के मारो का हैकिसकी बनी है जो तू बना लेगाइश्क़ उतरते-च
अब लौट चलूं आज मुझें ऐसा लग रहा था कि मैं सच में आजाद हूं, सारी दुनियां आज पहली बार मुझें नई लग रहीं थी....सब कुछ नया सुकून से भरा....गर्त के अंधेरे को चीर कर मेरे कदम नए उजाले की ओर अनयास
अब लौट चलूं आज मुझें ऐसा लग रहा था कि मैं सच में आजाद हूं, सारी दुनियां आज पहली बार मुझें नई लग रहीं थी....सब कुछ नया सुकून से भरा....गर्त के अंधेरे को चीर कर मेरे कदम नए उजाले की ओर अनयास
"रानी की सॉस का गुस्सा इतना बढा हुआ था कि उसे समझ मे नही आ रहा था कि वो उनका गुस्सा कैसे ठिक करे ,फिर रानी अपनी सॉस के लिए खाना ल
"रानी बहुत व्याकुल हो रही थी ,किसे नास्ता पहले दे ,और किसे ना दे ,पति को नास्ता दे या फिर ससुर जी को पहले नास्ता देने जाए
"आवाज सुनकर चौक गई ।फिर मेने कहॉ आप अभी तक जाग रहे है , तो वो बोले हॉ जाग रहा हुं ।बस तुम्हारा इन्तजार कर रहा था कि कब तुम कमरे मे आओगी ।अच्छा छ