दुनिया युद्ध के महाविनाश की ओर जा रही है।यदि ऐसा हुआ तो किसी न किसी रुप में हम सभी प्रभावित होंगे।वैसे ही दुनिया में लोग अनेकानेक कारणों से दुखी हैं।हम में से बहुत लोग ऐसे हैं जिन्हे कोई न कोई दुख है।हम मिलकर उनका समाधान खोज सकते हैं और दुखों से बचाव कर सकते हैं।कम से कम हम चर्चा तो करें।कोई न कोई समाधान निकलेगा ही।जिन्हें दुख नहीं है और जो अपने को सुखी मानते हैं,उनकी जिम्मेदारी अधिक है कि वे इसमें सक्रिय भूमिका निभायें।हम परमात्मा के समीप जायें और उन्हें अपने भीतर महसूस करें। आईये मिलें और चर्चा करें।