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कायरा का इंसाफ -38

31 मई 2023

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                      अपने मिलनसार व्यक्तित्व और सबकी मदद करना, नौकरी में ईमानदारी से रहने के कारण गुंजन ना सिर्फ अपने स्टाफ की ही चहेती थी, अपितु अपने थाना क्षेत्र में भी प्रसिद्ध थी, लोग उसे बड़े ही आदर भाव से देखते और साथ ही साथ हर संभव प्रयास करते की कानून व्यवस्था बनी रही,
     जब अच्छे और मन लगाकर काम करने वाले अनुशासित कर्मचारी हो, तब कैसे भी अफसर पद पर बैठा दिया जाए, कोई फर्क नहीं पड़ता, लेकिन हर जगह पर यह बात सटीक नहीं बैठती।

                  कुछ पद ऐसे होते हैं, जहां कर्मचारियों से ज्यादा अधिकारियों को अनुशासित होने की आवश्यकता होती है, खासकर जब कानून व्यवस्था को संभालने की जिम्मेदारी ऐसे शख्स पर हो, लेकिन चाहे इसे गुंजन का दुर्भाग्य कहें या फिर सरकार की गलती........
                          एक ऐसे ऑफिसर को पूरे स्टेट की जिम्मेदारी सौंप दी गई, जिसके साथ किसी भी डिपार्टमेंट का अधिकारी या कर्मचारी काम करना पसंद ना करें, जिसका मुख्य कारण उसकी स्त्रियों को लेकर गंदी सोच, वह किसी गांव के जमींदार या प्रधान की बिगड़ी औलाद थी, जिसमें सिर्फ और सिर्फ दमन, लोभ और जातिवाद में गिरी हुई संस्कृति के बीच जन्म लिया, और उसी में पला बडा।

                 वह समाज के उस पक्ष से नाता रखता था, जहां आज भी स्त्रियों को कमजोर और चारदीवारी में रहने वाली चिड़िया माना जाता था, जिसके मन में खूबसूरत बीवी के साथ उसमें गुलाम होने की भावना निहायत जरूरी थी, और उसकी ऐसी सोच के साथ साथ सिर्फ उसमें एक ही अच्छा गुण था कि वह अपराध को अपराध की नजर से ही देखता था।
                        वह बेशक बहुत बुरा अधिकारी, लेकिन रिश्वत उसके लिए हराम थी, बस यही दो गुण उसमें अच्छे बताने के लिए पर्याप्त थे, क्योंकि दुष्ट प्रवृत्ति का अधिकारी सिर्फ अपनी जिम्मेदारी के लिए परेशानी पैदा करता है, लेकिन एक भ्रष्टाचारी पूरे देश की व्यवस्था को बिगाड़ देने को पर्याप्त होता है।

उसकी सोच गंदी थी, लेकिन उसका कारण शायद स्त्री पक्ष का वह भाग भी था, जो उस समुदाय को सिर्फ अपने मतलब के लिए जिस्म दिखा कर ललाईत करती है, उनके लिए उनका शरीर मर्यादा से कई परे मात्र एक काया होती है, ऐसी स्त्रियां अपनी इच्छाओं और आकांक्षाओं को पूरा करने के लिए किसी भी सीमा तक गिरने में नहीं चुकती।
                 कई बार तो जिस्म दिखाने की परंपराओं में वह यहां तक निकल जाती है कि वह भविष्य में खुद को ही देखे तो शर्म आ जाए, वे आजादी के नाम पर अपने परिवार को भी दांव पर लगाने में नहीं चुकती, उन्हें सिर्फ अपने मनमानी से मतलब रहता है ,

                          शायद ऐसी ही महिलाओं के साथ रहने के कारण "अनिरुद्ध सरकार"  नाम का यह ऑफिसर इसी बिगलैड सोच के साथ अभी तक चलते आ रहा था, और उसकी पदस्थापना जिस दिन गुंजन के शीर्ष अधिकारी पद पर हुई , सारे डिपार्टमेंट में कानाफूसी शुरू हो गई,
        कुछ ने गुंजन को उस मक्कार से न मिलने की सलाह दी, तो कुछ ने बचके रहने के उपाय बतलाने शुरू कर दिये, क्योंकि सभी को भय था, कि गुंजन की खूबसूरती और जवानी का कमल कहीं ना कहीं उस बदमास भंवरे को आकर्षित कर ही लेगा,

लेकिन गुंजन का यह खौफ सिर्फ और सिर्फ अपने काम में रमे रहने वाली लड़की को भला किस बात का डर और सही भी था, क्योंकि यदि पुलिस अधिकारी महिला के मन में ही डर रहें तो भला आम जनता का क्या होगा????
                  अनिरुद्ध सरकार ने ऑफिस प्रोटोकॉल और अपनी फितरत के अनुसार पहले ही दिन तीन अलग-अलग प्रकार से बैठक का आयोजन किया, सबसे पहले उसने जॉइंट मीटिंग पुरुष और महिला अधिकारी दोनों के साथ, दूसरे बार में सिर्फ महिला अधिकारी और कर्मचारी अर्थात तीसरे बार में, संध्या के समय वेलकम पार्टी के नाम पर समस्त आला अफसरों को परिवार सहित आमंत्रित किया गया।

                         जनरल इंट्रोडक्शन के नाम पर, लेकिन हर मीटिंग में वह  सिर्फ और सिर्फ खूबसूरत महिलाओं की टोली को तलाशता रहा, और उसमें उसने दिन भर में चालक और जल्दी हासिल हो जाने वाली महिलाओं को ही सूचीबद्ध किया, जिनके पास भी फटकना संभव नहीं,
                  चूंकि गुंजन आला ऑफिसर में सी थी, इसलिए उसकी सुर्खियां लगभग तीनों ही मीटिंग में नजर आई, और तीनों में उसने अपनी स्वाभाविक प्रवृत्ति के अनुसार बेस्ट परफॉर्मेंस किया, जिसके कारण पहले ही दिन अनिरुद्ध की नजर में वह प्रथम श्रेणी में आ गई।

                        अनिरुद्ध ने सर्वप्रथम गुंजन की पूरी जन्मकुंडली निकाली, उसकी पढ़ाई लिखाई, लालन पोषण, परिवार के सदस्य और उसके व्यवहार सब कुछ.....
जब उसे गुंजन की पूरी तरह पूर्ण संस्कारवान होना, और अब तक किसी पुरुष के संपर्क में ना आने की खबर मिली, तब तो वह जैसे पागलों की तरह गुंजन से मिलने को उतारू हो उठा, यह जानते हुए भी कि गुंजन की सगाई बैंक मैनेजर से हो चुकी है।
                     उसने बड़े चतुराई से उसी बैंक में अपना एक खाता खोला, जहां गुंजन का मंगेतर राजेश पदस्थ था, और धीरे-धीरे उससे अपनी अच्छी जान पहचान बना ली, वह बड़ा ही चलाक और धूर्त आदमी था, इसलिए उसने गुंजन से मिलने से पहले विपरीत दिशा से पहचान बनाना शुरू किया।

                  गुंजन के गांव में आकस्मिक विजिट कर उसके परिवार वालों से भी जा मिला,  ऐसा नहीं कि गुंजन को इन सब बातों की खबर नहीं थी, वह सब कुछ जानती थी, उसे इन सब बातों से कोई फर्क नहीं पड़ता, क्योंकि यह सब ऑफिशियल विजिट के दौरान हुआ।
                          तभी अचानक चुनावी माहौल आया और गुंजन की ड्यूटी विरान जंगलों के बीच फंसे बुथ सेंटर पर उसने लगा दी, वहां मात्र एक ही गेस्ट हाउस था, जिसमें चंद कमरों के साथ स्टाफ क्वाटर्स लगे हुए थे, यह सब सोची समझी साजिश थी।

                                   अनिरुद्ध ने अचानक विजिट करने का बहाना बना, रात्रि सात आठ बजे के बीच अचानक अनिरुद्ध का विजिट हो गया, और सारी जानकारी लेने के बाद अपने कक्ष में चले गए, और रूम में जाकर उन्होंने सबसे पहले गुंजन को कॉल किया और रूम में आने को कहा।
              गुंजन के दिमाग में रत्ती मात्र कुछ ऐसा ना था, तो फिर डर कैसा??????

                       गुंजन बेधड़क होकर अनिरुद्ध के कमरे में गई, जहां अनिरुद्ध शराब पी रहा था, उसने गुंजन से इधर-उधर की बातों के साथ उसे अपने जाल में फंसाने की कोशिश करने लगा, जिसे गुंजन ने बडे कठोर शब्दों में धमकी देकर अस्वीकार किया और वहां से लौट आई।
         गुंजन के ऐसे व्यवहार ने उसे अपमानित कर दिया, और फिर उसने योजना अनुसार 100 नंबर पर डायल कर गुंजन को खबर दी कि स्थानीय जगह पर किसी आदिवासी महिला के साथ दुर्व्यवहार किया जा रहा है,

                 गुंजन अपनी टीम के साथ वहां के लिए निकली तो, अचानक लोगों ने उन पर हमला कर दिया और देखते ही देखते सभी को अलग-अलग टुकड़ों में होना पड़ा, इसी दौरान गुंजन पर जोर से किसी ने पत्थर से वार किया और गुंजन बेहोश हो गई, बस उसके कान में एक ही बात गूंजती रही, कि अगर तुम अनिरुद्ध सरकार की बात मान लेती तो शायद ऐसा नहीं होता, और गुंजन पर दूसरा वार किया तो गुंजन वही झाड़ियों में कही जा गिरी गई,
             जब गुंजन की आंखे खुली तब वो अपने आप को एक हॉस्पिटल में पाती हैं, जहां कायरा उसके पास खड़े रहती हैं,

              कायरा ने अपना परिचय देते हुए कहा, गुंजन मुझसे कुछ नही छुपा हैं, तुम्हारी इस हालत का जिम्मेदार कोई और नही, बल्कि अनिरुद्ध ही है, उसने धोखे से तुम्हें बुलाकर अपने आदमियों से तुम्हें जान से मारने के लिए भेजा था, लेकिन मुझे उसका आभास हो गया था, और जैसे ही उन लोगों ने तुम पर वार किया,और तुम जाकर झाड़ियों के बिच जा फंसी, तभी मैंने तुम्हें वहां से निकालकर हॉस्पिटल ले आई।
           और तुम्हें ये जानकर हैरानी होंगी की अनिरुद्ध अब इस दुनिया मे नही रहा, गुंजन आश्चर्यचकित हो जाती कि यह कैसे,कब हुआ????

अनिरुद्ध अपनी पिस्तौल साफ कर रहा था, और उसने ना जाने कैसे खुद अपने आप को गोली मार ली, और वही उसी जगह पर उसकी मौत हो गई।
         तब गुंजन, कायरा के तरफ देखकर मुस्कुराते हुए कहने लगी कि मुझे और कुछ बताने की जरूरत नहीं कायरा.....
मैं तुम्हारी शक्तियों से भली-भांति परिचित हो चुकी हूं कायरा, अनिरुद्ध की मौत कैसे हुई है????? मैं सब समझ चुकी हूं, कहते हुए गुंजन ने कायरा का धन्यवाद किया।

कायरा अब अपने एक नए सफर की ओर चल पड़ी, किसी और  को न्याय दिलाने के लिए, लेकिन किसे??????

शेष अगले भाग में.......


12 जून 2023

Parth

Parth

Nice part.

31 मई 2023

75
रचनाएँ
कायरा का इंसाफ
5.0
मैं आप लोगों के समक्ष एक नई कहानी लेकर आई हूं (कायरा का इंसाफ) यह कहानी पूरी तरह से काल्पनिक है, इस कहानी के पात्र के नाम या घटना अगर किसी से जुड़े हैं, तो वह सिर्फ एक संयोग ही होगा, इस कहानी का किसी के वास्तविक जीवन से भी कोई लेना देना नहीं है, यह कहानी पाठको के मनोरंजन के लिए लिखी गई है। "कायरा का इंसाफ" एक ऐसी लड़की की कहानी है, जो समाज से बुराइयों को दूर करती है, और पीड़ित स्त्रियों का साथ देकर उनको इंसाफ दिलाती है, मेरी कहानी में मैंने भावनाओ को समाज के दर्पण के रूप में, समाज के कभी कड़वे तो कभी सुखद पल के अनुभव के साथ प्रस्तुत करने का प्रयास किया है, समाज के छिपे उन पहलुओं और बिखरे लेकिन पाक भावनावो वाला विचार, टूटे मन और छुपे दर्द में छुपी मुस्कान को कहानियों में दर्शाना और शास्त्रों के अध्यन को अपना मूल आधार बना बीच-बीच में ज्ञान की बाते समाहित करना, आप सबको मेरी कहानी में नजर आएगा। उम्मीद है पाठकों को मेरी सभी कहानियों की तरह यह कहानी भी पसन्द आयेगी, आप लोगों की सुंदर समीक्षा से मुझे आगे  लिखने का प्रोत्साहन मिलता है।🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻 ❤️ ❤️❤️❤️पुरी कहानी जानने के लिए आप पढ़ते रहिए "कायरा का इंसाफ" ❤️❤️❤️❤️ 🙏🏻धन्यवाद🙏🏻
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कायरा का इंसाफ-1

1 मई 2023
146
64
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कायरा के स्वर से अचानक सारा माहौल बदल गया, उसमें हल्की दीवारें हिलने लगी जो पहले से तो खंडहर हो ही चुका था, लेकिन उस नाम ने

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कायरा का इंसाफ -2

1 मई 2023
95
50
7

इस पूरी फलाई पहाड़ी में या फिर यूं कहुँ कि हमारे पूरे दीमा हसाओ जिले में तुम मात्र एक ऐसी पागल लड़की होगी जिसने पूरा दिन एक बकरी के बच्चे के साथ बिताया, कायरा

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कायरा का इंसाफ -3

1 मई 2023
82
49
4

यह सब तुम कैसे जानती हो कायरा???? और तुम्हें यह सब किसने बताया??????और भला इतने विश्वास के साथ तुम यह कैसे कह सकती ह

4

कायरा का इंसाफ- 4

3 मई 2023
77
44
4

अरे शिल्पी तुम यहां कैसे????? क्या हुआ?????? क्या हुआ, क्या सोच रही हो??????? तुम्हें क्या लगा?????? शिल्पी चौंकते हुए......... कायरा क्या तुम मुझे सुन सकती हो?????? देख भी सकती हो??????? हां बिल्क

5

कायरा का इंसाफ -5

3 मई 2023
73
43
3

शिल्पी , कायरा से कहने लगी सच तो अब मेरे सामने आया, जब मैं इनकी सलामती देखने लौट कर आयी, और इन को सुना और देखा जिसमें वही मेरी बहन अब मेरे पति पर

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कायरा का इंसाफ-6

18 मई 2023
72
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3

सूर्य की चमक की तरह चटकता यौवन चंद्रमा से कही ज्यादा परिपक्व यौवन और सृष्टि की ,दोनों शक्तियों का मिलन वह भी बढ़ती हुई उम्र के साए में खासकर जब उसे मनुष्य और उसमें भी स्त्री का शरीर मिला हो, जो सरस सल

7

कायरा का इंसाफ-7

18 मई 2023
67
39
2

वही चंचल आंखे, वही मासूम सा चेहरा और होठों पर ना समा सकने वाली मुस्कान, पल पल में किसी रेशे की तरह बिखर जाने वाले वह लंबे बाल जो कमर से भी नीचे थे, जाना पहचाना सा नैन नक्श मुझे रह-रहकर ना जाने क्यों क

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कायरा का इंसाफ -8

18 मई 2023
67
42
3

बाजरे की रोटी और मेथी की भाजी खाई है तूने कभी????चल आ बैठ दोनों मिलकर खाते हैं, आज मां ने सुबह-सुबह मेरे लिए बनाई, मैंने एक-दो रोटी पहले ही खा ली, इसलिए अब भूख नहीं है, चलो जल्दी खाते हैं, फिर बहुत का

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कायरा का इंसाफ -9

18 मई 2023
69
44
3

मैं कुछ-कुछ समझ पा रही थी, मेहमानों की चहल पहल और कल्पना की सौतेली मां का सबके सामने कल्पना से इतना प्यार करना, और जैसे सबको दिखाना कि वह कल्पना से कितना प्यार करती है, मुझसे कल्पना की मां ने कहा कि क

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कायरा का इंसाफ-10

23 मई 2023
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46
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आखिर आज वह दिन आ ही गया, कल्पना के विवाह का दिन..........घर में हंसी खुशी का माहौल था, मैं कल्पना के घर एक दिन पहले से ही आ गई , शहनाई की गूंज बजी जा रही थी, खुशियों की मुबारक घड़ी आ गई है, सजी स

11

कायरा का इंसाफ-11

23 मई 2023
62
39
1

ढलती शाम और उन बैल गाड़ियों के बैलों के गलों में बंधी हुई घंटियों की आवाज को मैं दूर तलक सुनकर उस दिन महसूस कर रही थी, शायद ही मेरी उस अनुभूति को कोई समझ पाता, क्योंकि उस दिन मैंने सही मायने में

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कायरा का इंसाफ-12

27 मई 2023
65
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मेरी पुनः संरचना शक्ति रूप में की गई थी, जिसका मूल उद्देश्य मेरी सखी कल्पना के पूर्व जन्म की सुरक्षा और सहायता के साथ जुड़ा हुआ था, कल्पना मानव शरीर के रूप में पुनः जन्म लेने के कारण आज की कायरा अपनी

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कायरा का इंसाफ-13

27 मई 2023
63
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अपने आप को आईने में निहारती कायरा अब धीरे-धीरे उस उम्र की दहलीज पर दस्तक दे रही थी, जब भावनाओं पर काबू कर पाना और वह भी तब जब शक्तियां प्रचुर मात्रा में अंतर्मन और शरीर के साथ उपस्थित हो, बड़ा ह

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कायरा का इंसाफ-14

27 मई 2023
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ठहरो कायरा ना जाने मुझे क्यों कुछ ठीक ना जान पड़ता, ऐसा लग रहा है जैसे आस-पास कोई चुंबकीय शक्ति का बादल या यूं कहूं कोई अति शक्तिशाली आभामंडल हमारी और बड़े चला आ रहा है, कायरा मुझे अपनी चिंता नहीं लेक

15

कायरा का इंसाफ-15

27 मई 2023
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1

चाचा मुझे इन भेड़ की खालो से कुछ ऐसा बना कर दो, जिसे पहनकर ना तो ठंड लगे और ना गर्मी हो, क्या ऐसा हो सकता????? यदि हां तो, यह कमाल सिर्फ आपके हाथों से ही हो सकता है, कहते हुए कायरा ने दो भेड़ की खाल उ

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कायरा का इंसाफ-16

29 मई 2023
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1

भला ऐसे कैसे संभव है????? अनबिलीव़बल????? समझ नहीं आ रहा क्या दे रिपोर्ट में?????किसकी बॉडी है यह?????डॉक्टर चीखते हुए बोला........ सर नवनीत चटर्जी नाम बताया है इसका, पैर के अंगूठे में लगी हुई स्

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कायरा का इंसाफ-17

29 मई 2023
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1

अरुण कंपाउंडर और डॉक्टर तेजस मन ही मन में बस इसी बात को दिन भर सोचे जा रहे थे, कि आखिर प्रोफ़ेसर पॉल हमें कहां ले जाने वाले हैं?????और यह हमारी डॉक्टरी दुनिया से बाहर की ऐसी कौन सी दुनिया है????जो वह

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कायरा का इंसाफ - 18

29 मई 2023
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1

क्या सोच रहे हो अरुण????बड़ी चिंता में लग रहे हो????डॉक्टर तेजस ने अपने चहते कंपाउंडर कम मित्र को गंभीर मुद्रा में देख कहा, डॉक्टर तेजस और अरुण कहने के लिए तो अलग अलग पद पर थे, परंतु वह सिर्फ हॉ

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कायरा का इंसाफ -19

29 मई 2023
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39
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देखकर तो लगता है, कि किसी बड़े घर की बहू या बेटी होगी........लेकिन यहां कैसे????? और इस हाल में कैसे?????देख कर ऐसा लगता है जैसे किसी ऊंचाई से अचानक किसी कारणवश धोखे से गिर गई होगी, लेकिन नसीब भी कोई

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कायरा का इंसाफ -20

29 मई 2023
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45
2

एक नई खबर आज सुबह-सुबह अखबार की सुर्खियों में पढ़ने को मिली, जिसे जिस जिस ने सुना और पढ़ा सबकी आंखें नम हो गईं, अजीब है विधाता का विधान पहले पिता की मृत्यु एक कार एक्सीडेंट में हो गई, और फिर आज

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कायरा का इंसाफ-21

29 मई 2023
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1

पढ़ाई में इतनी होनहार, आज उसके 12 वी के रिजल्ट आने पर जैसे पूरे घर में इतने खुशी का माहौल छा गया, जैसे कोई जश्न का माहौल हो, और देखा जाए तो एक तरह से जश्न हीं तो है , क्योंकि स्वाति ने आज पूरे डिस्टिक

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कायरा का इंसाफ-22

29 मई 2023
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1

कहते हैं कि ईश्वर ने बिना भेद के इस प्रकृति को बनाया है, उसने हर रंग को बड़ी खूबसूरती से एक अलग पहचान दी, हां यह बात और है कि उसे इंसान ने अपनी नजरों से अलग-अलग रूपों में देखा, लेकिन जब कायनात ए

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कायरा का इंसाफ-23

29 मई 2023
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1

अब ज्यादा शोर मत मचाओ, त्यौहार मनाने आई हो, तो खुशी खुशी त्यौहार मनाओ, और जाकर अपना अपना घर संभालो.........हमने किसी में कोई भी भेदभाव नहीं किया, और ना ही किसी को पढ़ने से रोका, जो जिस लायक था उसे वह

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कायरा का इंसाफ -24

29 मई 2023
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1

यह बात किसी से नहीं छुपी थी कि चौधरी साहब ने कभी भी अपने बेटे, बेटी और बहुओं में किसी भी प्रकार का कोई भेद भाव किया हो, वह आकृति को बिल्कुल अपनी बेटियों की तरह ही मानते थे, वे सारी बाते आकृ

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कायरा का इंसाफ -25

29 मई 2023
55
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2

नदियों में बहता हुआ कल कल पानी, झरनों से फव्वारे की तरह बिखर जाने वाली, उच्च स्वर में गिरता पानी और पानी में डुबकी लगाकर फिर लौट आने वाली बतखे, अंगड़ाई लेते पशु-पक्षी और हल्की धूप में यहां वहां भागते

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कायरा का इंसाफ-26

30 मई 2023
58
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2

आखिर कब तक गीत संगीत से अपना दिल बहलाती रहेगी, अब उम्र हो चली है उसकी, उसके भी कुछ अरमान होंगे, हर लडकी के शादी को लेकर बहुत से सपने होते हैं,भांजी है आपकी...........आपकी भी जिम्मेदारी है कनक के लिए,&

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कायरा का इंसाफ-27

30 मई 2023
57
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पद्मिनी की सुदूर गांव में दूर के रिश्ते में रहने वाली किसी बुढ़िया ने उसे सलाह दी थी, कि यदि किसी विशेष पेड़ की छाल को पीसकर अगर उसे शर्बत में मिलाकर किसी को पिला दिया जाए ,तो वह धीरे-धीरे कमजोर होने

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कायरा का इंसाफ -28

30 मई 2023
58
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3

अभय एक बहुत ही बिगड़े स्वभाव का लड़का, बड़ों का सम्मान ना करना, गाली गलौज, गुस्सा नशा यह सब करना तो जैसे उसकी आदत सी बन गई थी, कभी-कभी तो इतना नशा कर लेता था कि, किसे क्या बोल रहा है, यह भी उसको याद न

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कायरा का इंसाफ-29

30 मई 2023
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42
1

अभय का बर्ताव दिव्या के प्रति बिल्कुल भी अच्छा नहीं था, वह दिव्या को यातना देने का कोई भी मौका नहीं छोड़ता था, और वह दिव्या को हर स

30

कायरा का इंसाफ-30

30 मई 2023
58
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3

ये घमंडी इंसान या तो तू पागल है, या फिर हद से ज्यादा जिद्दी????क्या तुझे पता हैं तु क्या करने जा रहा है

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कायरा का इंसाफ-31

30 मई 2023
53
33
2

भला ऐसे कैसे हो सकता है, कि एक सामान्य स्त्री को संसार की वह ताकत सौंप दी जाए, जो सृष्टि के समस्त नियमों को अपने अनुसार परि

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कायरा का इंसाफ-32

30 मई 2023
54
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2

मिहिका और अर्पित की शादी को पूरे पांच बरस हो गये थे, वे अपने पारिवारिक जीवन से बहुत खुश थे, काम की अधिकता और जीवन का आनंद उठाने के लिये शादी के शुरुआती दो बरस तक तो उन्होंने परिवार बढ़ाने के बारे में

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कायरा का इंसाफ-33

30 मई 2023
53
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2

अर्पित ने मिहिका से कहा कि......... मिस्टर गुप्ता तुम्हारे बॉस कैसे हैं????? अच्छे हैं????? अचानक तुम्हें उनकी याद कैसे आ गयी????? तुम्हारी इस हालत में सबसे अधिक तकलीफ तुम्हारे बॉस को ही हुई होगी।&nbs

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कायरा का इंसाफ-34

30 मई 2023
55
34
2

आपको तो पता है ना मौसी, मैं उससे कितना प्यार करता था, और फिर मैंने ही तो आपसे कह कर ही तो हमारी शादी के लिए घर वालों को मनाने के लिए कहा था, तब तो आप समझ ही स

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कायरा का इंसाफ-35

30 मई 2023
53
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2

आखिर क्या राज रहा होगा मौसी के मुस्कुराहट के पीछे का??????? भला मेरा साथ क्यों दिया मौसी ने?????? यही सब सवाल रह रह कर जयस के मन में गूंजते रहे, वह कह

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कायरा का इंसाफ-36

30 मई 2023
53
33
2

जयस के पिताजी को उन बुजुर्ग के द्वारा किया गया आदर सम्मान बहुत अच्छा लगा, और इतने सुंदर उनके वचन सुन तो जयस के पिताजी

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कायरा का इंसाफ -37

31 मई 2023
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34
2

आज के समय में महिलाएं किसी से पीछे नहीं हैं, फिर चाहे वो कोई भी क्षेत्र क्यों ना हो, हर तरफ महिलाओं ने अपना परचम लहराया हुआ है, पूरी मेहनत और लगन से महिलाएं हर किसी से आगे बढ़ रही हैं, और देश का नाम ग

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कायरा का इंसाफ -38

31 मई 2023
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अपने मिलनसार व्यक्तित्व और सबकी मदद करना, नौकरी में ईमानदारी से रहने के कारण गुंजन ना सिर्फ अपने स्टाफ की ही चहेती थी, अपित

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कायरा का इंसाफ -39

31 मई 2023
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चाहे जो हो जाए, चाहे मुझे जो करना पड़े, अब और बर्दाश्त नहीं कर सकता, भले ही इसके लिए मुझे अपनी जान ही क्यों ना देना पड़े, अगर दुनिया में रहकर इं

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कायरा का इंसाफ -40

31 मई 2023
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"जिंदगी की हर कहानी बेअसर हो जाएगीजो हम ना होंगे तो यह दुनिया बर्बाद हो जाएगी पैर पत्थर करके छोड़ेगी जवानी अब रुख भी जाइए, जो चलना सिखा दिया साथ हमने तो यह जमीं भी हमसफर

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कायरा का इंसाफ -41

31 मई 2023
52
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2

यह तो होना ही था, विशाल और फिर मुझे तुमसे कोई शिकायत भी नहीं, क्योंकि शायद मेरे प्यार की शुरुआत ही कुछ ऐसी थी, मैंने जवानी की उस लह

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कायरा का इंसाफ -42

31 मई 2023
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शादी को दस साल हो गए थे, लेकिन फिर भी निशा जैसे एक सजा की तरह गुज़र रही थी, निशा ऐसा महसूस करती थी, जैसे उसके मायके वालो ने उसे ससुराल नह

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कायरा का इंसाफ -43

31 मई 2023
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क्या तुम्हें पता है, मैं जब महज पांच 6 वर्ष की रही होगी, तब कई बार मैं घंटों पलंग के नीचे छिपी रहती, तो कभी चादर से अपने आप को ढक कर रखती, कभी मेहमानों

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कायरा का इंसाफ -44

31 मई 2023
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कायरा का ऐसा विचलित होना और रह-रहकर उग्र हो जाना, शायद स्मृति द्वारा कही गई बातों का प्रभाव था, और फिर उसने कहा भी क्या गलत, जिंदगी के कई कड़वे सच को ह

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कायरा का इंसाफ -45

31 मई 2023
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तीन सौ बीघा जमीन के मालिक अभिमन्यु गुप्ता जिसे सब गुप्ता जी के नाम से ही जानते थे, वह अकेले लगभग पालवी गांव की आधे से ज्यादा ज

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कायरा का इंसाफ -46

31 मई 2023
50
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2

बेशक मैं तुम्हें माफ कर देती, यदि कुसूर तुम्हारा ना होता, और तुमने खुद अपने दिल से उसे स्वीकार न किया होता, जिस जुर्म को तुम खुद दिल से कब

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कायरा का इंसाफ -47

31 मई 2023
49
28
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अगर तुम गुनाहगार ना होते तो क्यों ना रोक पाए अपने आप को ??????क्या सिर्फ तुम्हें ही जिस्म मिला है???? क्या पुरुष होना और प्रतिष्ठा पाना तुम्हें समाज की सारी व्यवस्था बिगाड़ने का अधिकार देता है जो तुमन

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कायरा का इंसाफ -48

31 मई 2023
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जीवन में कई बार ऐसी स्थिति उत्पन्न हो जाती है ,जब हमें किसी से अपमान सहन करना पड़ता है, कई बार अपनी की गई गलतियों के कारण, तो कई बार बिना बात के अपमानित होना पड़ता है, हाला

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कायरा का इंसाफ -49

31 मई 2023
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मन ही मन हर्षिका को गर्वित की बातें कुछ अजीब सी लगने लगी, हर्षिका सोचने लगीं, आख़िर गर्वित अपने परिवार वालो से मुझे कब मिलाएगा,और वह परेशान सी रहने लगी,और फिर सीमा ने हर्षिका को भड़काने क

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कायरा का इंसाफ-50

31 मई 2023
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भला ऐसे कैसे हो सकता हैं???? मैंने तुम्हें बिना किसी एक रुपए लगाए हिस्सेदार बनाया और तुम खुद आज अपनी हिस्सेदारी

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कायरा का इंसाफ -51

31 मई 2023
47
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भला ऐसे कैसे हो सकता है?????मेरे सारे खिलौने टूट गए, खड़ी फसलें बर्बाद होने लगी, मैं इन से क्या मांगू?? आप ही बताएं..... क्योंकि मेरी तो कुछ समझ में नहीं आ रहा, ऊपर से लोगों के ताने अलग सुनने में आ रह

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कायरा का इंसाफ -52

31 मई 2023
48
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कातिल हसीना (एलिना)- 51 आखिर क्या बात है सिस्टर???? आज अचानक इस छोटे से सरकारी हॉस्पिटल में इतनी हलचल क्यों हैं????और सुबह से यहां की टेलीफोन की घंटी हमारे क्वा

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कायरा का इंसाफ -53

31 मई 2023
48
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कातिल हसीना (एलिना)- 52 जैसे हर किताब के पहले पन्ने पर सिर्फ लिखने वाले का नाम होता है, और कुछ भी नहीं ना आगे ना पीछे.... हर कोई उस पेज को छोड़ दूसरे पेज से लिख

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कायरा का इंसाफ-54

31 मई 2023
48
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जिस्म को अंदर तक जमा देने वाली इस कड़कड़ाती ठंड में उस बच्चे की सुबह चार बजे से लेकर आठ बजे तक अखबार और मैगजीन की दुकान, और शाम पांच बजे से बाद रात्रि नौ बजे तक पुस्तकों की दुकान लगाना, सबके लिए आश्चर

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कायरा का इंसाफ-55

31 मई 2023
48
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अचानक शहर में मची हलचल और लोगों के दिल में उठते सवाल और गली चौराह में गरीब से गरीब तपके, यहां तक कि मंदिर के सामने बैठने वाले भिखारियों तक के बीच यदि कोई बात चर्चा का विषय बनी हुई हो तो, निश्चित तौर प

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कायरा का इंसाफ-56

8 जून 2023
47
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कायरा....कायरा....कायरा आँखे खोलो, आवाज सुन जब कायरा ने आँखे खोली तो, सामने उसे मैं दिखी, कायरा ने अपनी पूर्ण संतुष्टि के लिये एक बार आँखों को मलकर पुनः देखा और जब उसे यकीन हो गया तो वह उठ ब

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कायरा का इंसाफ-57

8 जून 2023
48
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आपके सारे गांव की परेशानियां, आदि कोई क्षण भर में दूर करने की ताकत रखता है, तो एक ही शख्स है, लेकिन उसे भी अनुमति की जरूरत होगी, महज उसके समुदाय के चंद सदस्यों के लेकिन फिर भी मुझे विश्वास है, कि यदि

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कायरा का इंसाफ-58

8 जून 2023
47
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यदि आपको ऐसा लगता है , कि मैंने रजनी देवी का नाम लेकर गलत किया है तो बेशक मैं आपकी गुनहगार हूं, लेकिन जब बात पूरे समाज और राज्य को बचाने की हो, तब मेरा या आपका अस्तित्व शून्य से कम ना हो।

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कायरा का इंसाफ-59

8 जून 2023
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मुझे ऐसा क्यों लगता है कि आपने इस हवेली में बहुत सोच-विचार के पश्चात कदम रखे हैं, लेकिन क्यों यह बात मेरी समझ नहीं आती?????क्या इसलिए की यह नगरवधू का निवास स्थान हुआ करता था, और यदि ऐसा है तो क्या गलत

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कायरा का इंसाफ-60

8 जून 2023
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मुझे आपका बेखौफ विचरण इस हवेली में यह तो साफ दर्शाता है कि आप की सासू मां से मिलने के पश्चात आप काफी खुश है, यह मेरे लिए हर्ष की बात है, लेकिन इधर उधर ताकती हुई आपकी नजरें और उस में छुपे हुए प्रश्न, ज

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कायरा का इंसाफ-61

8 जून 2023
47
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अगर मन में धैर्य और दाता पर विश्वास ना हो तो, कोई लाभ शेष नहीं रह जाता, और संभवत इस बात की भी उम्मीद नहीं की जा सकती कि याचक को कुछ मिल सके, यह सुनते ही लोचन कुमार का चेहरा उतर गया, क्योंकि बार-बार प्

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कायरा का इंसाफ-62

11 जून 2023
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विक्रम के पास इतनी संपत्ति थी, कि यह कल्पना शायद उसके घर वालों ने भी ना की थी, कल तक जिस विक्रम को उनके रिश्तेदार अवघड़, पागल, घुमक्कड़, बेकार आदमी और ना जाने क्या क्या समझ कर धुधकारते थे, अचानक उसके

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कायरा का इंसाफ-63

11 जून 2023
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क्या हुआ किस सोच में डूबे हो????मुझे तुम्हारे चेहरे पर चिंता साफ नजर आ रही है, अगर कुछ प्रश्न हो तो तुम पूछ सकते हो??अब यह सुनते हुए जैसे बलवीर कुम्हार चौंक पड़ा, क्योंकि जैसे ही उसने वह पोटली उस सुना

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कायरा का इंसाफ-64

11 जून 2023
47
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घर के सामने जमा भीड़ और सुनाई देता कोहराम, चीख चीख कर रोने की आवाज से ऐसा जान पड़ता हैं, जैसे घर के किसी सदस्य की मृत्यु हो गई हो, ऐसा विलाप की सुनने वाले के दिल दहल उठते है।

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कायरा का इंसाफ-65

11 जून 2023
45
24
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किसी भी राज्य में शासन किसी राजा का नहीं होता , अपितु वहां की प्रजा, सेवादार ,सैनिक, मंत्री और सलाहकार सही मायने में एक अच्छे शासन का लुफ्त उठाते हैं, राजा तो सिर्फ सिंहासन और राजसत्ता से बंधा हुआ एक

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कायरा का इंसाफ-66

11 जून 2023
46
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समय के साथ-साथ हर परिस्थिति बदलते जा रही थी, राज्य शासन बदलते गए , और उम्र के पड़ाव में अब विक्रम को एक जगह ठहरने पर मजबूर कर दिया, और वह पहले की तरह एक स्थान से दूसरे स्थान बहुत कम समय में आना जाना न

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कायरा का इंसाफ-67

11 जून 2023
47
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चटकती सुनहरी धूप, मंद हवाएं और झरने का बहता कल कल पानी, फूलों की महक और पक्षियों का स्वर और उस पर तितलियों का एक फूल से दूसरे फूल पर जाकर बैठना, साथ ही भौरों का गुंजन ,सब कुछ उस धरती पर उगी हुई मध्यम

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कायरा का इंसाफ-68

11 जून 2023
46
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कायरा के बाबा उस लता को उठाकर अलग तो रख देते हैं, उसमें दिन ब दिन बहुत फूल खिलते हैं, और वह लता बढ़ते ही जाती है, और हरी-भरी लहराती हुई ,वह लता बहुत सुंदर सी दिखती है।

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कायरा का इंसाफ-69

11 जून 2023
46
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वो अलग-अलग रंगों के गुब्बारे, रेहड़ी और छोटी दुकानों से उठने वाले धुएं में मिश्रित मिठाई की खुशबू, बच्चे की चहकने की आवाज, और तरह-तरह के झूलो और उनमें बैठे कुछ खुशनुमा तो कुछ डरावनी शक्ल लिए हुए बैठे

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कायरा का इंसाफ-70

12 जून 2023
47
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एक तरफ मौलवी हैरान था, उस घटना से और उत्सुकता के साथ में चलने वाले हर हमसफर को बारी-बारी शक भरी निगाहों से देख रहा था, वह यह जानना चाहता था कि आखिर उससे भी ज्यादा शक्तिशाली इल्म का मालिक कौन है ????जि

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कायरा का इंसाफ-71

12 जून 2023
46
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मेला यह शब्द सुनते ही बच्चों के चेहरे पर मुस्कान आ जाती है,मेला हमेशा से सभी लोगों का एक अभिन्न अंग रहा है, मेले में व्यतीत किए गए क्षण सभी को आनंदित कर देते हैं, और ये क्षण सदा के लिए व्यक्ति की स्मृ

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कायरा का इंसाफ-72

12 जून 2023
46
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कायरा....कायरा....कायरा आँखे खोलो, आवाज सुन जब कायरा ने आँखे खोली तो, सामने उसे मैं दिखी, कायरा ने अपनी पूर्ण संतुष्टि के लिये एक बार आँखों को मलकर पुनः देखा और जब उसे यकीन हो गया तो वह उठ ब

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कायरा का इंसाफ-73

12 जून 2023
47
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मेरी चिंता का विषय यह नहीं है, कि मेरे बाद इस कुनबे का क्या होगा???? या मेरा घर कौन चलाएगा????यह सब सोचना बेकार की बातें हैं, क्योंकि कायरा मेरे लिए बेटा और बेटी दोनों ही है, या यूं कहूं कि मेरे

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कायरा का इंसाफ-74

13 जून 2023
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अचानक कुछ दिनों से पहाड़ी का दूसरा हिस्सा आज रात्रि में शांत सा जान पड़ा, तभी अचानक ज्वालामुखी से तेज विस्फोट की आवाज आती , तो कभी अचानक सूरज की तेज रोशनी, रात्रि के अंधकार को ढकने लगती। &

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कायरा का इंसाफ-75

15 जून 2023
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किसी अदृश्य सुरक्षा कवच ने उसका मुख मोड़ दिया, और अपने साथ निशांत को किसी चोर की तरह उठाकर ले गई ,और वह शक्ति बिना किसी को नुकसान पहुंचाए शान्त हो गई,कायरा अत्यंत क्रोध के साथ देखने लगी, लेकिन तभी उसे

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