सर्जिकल स्ट्राइक का जितना असर पाकिंस्तान में नहीं हुआ उससे कई गुना कहीं अधिक असर देश में विपक्ष के वोट बैंक पे हुआ सा प्रतीत हो रहा है?
बौखलाहट में जिंजर भी सामने आ गया, अब सब जिंजर तलाशने में जुटे हुए है की भाई है कहाँ,कैसे है अगर है भी तो आखिर किस पन्ने में दर्ज है.
खैर छोड़िये सर्जिकल स्ट्राइक तो दिल्ली के JNU में अपनों पे भी हो गया तो गैर की बात छोड़िये, देश की राजनीती में तो या आम है खास तो वे है जो पड़ोस के साथ है?