ख़ुद को खो कर पाया है तुझे
सब कुछ भुला कर पाया है तुझे
हालतों से लड़ कर पाया है तुझे
दिलों को तोड़ कर पाया है तुझे
तक़दीर को बदल कर पाया है तुझे
वजूद को मिटा कर पाया है तुझे
ना उम्मीदी को हरा कर पाया है तुझे
दुनिया से चुरा के पाया है तुझे
खुदा के मेहरोंकर्म से पाया है तुझे
ख़ुद को खो कर पाया है तुझे