इरादे मजबूत कर लो।
उनकी गली से नही गुज़रते, उस गली में हमेशा कांटे बिछे रहते है।
लोगों का कहना माना और उस गली से निकलने से बचते रहे।
एक दिन उसकी याद खींच ही ले गई काँटो वाली गली मे ।
गली में घुसते ही पैर में कांटा चुभा, चुभते ही फूल बन गया।
दूसरे कदम में काँटा लगा वह भी फूल बन गया।
मन मे पता नही कहाँ से एक लाईन याद आई।
दिल मे कुछ कर गुजरने का इरादा हो।
तो पत्थर, मोम, काँटे, फूल बन जाते हैं।
हो अगर कदमो में ताक़त।
तो समुंदर का पानी भी धूल बन जाता है।