भारत में महिलाओं को देवी का अवतार कहा जाता है लेकिन वे अपने परिवार की सलामती के लिए बहुत से काम करती हैं। अपने पति के लिए, संतान के लिए और परिवार में सुख-समृद्धि रखने के लिए व्रत और पूजा-पाठ करती रहती हैं। अब आने वाले व्रत में हरितालिका तीज व्रत आने वाला है जिसमें वे व्रत रखकर अपने पति की लंबी उम्र के लिए प्रार्थना करती हैं, व्रत रखती हैं और उनके लिए श्रृंगार करती हैं। ऐसा कहा जाता है कि हरितालिका तीज महिलाओं के लिए बहुत कठिन होता है लेकिन फिर भी वे इसे रखते हुए हर कष्ट सहती हैं जिससे उनका और उनके पति का साथ बना रहे लेकिन क्या आप जानते हैं इस व्रत में कौन से काम नहीं करने चाहिए ?
हरितालिका व्रत में भूलकर भी नहीं करें ये काम
भाद्रपद मास की तृतीया को महिलाएं अपने पति की लंबी उम्र और कुंवारी लड़कियां मनचाहा वर पाने के लिए व्रत रखती हैं। हरतालिका तीज का व्रत बहुत ही कठिन होता है और इसे महिलाएं बहुत ही आस्था के साथ करती हैं जिससे उनकी मनोकामनाएं पूरी हो जाएं। इस दिन बहुत से ऐसे काम नहीं करने चाहिए जिनको करने से पुराणों में मना किया गया है। अगर आप जाने-अनजाने भी इन कामों को कर रहे हैं तो कोशिश करिए की ना हो और वो क्या काम है चलिए हम आपको बताते हैं।
क्रोध करने से- इस दिन महिलाओं को व्रत रखने के दौरान क्रोध नहीं करना चाहिए। अपने गुस्से को शांत करने के लिए महिलाओं को इस दिन हाथों में मेहंदी लगानी चाहिए और सिर पर भी क्योंकि इससे दिमाग शांत और ठंडा रहता है।
सोना से- व्रत के दिन पूरी रात जागकर भगवान की पूजा करनी चाहिए। ऐसी मान्यता है कि अगर व्रत रखने वाली महिला रात में सोती है तो उसे अगले जनम में अजगर के रूप में जन्म लेना पड़ता है।
खाना खाने से- अगर इस दिन व्रत रखने वाली महिला गलती से भी कुछ खा लेती है या फिर कुछ पी लेती है तो अगले जनम में उन्हें वानर का रूप मिलता है और यही कारण है कि इस दिन व्रत रखते हुए निर्जला रहना होता है।
व्रत नहीं रखने पर- अगर लड़कियां या महिलाएं इस दिन व्रत नहीं रखती हैं तो उन्हें अगला जन्म मछली का मिलता है। इतना ही नहीं अगर इस दिन व्रत रखने वाली स्त्री गलती से मांस मछली खा लेती है तो उन्हें कठोर श्राफ का सामना करना पड़ सकता है।
दूध पीने से- हरतालिका तीज का अपना अलग ही महत्व होता है। अगर कोई लड़की या सुहागिन महिलाएं जानबूझकर दूध पी लेती हैं तो उनका अगला जन्म सर्प का होता है।
क्या है पूजा करने का सही मुहूर्त
हरितालिका व्रत महिलाओं के लिए बहुत ज्यादा कठिन रहती है और इसके लिए उन्हें काफी मेहनत भी करनी होती है। 1 सितंबर के दिन इस व्रत को रखा जाना है और 2 सितंबर की सुबह 8 बजकर 27 मिनट से पहले आपको ये व्रत खोल देना है। हरितालिका तीज का व्रत 24 घंटे भूखे रहने पर पूरा होता है और इस दौरान खाना तो दूर पानी की एक बूंद अंदर जाना भी पाप समझा जाता है। इस व्रत को महिलाएं सौभाग्यवती होने और लड़कियां अच्छा वर पाने के लिए रखती हैं। जब उनकी मनोकामनाएं पूरी हो जाती हैं तब उनकी श्रद्धा इस व्रत और पूजा में बहुत बढ़ जाती है। ये व्रत महिलाएं पति के लिए रखती हैं क्योंकि गौरी माता ने भी भगवान शिव के लिए ये व्रत रखा था और उन्हें अखंड सौभाग्यवती भव का आशीर्वाद मिला था और हर महिलाएं इस व्रत को इसी वजह से रहती हैं जिससे उनकी जोड़ी भी हमेशा सलामत बनी रहे।