कसक तेरे प्यार की सीज़न टू (भाग41)
अब तक आपने पढ़ा आयशा और आतिफ़ की मंगनी की तैयारियां चल रही हैं और उधर नदीम जे़बा की शादी में गया हुआ है,,अब आगे 👉
जे़बा की बारात आने वाली है तभी नदीम लड़कियों को आते हुए देखता है,,, उनके बीच में एक लड़की सफ़ेद लहंगे के सूट में सिल्वर कलर की मैचिंग ज्वेलरी पहने हुए कमर तक लंबी चोटी लहराती हुई,,, कान से फोन लगाएं उसके सामने से गुजरती है जिसे देखकर नदीम घबरा कर खड़ा हो जाता है,,,,,,,।
अरे ज़ेबा तुम,, इस तरहां कैसे घूम रही हो तुम्हारी तो बारात आने वाली है,,,,,,,, आंटी तो कह रही थीं तुम तैयार होने गई हो ब्यूटी पार्लर में,,, तुम तो ऐसे ही घूम रही हो,,, आख़िर शादी किसकी है,,, ।
वह लड़की मुस्कुराकर आंखों ही आंखों में कुछ इशारा करके आगे बढ़ गई और नदीम की धड़कनें तेज हो गई,,, यह क्या मज़ाक है,,,,,,,,।
जे़बा वह अपने दिल में सोचने लगा,,, तभी बारात आ गई और थोड़ी देर के बाद निकाह भी हो गया दूल्हा बहुत हैंडसम था,,,,,,।
एक पल को नदीम उसको देखता ही रह गया,, और अपने दिल में सोचने लगा हैंडसम होने के साथ-साथ यह क़िस्मत का धनी है,,, और एक मैं हूं जो अपनी किस्मत को बैठा रो रहा हूं,,,,,,,।
तभी दुल्हन को ला कर दूल्हा के बराबर में बैठा दिया गया,,, दुल्हन ने इतना लंबा घूंघट कर रखा था कि चेहरा देखना मुश्किल था,,, और साथ में जे़बा भी खड़ी थी,, जिसे देखकर नदीम के दिल में हजारों सवाल बिजली की तेजी से चमक रहे थे,,, ।
वह रह रह कर अपने दिल में सोच रहा था,, अगर ज़ेबा दुल्हन के साथ खड़ी है,, तो दुल्हन कौन है क्या ज़ेबरा ने उसका बेवकूफ बनाया,,, उसका दिल जलाकर बदला लिया,,,,,,,,।
वह इन्हीं सवालों में उलझा हुआ था,,, तभी माइक पर निकाह की आवाज़ सुनाई दी,, वसी पुत्र जनाब आसिफ अली,, आपका निकाह ज़ेबा,,, पुत्री जलील उर रहमान के साथ होना तय पाया है,,, आपको क़बू़ल है,,, और दूल्हा ने तीन बार हां कह कर निकाह क़बू़ल कर लिया,,,।
दूसरी तरफ से ज़ेबरा ने भी निकाह क़बू़ल कर लिया,,, निकाह हो जाने के बाद ज़ेबा का घुंघट उठा दिया गया और जाली दार सितारों भरे दुपट्टे से चेहरा ढक कर उसे दूल्हा के पास ले जाकर बिठाया गया,,, ।
नकाब से झांकता हुआ ज़ेबा का चेहरा गज़ब ढा रहा था और उसके घुटनों में चार चांद लगा रहा था,,, और वसी के दोस्तों द्वारा गाया गया यह गाना माहौल को और भी रोमांटिक बना रहा था,,,
चेहरा छुपा लिया है किसी ने नक़ाब में लग जाती वरना आग तुम्हारे शबाब में,,,,,,
नदीम बार बार सोचता है यह ज़ेबा है तो वह कौन है,,, तभी तेज़ी से मोती लगाई की रस्म पूरी करने के लिए वह लड़की फिर से अपनी सहेलियों के साथ भागती हुई,,, स्टेज की तरफ़ बढ़ती है,,,
आगे कहानी क्या मोड़ लेती है जानने के लिए देखते रहे कसक तेरे प्यार की सीजन 2
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मौलिक रचना सय्यदा खा़तून ✍️
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